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असम एनआरसी की आखिरी सूची से 19 लाख बाहर

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: August 31, 2019 19:58 IST

असम में बहुप्रतीक्षित राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) की अंतिम सूची शनिवार को जारी कर दी गई। इसमें करीब 19.07 लाख आवेदकों को बाहर रखा गया है।

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असम में राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) की अंतिम सूची आज सुबह 10 बजे जारी कर दी गई है। इसे सेवाकेंद्र और वेबसाइट से देखा जा सकता है। इस सूची में नाम ना होने को लेकर लोग आशंकित हैं। कानून व्यवस्था की किसी स्थिति से निपटने के लिए सरकार ने सुरक्षा के अतिरिक्त इंतजाम किए हुए हैं। साथ ही सरकार ने लोगों से शांति बनाए रखने की भी अपील की है। जब मसौदा एनआरसी प्रकाशित हुई थी तब 40.7 लाख लोगों को इसमें जगह नहीं मिलने पर काफी विवाद हुआ था। इस मसौदे में कुल 3.29 करोड़ आवेदकों में से 2.9 करोड़ के नाम शामिल थे। जानें इस मामले से जुड़ी सभी बड़ी अपडेट्स...

31 Aug, 19 07:02 PM

बंगाल में भी लागू हो एनआरसी : दिलीप घोष

पश्चिम बंगाल भाजपा अध्यक्ष दिलीप घोष ने देश की आंतरिक सुरक्षा के लिए बांग्लादेशी मुस्लिमों को बाहर निकालने के लिए राज्य में एनआरसी लागू करने की शनिवार को मांग की। उन्होंने कहा कि भाजपा नागरिकता संशोधन विधेयक के जरिए हिंदू शरणार्थियों के हितों की रक्षा करने के लिए प्रतिबद्ध है। घोष ने तृणमूल कांग्रेस सरकार पर अपना अल्पसंख्यक वोट बैंक सुरक्षित रखने के लिए बंगाल के सीमावर्ती इलाकों में बांग्लादेशियों की घुसपैठ में मदद करने का आरोप लगाया। उन्होंने यहां पत्रकारों से कहा, ‘‘हम मांग करते हैं कि असम की तरह बंगाल में भी एनआरसी लागू होनी चाहिए। अगर टीएमसी सरकार कोई कठिन फैसला लेना नहीं चाहती तो हम इसे लागू करेंगे और 2021 में सत्ता में आने के बाद राज्य से बांग्लादेशी मुस्लिमों को बाहर निकाल देंगे।’’ घोष ने कहा कि धार्मिक अत्याचारों या अन्य कारणों से बांग्लादेश या अन्य देशों को छोड़ने के लिए विवश हुए हिंदू शरणार्थियों को नागरिकता संशोधन विधेयक के तहत देश की नागरिकता दी जाएगी। उन्होंने कहा, ‘‘हिंदू शरणार्थियों को चिंता करने की जरूरत नही है। भाजपा उनके साथ खड़ी है और उन्हें नागरिकता दी जाएगी।’’ 

