लॉकडाउन के बाद मोदी सरकार की सलाह नहीं मान रहे हैं दुकानदार, दालें 150 रुपये किलो, तो फल सब्जियों के दाम हुए दोगुने
By एसके गुप्ता | Published: March 24, 2020 07:39 AM2020-03-24T07:39:15+5:302020-03-24T07:39:46+5:30
सरकार ने 200 एमएल का सेनिटाइजर 100 रुपए और दो लेयर का मास्क आठ रुपए कीमत पर बेचना दुकानदारों के लिए तय किया गया है। लेकिन मेडिकल स्टोर पर ‘नो सेनिटाइजर, नो मास्क’ की सूचना लगा दी गई है। दक्षिणी दिल्ली में एम्स के पास बनी मेडिकल स्टोर की दुकानों पर सेनिटाइजर न होने की बात पर कैमिस्ट ने कहा कि कंपनियों ने सप्लाई बंद कर दी है।
कोरोना वायरस संक्रमण के कारण हुए लॉकडाउन के कारण कुछ जगहों पर बढ़ी मुनाफाखारी से सरकार की सलाह बेमानी साबित हो रही है। दाल-सब्जी और फलों के दामों में उछाल आ गया है। सरकार की ओर से बेशक यह दावे किए जा रहे हैं कि दुकानों पर सेनिटाइजर और मास्क उचित दामों पर मिलेंगे। लेकिन कुछ दुकानदारों की ओर से मनमाने दाम वसूले जा रहे हैं।
कुछ स्थानों पर दालें 120 से 150 रुपए किलो बिकने लगी हैं। वहीं सब्जियों के दाम आसमान छूने लगे हैं। दिल्ली के पॉश इलाकों में किराना और सब्जियों के दाम जहां कमोबेश कम बढ़े हैं वहीं अनाधिकृत कच्ची कालोनियों में इन चीजों के दामों में ज्यादा उछाल आया है। इसकी वजह कालाबाजारी करने वालों में अनाधिकृत कालोनियों के अंदर ज्यादा दाम वसूलने को लेकर डर न होना है क्योंकि पॉश कालोनियों में रहने वाले लोगों से कालाबाजारी करने वालों को हमेशा शिकायत का डर बना रहता है।
सरकार ने 200 एमएल का सेनिटाइजर 100 रुपए और दो लेयर का मास्क आठ रुपए कीमत पर बेचना दुकानदारों के लिए तय किया गया है। लेकिन मेडिकल स्टोर पर ‘नो सेनिटाइजर, नो मास्क’ की सूचना लगा दी गई है। दक्षिणी दिल्ली में एम्स के पास बनी मेडिकल स्टोर की दुकानों पर सेनिटाइजर न होने की बात पर कैमिस्ट ने कहा कि कंपनियों ने सप्लाई बंद कर दी है। क्योंकि 50 एमएल का सेनिटाइजर 80 रुपए का आता है तो कंपनियां कहां से 200 एमएल का सेनिटाइजर 100 रुपए में देंगी? इससे एम्स में आने वाले रोगियों के लिए समस्या यह भी बनी हुई है कि उन्हें दवा की दुकानों पर न तो मास्क मिल रहे हैं और न सेनिटाइजर, यहां कुछ दुकानों पर एन-95 मास्क 470 रुपए का मिल रहा है। जबकि इसकी वास्तविक कीमत 200 से 250 रुपए है।
पूर्वी दिल्ली स्थित कल्याणपुरी के किराना थोक बाजार में भी किराना के सामान की कीमतों में उछाल आया है। व्यापारी राकेश अग्रवाल ने लोकमत से कहा कि पहले जनता कफ्यू और अब लॉक डाउन के कारण सामान दूसरे राज्यों से आने में दिक्कतें आ रही हैं। लोग भी दुकानों पर सामान लेने के लिए लाइनें लगाकर खडे हैं। जिसकी वजह एक दिन बाद नवरात्र त्यौहारों का शुरू होना है और दूसरी वजह लोगों में 31 मार्च तक कफ्यू जैसे माहौल में घर में खाने-पीने का सामान रखकर अपने को बंद करके रखने की हडबडाहड है। जिससे वह खुद को और अपने परिवार को कोरोना वायरस जैसी संक्रामक बीमारी से बचा सकें।
दिल्ली स्थित पश्चिमी दिल्ली के कीर्ति नगर और मोती नगर इलाके में अरहर की दाल120 से 140 रुपए और उडद धुली दाल 130 से 150 रुपए किलो बिक रही है। दक्षिणी दिल्ली के कुछ मदर डेयरी बूथ के संचालक मनमानी कर रहे हैं, यहां मिलने वाला 40 रुपए का नारियल अब 50 रुपए और दुकानों पर कपूर की 60 रुपए वाली डिब्बी 75 रुपए में कुछ दुकानदार बेच रहे हैं। साउथ दिल्ली में कुछ दुकानों पर भी किराना दुकानदार सामान को तय दामों से ज्यादा कीमत पर बेच रहे हैं।
दुकानदारों द्वारा कालाबाजारी और खाद्य पदार्थों की कीमत में बढोत्तरी की वजह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से राष्ट्र के नाम संदेश आने के बाद देश के 75 जिलों में लॉक डाउन की घोषणा होना है। लोगों में पहले से यह आशंका बनी हुई थी कि सरकार चीन और इटली की तरह कहीं भारत में भी लोगों को घरों में रहने का संदेश जारी न कर दे। इसलिए लोग पहले से ही सब्जी, आटा, चावल, दाल एवं खाने पीने की वस्तुएं खरीदने के लिए निकल पडे थे। दुकानों पर सीमित स्टॉक होने के कारण वस्तुओं के दामों में दुकानदारों ने बढ़ोतरी कर दी है।