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अयोध्या मंदिर: प्रसाद बांटने को लेकर श्रीराम जन्मभूमि ट्रस्ट और मुख्य पुजारी के बीच छिड़ा विवाद, जानें पूरा मामला

By भाषा | Updated: November 9, 2022 07:37 IST

श्री राम जन्मभूमि मंदिर के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास ने प्रसाद बांटने की इस नई व्यवस्था से नाराज होकर सवाल किया और कहा, "मैं यह समझने में असमर्थ हूं कि ट्रस्ट में कितने लोग हैं और आदेश जारी करने के लिए कौन जिम्मेदार है। जो कोई भी कहीं से आता है, वह ट्रस्टी बन जाता है।"

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ठळक मुद्देराम जन्मभूमि गर्भगृह में प्रसाद वितरण को बंद करने पर मुख्य पुजारी ने आपत्ति जताई है। इस विवाद पर बोलते हुए मुख्य पुजारी ने कहा "जो कोई भी कहीं से आता है, वही ट्रस्टी बन जाता है।"ऐसे में ट्रस्ट ने इस पूरे विवाद को लेकर अपनी सफाई भी दी है।

लखनऊ:अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट द्वारा राम जन्‍मभूमि गर्भगृह में प्रसाद वितरण बंद करने के फैसले पर वहां के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास ने आपत्ति जताई है। 

अयोध्या के राम जन्मभूमि परिसर में स्थापित राम लला के मंदिर में व्यवस्था को लेकर एक नया विवाद खड़ा हो गया है क्योंकि गर्भगृह में पुजारियों को राम मंदिर में पूजा के लिए आने वाले भक्तों के बीच प्रसाद बांटने पर रोक लगा दी गई है। 

1986 से चली आ रही प्रसाद वितरण को कुछ दिन पहले रोक दिया गया था

कुछ दिनों पहले, मंदिर ट्रस्ट ने गर्भगृह से प्रसाद के वितरण पर प्रतिबंध लगा दिया था, जो 25 जनवरी 1986 से जारी था। ट्रस्ट ने प्रसाद बांटने की नई व्यवस्था शुरू की और मंदिर ट्रस्ट के पदाधिकारियों को राम मंदिर से कुछ दूरी पर भक्तों को प्रसाद बांटने का काम सौंपा गया है। 

आचार्य सत्येंद्र दास ने जताई आपत्ति

श्री राम जन्मभूमि मंदिर के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास ने इस नई व्यवस्था से नाराज होकर सवाल किया कि क्या मंदिर में पुजारियों के बजाय ट्रस्ट के कार्यकर्ताओं द्वारा भक्तों को प्रसाद देना सही है। दास ने कहा, "मैं यह समझने में असमर्थ हूं कि ट्रस्ट में कितने लोग हैं और आदेश जारी करने के लिए कौन जिम्मेदार है। जो कोई भी कहीं से आता है, वह ट्रस्टी बन जाता है।" 

मामले में क्या कहना है ट्रस्ट का

वहीं, राम जन्मभूमि परिसर में राम मंदिर ट्रस्ट के कार्यालय प्रभारी प्रकाश गुप्ता ने कहा, ‘‘हमने व्यवस्था को दुरुस्त करने के लिए यह प्रबंध किया है क्योंकि जब मंदिर से प्रसाद वितरित किया जाता था, तो भक्तों की सुगम आवाजाही में बाधा उत्पन्न होती थी इसलिए भक्तों के सुचारू आवागमन के लिए हमने मंदिर से कुछ दूरी पर एक ‘स्टॉल’ की व्यवस्था की है जहां से हम प्रसाद वितरित कर रहे हैं।’’ 

उन्‍होंने कहा कि यह व्यवस्था प्रसाद को लेकर भीड़ से बचने और श्रद्धालुओं की सुरक्षा और सुविधा के मद्देनजर शुरू की गई है। 

टॅग्स :राम मंदिरउत्तर प्रदेशअयोध्या
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