CAA का विरोधः संभल में सरकारी बस में आग लगायी, इंटरनेट सेवा बंद
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: December 19, 2019 15:58 IST2019-12-19T14:48:58+5:302019-12-19T15:58:45+5:30
उत्तर प्रदेश के कई क्षेत्रों में नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ प्रदर्शन हो रहा है। इतना ही नहीं यहां गाड़ियों में भी तोड़फोड़ की गई है। संभल जिला मजिस्ट्रेट ने कहा कि विरोध प्रदर्शन के दौरान हिंसा के बाद इंटरनेट सेवाओं को अगले आदेश तक निलंबित कर दिया गया है।

प्रदर्शनकारियों ने एक सरकारी बस में आग लगा दी और दूसरी बस में तोड़फोड़ की।
नागरिकता संशोधन कानून का विरोध कर रहे प्रदर्शनकारियों ने राज्य सरकार की दो बसों को नुकसान पहुंचाया। पुलिस अधीक्षक यमुना प्रसाद ने बताया कि आज दोपहर चौधरी सराय इलाके में एक बस में आग लगा दी गयी जबकि दूसरी बस में तोड़फोड़ की गयी।
अग्निशमन विभाग की गाड़ियां मौके पर पहुंच गयीं और आग पर काबू करने का प्रयास किया। संभल के जिलाधिकारी अविनाश के सिंह ने बताया की संभल में कुछ लोगों ने दो बसों में तोड़फोड़ की और आग लगा दी। हालांकि मामूली आग लगी। साथ ही पुलिस चौकी के बाहर पथराव भी किया गया।
फिलहाल सम्भल में एक बार फिर इंटरनेट सेवा बन्द कर दी गई है। नागरिकता संशोधन कानून पर प्रदर्शन के दौरान आज उत्तर प्रदेश में संभवत: यह पहली बड़ी घटना है जिसमें सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाया गया है।
Sambhal District Magistrate: Internet services have been suspended till further orders, following violence during protest over #CitizenshipAmendmentAct today. https://t.co/f6JUtydRO5
— ANI UP (@ANINewsUP) December 19, 2019
संशोधित नागरिकता कानून के विरोध में दो बड़े प्रदर्शनों के मद्देनजर विपक्ष के कई वरिष्ठ नेताओं, छात्रों और कार्यकर्ताओं को हिरासत में लिया गया है वहीं हालात को देखते हुए निषेधाज्ञा लगाने और राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में मोबाइल और इंटरनेट सेवा निलंबित होने से हजारों लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
माकपा के महासचिव सीताराम येचुरी, भाकपा के महासचिव डी राजा सहित, नीलोत्पल बसु, वरिष्ठ माकपा नेता वृंदा करात, कांग्रेस नेता अजय माकन, संदीप दीक्षित, कार्यकर्ता योगेन्द्र यादव, उमर खालिद सहित बड़ी संख्या में लोगों को लाल किला और मंडी हाउस से निकट हिरासत में लिया गया है।
संशोधित नागरिकता कानून के विरोध में प्रदर्शनों के मद्देनजर बृहस्पतिवार को दिल्ली के कम से कम 18 मेट्रो स्टेशनों के प्रवेश और निकास द्वार बंद कर दिए गए हैं। वहीं प्रदर्शनकारियों को रोकने के लिए दक्षिण, पूर्व तथा उत्तरी दिल्ली के बड़े हिस्से में अवरोधक लगाए गए हैं, जिससे शहर के अनेक हिस्सों में भीषण जाम लग गया। विरोध प्रदर्शनों के बीच पुलिस के निर्देश पर दिल्ली- राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र के कुछ हिस्सों में एयरटेल, वोडाफोन आइडिया और रिलायंस जियो सहित दूरसंचार कंपनियों की इंटरनेट, वायस और संदेश सेवाओं को निलंबित कर दिया गया।
आदेश के मुताबिक, उत्तरी और मध्य दिल्ली के पुराने इलाकों सहित मंडी हाउस, सीलमपुर, जाफराबाद, मुस्तफाबाद, जामिया नगर, शहीद पार्क और बवाना में दूरसंचार सेवाओं को निलंबित किया गया है। नयी दिल्ली के विशेष प्रकोष्ठ के पुलिस उपायुक्त की ओर से जारी आदेश के अनुसार, ‘‘कानून और व्यवस्था के वर्तमान हालात को देखते हुए सभी प्रकार के संचार जैसे वॉयस, एसएमएस और इंटरनेट सेवाओं को 19-12-2019 को इन इलाकों में 0900 बजे से 1300 बजे तक रोकने का निर्देश दिया जाता है। ’’