31 Aug, 19 06:53 PM

हम एनआरसी की अद्यतन सूची पर भरोसा नहीं करते हैं: असम भाजपा

असम में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने शनिवार को कहा कि वह राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) की अद्यतन सूची पर भरोसा नहीं करती हैं। पार्टी ने केन्द्र और राज्य सरकारों से राष्ट्रीय स्तर पर एनआरसी तैयार किये जाने का अनुरोध किया। भाजपा असम के अध्यक्ष रंजीत कुमार दास ने यहां संवाददाता सम्मेलन में कहा कि एनआरसी की अंतिम सूची में आधिकारिक तौर पर पहले बताये गये आंकड़ों की तुलना में बाहर किये गये लोगों की बहुत छोटी संख्या बताई गई है। उन्होंने कहा, ‘‘हम इस एनआरसी पर भरोसा नहीं करते हैं। हम बहुत नाखुश हैं।...हम केंद्र और राज्य सरकारों से राष्ट्रीय स्तर पर एनआरसी तैयार किये जाने की अपील करेंगे।’’ दास ने कहा कि पार्टी बाहर किये गये लोगों द्वारा विदेशी न्यायाधिकरण (एफटी) में अपील किये जाने की प्रक्रिया और मामलों के फैसलों पर करीबी नजर रखेगी। उन्होंने कहा, ‘‘यदि एफटी वास्तविक भारतीयों के खिलाफ प्रतिकूल आदेश देते हैं तो हम पूरे 19 लाख मामलों के निस्तारण की प्रतीक्षा नहीं करेंगे। हम कानून लायेंगे और उन्हें सुरक्षित बनाने के लिए काम करेंगे।’’ उल्लेखनीय है कि असम में बहुप्रतीक्षित एनआरसी की अंतिम सूची शनिवार को ऑनलाइन जारी कर दी गई। एनआरसी में शामिल होने के लिए 3,30,27,661 लोगों ने आवेदन दिया था। इनमें से 3,11,21,004 लोगों को शामिल किया गया है और 19,06,657 लोगों को बाहर कर दिया गया है। 

31 Aug, 19 06:42 PM

मनोज तिवारी ने दिल्ली में एनआरसी तैयार कराने की मांग दोहराई, गृह मंत्री से मुलाकात की बात कही

दिल्ली भाजपा के अध्यक्ष मनोज तिवारी ने राजधानी में भी राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) तैयार कराने की मांग दोहराते हुए शनिवार को कहा कि वह जल्द ही केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात कर इसके लिये दबाव बनाएंगे। तिवारी ने यह बात शनिवार को असम में एनआरसी की अंतिम सूची जारी होने के बाद कही। तिवारी ने कहा कि "आपराधिक गतिविधियों" में शामिल बांग्लादेशियों और रोहिंग्याओं समेत अवैध आप्रवासियों की "बड़ी संख्या" में मौजूदगी के चलते दिल्ली में हालात "खतरनाक" हैं। तिवारी ने इस मुद्दे को लेकर पिछले साल अगस्त और नवंबर में उस समय गृह मंत्री रहे राजनाथ सिंह को पत्र लिखे थे। भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने पीटीआई-भाषा से कहा, "यह एक बहुत ही अनिश्चित स्थिति है जिस पर तत्काल ध्यान देने की आवश्यकता है। मैं जल्द ही गृह मंत्री अमित शाह से मिलकर उनसे अनुरोध करूंगा कि राष्ट्रीय राजधानी में भी एनआरसी तैयार कराई जाए।" तिवारी ने कहा, "मेरा दृढ़ विश्वास है कि दिल्ली में अवैध प्रवासी स्थानीय लोगों को उनके अधिकारों और अवसरों से वंचित कर रहे हैं। यहां तक कि मैं एक बार शहर के मुसलमानों से मिला था जिन्होंने मुझे बताया कि दिल्ली में भी एनआरसी तैयार कराई जानी चाहिये क्योंकि अवैध आप्रवासियों की आपराधिक गतिविधियों की वजह से उनके समुदाय की छवि खराब हुई है।" 

