BPSC Exam Protest: 70 वीं संयुक्त प्रारंभिक परीक्षा को रद्द कराने की मांग को लेकर पटना के गर्दनीबाग में पिछले 11 दिनों से धरना पर बैठे बीपीएससी अभ्यर्थियों को लेकर नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर जमकर निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि यहां पर सरकार नाम की कोई चीज नहीं रह गई है, छात्रों के साथ अन्याय हो रहा है। उनकी जितनी समस्याएं थीं, उसे हमने मुख्यमंत्री को अवगत कराया। मुख्यमंत्री सभी मुद्दों पर चुप हैं। जब हमारी सरकार थी, तो युवा खुश थे लेकिन आज उनकी आंखों में आंसू हैं। ये सरकार जनता की सरकार नहीं है। ये भ्रष्ट अधिकारियों की सरकार है।
उन्होंने कहा कि यह सरकार केवल भ्रष्टाचार में लगी हुई है। अब ऐसा लग रहा है कि राज्य में कोई मुख्यमंत्री है ही नहीं और ऐसा लग रहा है कि नीतीश कुमार इतिहास बन गए हैं। हमको लग रहा है कि मुख्यमंत्री होश में नहीं हैं। यहां बच्चे लाठी डंडा खा रहे हैं। सीने पर लाठियों के दाग हैं। घायल हैं और अस्पताल में भर्ती हैं। लोगों के आंख में आंसू है। ये देखकर मुख्यमंत्री की आत्मा को कोई फर्क नहीं पड़ता।
उन्होंने कहा कि क्या तरीका है, पेपर लीक हो रहा है। पुनर्परीक्षा नहीं कर रहे हैं। पहले बीपीएससी के लोगों को अपनी गलती माननी चाहिए। ये गलती क्यों नहीं मान रहे हैं। एक सेंटर का क्यों रद्द किया इन्होंने रद्द किया, तो एक केन्द्र का क्यों किया? सबका करना चाहिए। फिर से एक तरह का नॉर्मलाइजेशन ही हो गया। ये युवाओं के भविष्य के साथ खिलवाड़ है।
वहीं, तेजस्वी यादव ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को भारत रत्न दिए जाने की केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह की मांग का समर्थन करते हुए साफ तौर पर कहा कि उन्हें भारत रत्न मिलना चाहिए। एकदम मिलना चाहिए इसमें क्या है। इन सबके बीच तेजस्वी यादव ने कहा कि नेता विरोधी दल के नाते हमने दो बार मुख्यमंत्री को चिट्ठी लिखी, लेकिन उनका कोई जवाब नहीं आया।
यह लोकतंत्र है और लोकतंत्र में अगर नेता विरोधी दल कोई चिट्ठी पत्र लिखता है तो मुख्यमंत्री को इसका पत्र देना चाहिए। लेकिन वह न तो सदन में कुछ बोलते हैं, न बाहर ही कुछ बोलते हैं और न मीडिया में कुछ बोलते हैं, ये मुख्यमंत्री हैं कि क्या हैं? उन्होंने कहा कि इस राज्य में मुख्यमंत्री है भी नहीं है यह पता नहीं है।
कौन मुख्यमंत्री हैं, यह अभी पता नहीं है। चार लोग पूरी सरकार चला रहे हैं, दो यहां (बिहार) हैं और दो वहां (केंद्र) हैं और यही लोग सरकार चला रहे हैं। इनको (मुख्यमंत्री नीतीश कुमार) समझना चाहिए कि क्या हो रहा है? इस राज्य में छात्र रो रहे हैं, उन्हें देखने वाला कोई क्यों नहीं?
मुख्यमंत्री कुछ नहीं बोलते। न सदन में बोलते हैं न सदन के बाहर बोलते हैं। हमारे पत्र का जवाब तक नहीं देते हैं। यह लोकतंत्र है और उनको समझना चाहिए कि एक नेता विरोधी दल के पत्र का जवाब देना होगा। तेजस्वी यादव ने कहा कि यहां (बिहार) महात्मा गांधी जी का अपमान हो रहा है।
सीता मइया का अपमान हो रहा है। महिलाओं का अपमान हो रहा है, लेकिन कोई कुछ करने वाला नहीं। उन्होंने यह भी कहा कि इस बात को आप समझिए कि आखिर मुख्यमंत्री हैं भी कि नहीं हैं। सरकार है भी या नहीं है, इस पर पहले चर्चा होना चाहिए।