लाल किले और उसके आसपास के क्षेत्रों में धारा 144 लागू होने के कारण पुलिस ने बड़ी संख्या में लोगों को बसों से अन्यत्र ले जा कर क्षेत्र खाली कराया। यादव ने ट्वीट किया, ‘‘मुझे लाल किले से हिरासत में लिया गया। एक हजार प्रदर्शकारियों को हिरासत में लिया गया वहीं हजारों लोगों को हिरासत में लेने की तैयारी है।’’ कार्यकर्ता प्रशांत भूषण ने ट्वीट किया,‘‘ आपकी जेल में कितने लोग आ सकते हैं? जैसा गांधीजी ने कहा था,कि एक बार लोगों के मन से हिरासत का भय निकल जाए तो वह स्वतंत्र हैं।
सीएए प्रदर्शन के साथ भी यही हो रहा है।’’ यादव ने कहा, ‘‘ मैं जानता हूं कि हमारे कई साथियों को हिरासत में लिया जा रहा है, इसके बावजूद कई लोग यहां एकत्र हुए। इस देश की नागरिकता विभाजित नहीं हो सकती और आज यही हमारे प्रदर्शन का मूल है।’’ दिल्ली पुलिस उपायुक्त (सेंट्रल) मनदीप सिंह रंधावा ने कहा, ‘‘ हम लोगों से अपील करते हैं कि वह अफवाहों पर ध्यान न दें। क्षेत्र में धारा 144 पहले ही लगा दी गयी है। कृपया दिल्ली पुलिस के साथ सहयोग करें।’’
राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में आज दो विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं। एक विरोध प्रदर्शन छात्रों और सामाजिक कार्यकर्ताओं की ओर से आयोजित किया गया है जबकि दूसरा प्रदर्शन वामपंथी पार्टियों ने आहूत किया है। दोनों ही मार्च आईटीओ के निकट शाहीन पार्क में मिलेंगे।
सीएए विरोध: बिहार में रेल, सड़क सेवाएं प्रभावित, बंगाल, असम और मेघालय में शांतिपूर्ण हालात
पश्चिम बंगाल, असम और मेघालय में बृहस्पतिवार को हालात शांतिपूर्ण रहे लेकिन बिहार में संशोधित नागरिकता कानून के विरोध में वामदल से जुड़े छात्र संगठनों द्वारा आहूत बंद के दौरान प्रदर्शनकारियों ने रेल और सड़क यातायात को बाधित किया। बंद का समर्थन छोटे दलों ने भी किया।
पटना में, एआईएसएफ और एआईएसए जैसे वाम समर्थित छात्र संगठनों के कार्यकर्ता सुबह राजेंद्र नगर टर्मिनस में प्रवेश कर पटरियों पर बैठ गए। इससे करीब आधे घंटे तक रेल यातायात बाधित रहा। आरपीएफ के जवानों ने प्रदर्शनकारियों को खदेड़ा जिसके बाद यातायात को बहाल किया जा सका। सुबह दस बजे पप्पू यादव की जन अधिकार पार्टी (जेएपी) के सैकड़ों कार्यकर्ताओं ने स्टेशन के सामने वाली सड़क पर टायर जलाए। कार्यकर्ता पटरियों पर बैठ गए।
एक आवासीय क्षेत्र की तरफ जा रही एम्बुलेंस में तोड़फोड़ की गई। दरभंगा जिले में माकपा कार्यकर्ता लहरिया सराई स्टेशन पर पटरियों पर बैठ गए। इससे कुछ देर के लिए रेल यातायात प्रभावित हुआ। जहांनाबाद में भाकपा (माले) के कार्यकर्ताओं ने काको मोड़ पर सड़क को अवरुद्ध किया जिससे राष्ट्रीय राजमार्ग एनएच 110 और 83 पर यातायात प्रभावित हुआ। पश्चिम बंगाल से हिंसा की कोई ताजा घटना सामने नहीं आई है। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी कोलकाता के मध्य स्थित एसप्लानडे इलाके में विरोध रैली करेंगी।
वाम दल रामलीला मैदान से लेडी ब्राबोर्न कॉलेज में सीएए के खिलाफ प्रदर्शन मार्च करेंगे। गुवाहाटी में हालात सामान्य हैं। डिब्रूगढ़ में कर्फ्यू में सुबह छह बजे से 14 घंटे की ढील दी गई है। असम में हिंसा की कोई ताजा घटना सामने नहीं आई है। मेघालय की राजधानी शिलांग में कर्फ्यू में 14 घंटे की ढील दी गई है हालांकि मोबाइल इंटरनेट सेवा अभी भी निलंबित है।