31 Aug, 19 06:38 PM

भाजपा त्रुटि रहित एनआरसी सुनिश्चित करने में विफल रही हैः गोगोई

असम के पूर्व मुख्यमंत्री तरुण गोगोई ने शनिवार को आरोप लगाया कि सत्तारूढ़ भाजपा स्वतंत्र एवं निष्पक्ष राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) सुनिश्चित करने में विफल रही है जबकि पूरा सरकारी तंत्र इस काम में लगा हुआ था। उन्होंने एनआरसी सूची जारी होने के बाद लोगों को ‘‘गुमराह’’ करने का प्रयास करने के लिए भगवा पार्टी की आलोचना की। तीन बार मुख्यमंत्री रहे गोगोई ने यहां पत्रकारों से कहा, ‘‘मैं एनआरसी के प्रकाशित होने के तरीके से भी खुश नहीं हूं जिसमें वास्तविक भारतीय नागरिकों के नाम छूट गये और विदेशियों के शामिल कर लिये गये।’’ उन्होंने कहा कि केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने भाजपा अध्यक्ष के रूप में कांग्रेस पर एनआरसी की प्रक्रिया पूरी नहीं करने का आरोप लगाया था और आश्वासन दिया था कि वे स्वतंत्र एवं निष्पक्ष नागरिक सूची लेकर आयेंगे।’’ उन्होंने कहा, ‘‘भाजपा भी जारी की गई एनआरसी से खुश नहीं है और इससे पता चलता है कि वे कितनी बुरी तरह से विफल रहे हैं। यह राज्य सरकार है जिसके पास अपनी पुलिस, खुफिया और प्रशासनिक अधिकारियों की मदद से विदेशियों का पता लगाने के लिए पूरा तंत्र था।’’ कांग्रेस के वरिष्ठ नेता ने कहा कि राज्य के वित्त मंत्री हिमंत बिस्व सरमा अपने उस बयान से ‘‘लोगों को गुमराह’’ करने का प्रयास कर रहे है जिसमें उन्होंने कहा है कि राज्य एवं केंद्र सरकारों के पहले किए अनुरोध के अनुसार उच्चतम न्यायालय को सीमावर्ती जिलों में कम से कम 20 प्रतिशत और शेष असम में 10 प्रतिशत पुन: सत्यापन की अनुमति देनी चाहिए। 

31 Aug, 19 06:18 PM

एनआरसी की स्थिति से असम का हर वर्ग नाराज, वास्तविक नागरिकों के अधिकारों की सुरक्षा हो: कांग्रेस

असम में राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) की अंतिम सूची आने के बाद कांग्रेस ने शनिवार को कहा कि एनआरसी की मौजूदा स्थिति से राज्य का हर वर्ग नाराज है और देश के वास्तविक नागरिकों के हितों की सुरक्षा सुनिश्चित की जानी चाहिए। एनआरसी की अंतिम सूची आने के बाद पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी के आवास पर इस मुद्दे को लेकर बैठक हुई जिसमें पश्चिम बंगाल और पूर्वोत्तर से ताल्लुक रखने वाले वरिष्ठ नेता शामिल हुए। बैठक के बाद पार्टी के वरिष्ठ नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि देश के वास्तविक नागरिकों के हितों की रक्षा होनी चाहिए। लोकसभा में पार्टी के नेता चौधरी ने कहा, ''देश के वास्तविक नागरिकों के हितों की सुरक्षा होनी चाहिए और उन्हें एनआरसी में शामिल किया जाना चाहिए। असम से कांग्रेस के लोकसभा सदस्य गौरव गोगोई ने कहा, " असम का हर वर्ग एनआरसी की स्थिति से नाराज है। भाजपा के मंत्री शिकायत कर रहे हैं। लापरवाही से क्रियान्वयन के कारण भारत के बहुत सारे वास्तविक नागरिकों को भी अदालतों का सामना करना होगा। कांग्रेस सबकी मदद करेगी। राजनीति से ऊपर देश हमारा लक्ष्य है।'' पूर्वोत्तर से ताल्लुक रखने वाले पार्टी के वरिष्ठ नेता मुकुल संगमा ने कहा, ''जैसा कि आप सभी जानते हैं कि एनआरसी असम करार के तहत किया जा रहा काम है। हमारी पार्टी का रुख एकदम स्पष्ट है कि वास्तविक भारतीय नागरिकों के हितों की रक्षा होनी चाहिए।'' गौरतलब है कि असम में बहुप्रतीक्षित राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) की अंतिम सूची शनिवार को ऑनलाइन जारी कर दी गई। इसमें करीब 19.07 लाख आवेदकों को बाहर रखा गया है। एनआरसी के राज्य समन्वयक कार्यालय ने एक बयान में कहा कि एनआरसी की अंतिम सूची में 3.11 करोड़ लोगों को शामिल किया गया है। 

