Train Accident:बिहार में छपरा-बलिया रेलखंड पर सोमवार को एक बड़ा रेल हादसा होते होते टल गया। ट्रेन को पलटने की साजिश रचे जाने की बात कही जा रही है। हालांकि, ट्रैक मैन की सूझबूझ से बदमाशों की योजना विफल हो गई। ट्रैक मैन ने सही समय पर लाल झंडा दिखाकर ट्रेन को रोक दिया, जिससे हजारों यात्रियों की जान बच गई। इसी रेल खंड पर कोलकाता-गाजीपुर सिटी साप्ताहिक एक्सप्रेस तेज रफ्तार से आ रही थी और इससे पहले ही ये रेल पटरी टूटी हुई मिली। इस मामले में अब जांच की बात कही जा रही है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार पूर्वोत्तर रेलवे के वाराणसी मंडल के छपरा-बलिया रेलखंड के गौतमस्थान छपरा जंक्शन के बीच सेंगर टोला गांव के पास रेल पटरी टूटी हुई थी। निरीक्षण के दौरान ट्रैक मैन ने देखा कि पटरी चार इंच टूट गई है। इसी बीच छपरा से बलिया की तरफ कोलकता-गाजीपुर सिटी सप्ताहिक एक्सप्रेस अपनी रफ्तार से आ रही थी। यह जानकर ट्रैक मैन के होश उड़ गए और वह तत्काल सक्रिए हो गया।
उसने लाल झंडी दिखाकर ट्रेन को रोक दिया। अगर टूटी पटरी से ट्रेन गुजरती तो बड़ी घटना घट सकती थी। वहीं लोको पायलट दीपक कुमार और सहायक लोको पायलट शुभांशु राज ने भी तत्परता दिखाते हुए ट्रेन का इमरजेंसी ब्रेक लगाकर दुघर्टनास्थल से 100 मीटर पहले ही ट्रेन को रोक दिया। इस दौरान कुछ देर के लिए मौके पर अफरा-तफरी का माहौल कायम हो गया।
वहीं इस दौरान ट्रेन 1 घंटे तक रुकी रही। जॉगल फिश प्लेट और क्लैंप बांधकर ट्रेन को 20 की स्पीड में निकाला गया। इस दौरान कई ट्रेनें जहां-तहां रुकी रहीं। रेलकर्मियों के अनुसार, ठंड के दिनों में ऐसी घटनाएं होती हैं। हालांकि रेलवे इसके हल्के में नहीं ले रहा है और इस मामले की जांच शुरू कर दी है। वहीं, स्थानीय लोगों का आशंका है कि शरारती तत्वों द्वारा इस वारदात को अंजाम दिया गया है।
दूसरी ओर रेल अधिकारी और रेलकर्मी इस मामले को लेकर अभी कुछ भी कहने से बच रहे हैं। मौके पर रेलवे के अधिकारी पहुंच कर जांच में जूट गए। घटना को लेकर आरपीएफ के असिस्टेंट कमांडेंट मुकेश कुमार ने कहा कि ठंड आने पर रेलवे ट्रैक में अक्सर ऐसे क्रैक आ जाते हैं। अभी कॉशन पर गाड़ी चल रही है। जांच की जा रही है।