31 Aug, 19 06:11 PM

यदि विदेशी अधिकरण वास्तविक भारतीयों के खिलाफ प्रतिकूल आदेश देते हैं तो बाहर किए गए लोगों की मदद के लिए कानून लायेंगे : भाजपा

31 Aug, 19 06:04 PM

भारतीय जनता पार्टी की असम इकाई ने कहा कि वह केंद्र और राज्य सरकारों से राष्ट्रीय स्तर पर राष्ट्रीय नागरिक पंजी तैयार किये जाने की अपील करेगी।

31 Aug, 19 06:01 PM

एमनेस्टी इंटरनेशनल ने एनआरसी की अंतिम सूची को लेकर चिंता जताई

राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) की अंतिम सूची से 19.07 लाख लोगों को बाहर रखे जाने के बीच एमनेस्टी इंटरनेशनल इंडिया ने असम सरकार से यह सुनिश्चित करने की अपील की है कि विदेश न्यायाधिकरण पूरी पारदर्शिता के साथ काम करें। एमनेस्टी इंटरनेशनल इंडिया के प्रमुख आकार पटेल ने यहां एक बयान में कहा कि इसे राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय कानूनों के तहत निष्पक्ष परीक्षण मानकों के अनुरूप कार्य करना चाहिए।

31 Aug, 19 05:52 PM

एनआरसी सूची से छूटे भारतीय नागरिकों को सरकार कानूनी मदद उपलब्ध करायेगी: मंत्री

असम सरकार ने शनिवार को दावा किया कि कई वास्तविक भारतीय राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) की अंतिम सूची से छूट गये है लेकिन उन्हें घबराने की कोई जरूरत नहीं है क्योंकि उनके पास विदेशी न्यायाधिकरण (एफटी) में अपील करने का विकल्प उपलब्ध है। असम के संसदीय कार्य मंत्री चन्द्रमोहन पटवारी ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा कि सरकार एनआरसी सूची में स्थान नहीं पाने वाले भारतीय नागरिकों को कानूनी मदद उपलब्ध करायेगी। पटवारी ने कहा, ‘‘एक बात निश्चित है कि कई वास्तविक भारतीय एनआरसी में छूट गये है। हालांकि उन्हें घबराने और चिंता करने की कोई जरूरत नहीं है। वे एफटी में अपील कर सकते हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘एनआरसी में स्थान नहीं पाने वास्तविक भारतीयों को यदि न्यायाधिकरण में अपील करने में मदद की जरूरत होगी तो सरकार उनकी मदद करने के लिए तैयार है।’’ असम सरकार के प्रवक्ता पटवारी ने कहा, ‘‘हमने एफटी की संख्या 100 से बढ़ाकर 300 की है। अतिरिक्त एफटी सोमवार से कार्य करना शुरू देंगे ताकि लोग वहां संपर्क कर सके।’’ जब उनसे ऑल असम स्टूडेंट्स यूनियन (आसू) के उस आरोप के संबंध में पूछा गया जिसमें कहा गया था कि सरकार की निष्क्रियता के कारण कई लोग एनआरसी से छूट गये, तो मंत्री ने कहा कि पूरी प्रक्रिया उच्चतम न्यायालय की सीधी निगरानी में पूरी की गई थी। उन्होंने कहा, ‘‘इस पूरी कवायद में हमारी भूमिका साजो सामान उपलब्ध कराने की थी। हमारी कोई अन्य भूमिका नहीं थी। यहां तक कि एनआरसी के राज्य समन्वयक सीधे उच्चतम न्यायालय को रिपोर्ट कर रहे थे और हमारे साथ कोई जानकारी साझा नहीं की गई थी।’’ उल्लेखनीय है कि असम में बहुप्रतीक्षित एनआरसी की अंतिम सूची शनिवार को ऑनलाइन जारी कर दी गई। एनआरसी में शामिल होने के लिए 3,30,27,661 लोगों ने आवेदन दिया था। इनमें से 3,11,21,004 लोगों को शामिल किया गया है और 19,06,657 लोगों को बाहर कर दिया गया है। भाषा देवेंद्र पवनेश पवनेश

31 Aug, 19 05:51 PM

एनआरसी जारी होने के बाद मिजोरम में बढ़ाई गई सुरक्षा

पड़ोसी राज्य असम में राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) की अंतिम सूची जारी किये जाने के मद्देनजर शनिवार को मिजोरम में सुरक्षा बढ़ाई गई। 123 किमी लंबी मिजोरम-असम सीमा के साथ-साथ मिजोरम के पुलिस थानों और सीमा चौकियों पर सुरक्षा बढ़ाने के साथ-साथ अलर्ट जारी किया गया है। मिजोरम के पुलिस महानिरीक्षक (मुख्यालय) जॉन नेहलैया ने पीटीआई-भाषा को बताया कि एनआरसी की अंतिम सूची के प्रकाशन के कारण किसी भी अप्रिय घटना को रोकने और बचे हुए लोगों की मिजोरम में संभावित घुसपैठ को रोकने के लिए असम सीमा पर पुलिस कर्मियों को तैनात किया गया है। उन्होंने कहा, ‘‘सीमा क्षेत्र में आज शाम तक किसी भी अप्रिय घटना की रिपोर्ट नहीं है। माहौल शांतिपूर्ण है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘असम में एनआरसी की अंतिम सूची जारी होने से उत्पन्न होने वाली किसी भी स्थिति का सामना करने के लिए अतिरिक्त सुरक्षा बलों को तैयार रखा गया है।’’ 

31 Aug, 19 05:50 PM

हम इस एनआरसी पर भरोसा नहीं करते हैं: असम भाजपा

31 Aug, 19 05:50 PM

असम गण परिषद ने एनआरसी की अंतिम सूची पर असंतोष जताया

असम में सत्तारूढ़ गठबंधन में शामिल असम गण परिषद (अगप) ने एनआरसी की अंतिम सूची पर असंतोष जताते हुए शनिवार को कहा कि उच्चतम न्यायालय में इसकी समीक्षा की गुंजाइश है, जो पूरी प्रक्रिया की निगरानी कर रहा है। अगप के अध्यक्ष और राज्य सरकार में कृषि मंत्री अतुल बोरा ने कहा कि राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) से बाहर किए गए नाम ‘हास्यास्पद तरीके से बहुत कम’ है। बोरा ने कहा, ‘‘ हम (अगप) इससे (बाहर रह गए नामों से) बिल्कुल खुश नहीं हैं। 19,06,657 लोगों को अंतिम राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) से बाहर करने का आंकड़ा बहुत कम है और इसे हम ऐसे स्वीकार नहीं कर सकते।... उच्चतम न्यायालय में इसकी समीक्षा की गुंजाइश है।’’ अगप अध्यक्ष ने कहा, ‘‘ असम के लोगों को स्वतंत्र और पारदर्शी एनआरसी की उम्मीद थी लेकिन लगता है कि असमी लोगों के अस्तित्व पर संकट और गहरा गया है।’’ उन्होंने कहा,‘‘ कई केंद्रीय और राज्य नेताओं ने कई बार संसद और विभिन्न विधान सभाओं में असम में बड़ी संख्या में विदेशियों के होने की बात कही है। उस पृष्ठभूमि में अंतिम एनआरसी के आंकड़ों को स्वीकार करना मुश्किल है।’’ बोरा ने कहा, हम इस प्रक्रिया से शुरू से जुड़े हुए हैं। असम समझौता पर हस्ताक्षर 855 लोगों की शहादत के बाद संभव हुआ। गौरतलब है कि अगप का गठन ऑल असम स्टूडेंट्स यूनियन (आसू) ने किया जिसने 1979 में लगातार छह साल तक राज्य से विदेशियों को निकालने के लिए आंदोलन किया। 

31 Aug, 19 05:30 PM

एमनेस्टी इंटरनेशनल ने एनआरसी की अंतिम सूची को लेकर चिंता जताई

राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) की अंतिम सूची से 19.07 लाख लोगों को बाहर रखे जाने के बीच एमनेस्टी इंटरनेशनल इंडिया ने असम सरकार से यह सुनिश्चित करने की अपील की है कि विदेश न्यायाधिकरण पूरी पारदर्शिता के साथ काम करें। एमनेस्टी इंटरनेशनल इंडिया के प्रमुख आकार पटेल ने यहां एक बयान में कहा कि इसे राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय कानूनों के तहत निष्पक्ष परीक्षण मानकों के अनुरूप कार्य करना चाहिए। उन्होंने कहा, ‘‘कई रिपोर्टों से पता चलता है कि विदेशी न्यायाधिकरणों के समक्ष सुनवाई कैसे एकपक्षीय होती है और उनके आदेश पक्षपातपूर्ण और भेदभावपूर्ण होते हैं।’’ पटेल ने 100 और अधिक विदेशी न्यायाधिकरणों के कामकाज को लेकर गहरी चिंता व्यक्त की। उन्होंने उन मीडिया रिपोर्टों का हवाला दिया कि जिसमें आरोप लगाया गया है कि असम सरकार ‘‘सदस्यों पर बड़ी संख्या में लोगों को अनियमित विदेशी घोषित करने के लिए कथित रूप से दबाव बना रही थी।’’ असम में बहुप्रतीक्षित राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) की अंतिम सूची शनिवार को जारी कर दी गई जिसमें 19 लाख से अधिक आवेदक अपना स्थान बनाने में विफल रहे है। जिन लोगों का नाम राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) से बाहर रखा गया है, वे इसके खिलाफ 120 दिन के भीतर विदेशी न्यायाधिकरण में अपील दर्ज करा सकते हैं । असम सरकार पहले ही कह चुकी है जिन लोगों को एनआरसी सूची में शामिल नहीं किया गया उन्हें किसी भी स्थिति में हिरासत में नहीं लिया जाएगा, जब तक विदेशी न्यायाधिकरण (एफटी) उन्हें विदेशी ना घोषित कर दे। 

31 Aug, 19 05:02 PM

असम सरकार ने कहा कि वह एनआरसी से छूट गये वास्तविक नागरिकों की विदेशी न्यायाधिकरण में अपील दाखिल करने में मदद करेगी।

31 Aug, 19 05:02 PM

एनआरसी के माध्यम से लोगों को गुमराह करने का प्रयास कर रही है भाजपा: पूर्व मुख्यमंत्री तरुण गोगोई

31 Aug, 19 04:45 PM

सत्तारूढ़ भाजपा स्वतंत्र एवं निष्पक्ष एनआरसी सुनिश्चित करने में विफल रही है: पूर्व मुख्यमंत्री तरुण गोगोई

31 Aug, 19 04:13 PM

मूल याचिककर्ता ने ‘दोषपूर्ण’ एनआरसी पर नाराजगी जताई, प्रयोग किए गए सॉफ्टवेयर पर सवाल उठाए

उच्चतम न्यायालय में मूल याचिका दायर करने वाले असम पब्लिक वर्क्स (एपीडब्ल्यू) ने कहा कि एनआरसी ‘दोषपूर्ण दस्तावेज’ साबित होगा क्योंकि इसे पुन:सत्यापित करने की उसकी मांग शीर्ष अदालत ने खारिज कर दी। एपीडब्ल्यू की याचिका पर ही छह साल पहले राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) को अद्यतन करने की प्रक्रिया शुरू हुई थी। गैर सरकारी संगठन (एनजीओ) एपीडब्ल्यू के अध्यक्ष अभिजीत शर्मा ने एनआरसी अद्यतन करने की प्रक्रिया में इस्तेमाल सॉफ्टवेयर की दस्तावेजों के प्रबंधन की क्षमता पर भी सवाल उठाए और पूछा कि क्या इसका तीसरे पक्ष के प्रौद्योगिकी विशेषज्ञ से निरीक्षण कराया गया था? शर्मा ने शनिवार को अंतिम एनआरसी जारी होने के बाद पत्रकारों से कहा, ‘‘अंतिम एनआरसी से तय हो गया है कि असम में अवैध प्रवासियों के मुद्दे का कभी हल नहीं होगा। इसे दोषपूर्ण तरीके से पूरा किया गया जबकि यह असम के इतिहास का सुनहरा अध्याय होता।’’ अंतिम एनआरसी से 19 लाख आवेदक बाहर हैं। उन्होंने कहा, एपीडब्ल्यू ने प्राथमिक याचिककर्ता के तौर पर एनआरसी मसौदे के सत्यापन के लिए उच्चतम न्यायालय में पांच ज्ञापन दिए जो खारिज हो गए। एनआरसी के राज्य समन्वयक प्रतीक हजेला की ओर से 27 प्रतिशत नामों का पुन:सत्यापन रहस्य है। कोई नहीं जानता कि क्या यह शत प्रतिशत दोषरहित है या नहीं। शर्मा ने प्रक्रिया के लिए इस्तेमाल सॉफ्टवेयर पर सवाल उठाते हुए कहा, ‘‘ क्या यह खामी वाले सॉफ्टवेयर की वजह से है क्योंकि मोरीगांव जिले में 39 संदिग्ध परिवारों के नाम भी एनआरसी में शामिल हो गए जिनका जिक्र जिला आयुक्त ने किया है?’’ गौरतलब है कि 2009 में एपीडब्ल्यू ने उच्चतम न्यायालय में याचिका दायर कर 41 लाख विदेशियों के नाम मतदाता सूची से हटाने और एनआरसी को अद्यतन करने की मांग की थी। 

31 Aug, 19 03:39 PM

अंतिम एनआरसी से खुश नहीं, उच्चतम न्यायालय में समीक्षा की गुंजाइश है: एजीपी

31 Aug, 19 02:52 PM

बीजेपी को सीखना चाहिए सबक: असदुद्दीन ओवैसी

एनआरसी लिस्ट जारी होने के बाद एआईएमआईएम के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने शनिवार को कहा कि बीजेपी को सबक सीखना चाहिए। उन्होंने कहा 'उन्हें हिंदुओं और मुसलमानों के संदर्भ में पूरे देश में एनआरसी के लिए पूछना बंद कर देना चाहिए। असम में जो हुआ है उससे उन्हें सीखना चाहिए। अवैध प्रवासियों के तथाकथित मिथक का भंडाफोड़ हुआ है।'

ओवैसी ने आगे कहा 'असम में कई लोगों ने मुझे बताया है कि माता-पिता के नाम शामिल हैं, लेकिन उनके बच्चों के नाम शामिल नहीं हैं। उदाहरण के लिए मोहम्मद सनाउल्लाह ने सेना में काम किया। उनका मामला हाई कोर्ट में लंबित है। मुझे उम्मीद है कि उन्हें न्याय मिलेगा।

31 Aug, 19 02:24 PM

एनआरसी लिस्ट से बीजेपी खुश नहीं

 बीजेपी नेता और असम सरकार में वित्त मंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने कहा कि और लोगों को बाहर किया जाना चाहिए था। बीजेपी नेता ने कहा कि 1971 से पहले बांग्लादेश से भारत आए कई शरणार्थियों को एनआरसी सूची से बाहर निकाला गया। उन्होंने कहा जैसा कि कई लोगों ने आरोप लगाया है, विरासत संबंधी आंकड़ों से छेड़छाड़ की गई। सुप्रीम कोर्ट को सीमावर्ती जिलों में कम से कम 20 प्रतिशत और शेष असम में 10 प्रतिशत के पुन: सत्यापन की अनुमति देनी चाहिए।

31 Aug, 19 11:00 AM

एनआरसी पर थोड़ी देर में कांग्रेस की बैठक

31 Aug, 19 10:45 AM

एनआरसी पर सरकारी बयान की बड़ी बातें

- असम में राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) के लिए आवेदन पत्र मई 2015 से 31 अगस्त 2015 तक मांगे गए थे। कुल 3,30,27,661 लोगों ने आवेदन किए। संलग्न दस्तावेजों के आधार पर स्क्रूटनी शुरू हुई।

- एनआरसी अपडेट एक बड़ा का काम था जिसमें राज्य सरकार के करीब 52 हजार कर्मचारी लंबे समय तक जुटे रहे।

- एनआरसी की आखिरी सूची में कुल 3,11,21,004 लोग शामिल किए गए हैं। जबकि 19,06,657 लोग एनआरसी से बाहर कर दिए गए हैं। बाहर किए गए लोगों में वो भी शामिल हैं जिन्होंने क्लेम नहीं किया था।

- शनिवार (31 अगस्त) की सुबह 10 बजे से एनआरसी सेवा केंद्र, डीसीपी ऑफिस और सर्किल ऑफिसर के कार्यालय में सूची देखी जा सकती है। इसके अलावा शामिल और बाहर किए गए लोगों के नाम एनआरसी की वेबसाइट (www.nrcassam.nic.in) पर भी देखा जा सकता है।

31 Aug, 19 10:28 AM

19 लाख से भी ज्यादा लोग बाहर

सरकारी बयान के मुताबिक एनआरसी की फाइनल लिस्ट में कुल 3,11,21,004 लोग शामिल किए गए हैं। रिपोर्ट्स के मुताबिक 19 लाख से भी ज्यादा लोगों को इस लिस्ट में शामिल नहीं किया गया है। 

31 Aug, 19 10:19 AM

असम में एनआरसी की अंतिम सूची जारी

असम में NRC की अंतिम सूची आज सुबह 10 बजे जारी कर दी गई। इसे www.nrcassam.nic.in पर क्लिक करके देख सकते हैं। इसके अलावा एनआरसी सेवा केंद्र पर भी सूची में नाम की जांच की जा सकती है।

31 Aug, 19 09:44 AM

नहीं बनवा सकेंगे आधार

एनआरसी अधिकारियों ने 30 जुलाई 2018 को प्रकाशित मसौदा एनआरसी में जगह नहीं बना पाए ऐसे 36 लाख लोगों का बायोमीट्रिक डाटा लिया है जिन्होंने भारतीय नागरिकता का दावा किया था। इस बायोमीट्रिक डाटा की वजह से आधार कार्ड बनाना संभव हो सकेगा। राष्ट्रीय नागरिकता पंजी (एनआरसी) में अंतिम रूप से अपना नाम नहीं जुड़वा पाने वाले लोग अगर कानूनी प्रक्रिया के पालन के बाद भी अपनी भारतीय नागरिकता सिद्ध नहीं कर पाते हैं तो वे देश में कहीं से भी अपना आधार कार्ड नहीं बनवा सकेंगे क्योंकि उनके बायोमीट्रिक्स के आगे निशान बना होगा।

31 Aug, 19 09:44 AM

सरकार ने कहा घबराएं नहीं

असम के मुख्यमंत्री सर्बानंद सोनोवाल ने शुक्रवार को कहा कि शनिवार को प्रकाशित होने जा रही अंतिम राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) से जो लोग छूट गये हैं उनकी चिंताओं पर राज्य सरकार ध्यान देगी और सुनिश्चित करेगी कि किसी का ‘अनावश्यक उत्पीड़न’ नहीं हो। 

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