Covid-19: लॉकडाउन खुलने के बाद भी एयरपोर्ट पर रहेगी सतर्कता, सोशल डिस्टेंसिंग से लेकर जांच, अगले 3 से 6 महीने तक रह सकते हैं जारी
By संतोष ठाकुर | Published: April 22, 2020 07:05 AM2020-04-22T07:05:55+5:302020-04-22T07:05:55+5:30
भारत में कोरोना वायरस से संक्रमितों की संख्या 18985 हो गई है। कोरोना से अब तक 603 लोगों की मौत हुई है।
नई दिल्ली: लॉकडाउन के बाद विदेश से आने वाले हर व्यक्ति की कोरोना जांच और संदिग्धों को एयरपोर्ट से ही क्वारंटाइन सेंटर भेजने के लिए केंद्र सरकार विशेष तैयारी कर रही है. हालांकि सरकार ने यह तय नहीं किया है कि अंतर्राष्ट्रीय उड़ानों को कब से खोलना है, लेकिन उसके बाद की स्थिति को लेकर तैयारी अभी से शुरू की जा रही है. नागर विमानन मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय उड़ान को लेकर अभी फैसला नहीं हुआ है. लेकिन इसके शुरू होने के बाद सभी आने वाले यात्रियों को लेकर विशेष सतर्कता बरती जाएगी. हम एयरपोर्ट पर अभी से अपनी तैयारी चाक-चौबंद रखेंगे.
हवाई क्षेत्र खुल जाने के बाद भी सावधानी बरतने की जरूरत अगले 3 से 6 महीने तक बनी रहेगी
केंद्र सरकार ने 3 मई तक सभी घरेलू और अंतर्राष्ट्रीय उड़ानों पर प्रतिबंध लगा रखा है. फिलहाल यह तय नहीं किया गया है कि उड़ान सेवाएं कब से बहाल होंगी. इसके बावजूद सरकार का मानना है कि हवाई क्षेत्र खुल जाने के बाद भी सावधानी बरतने की जरूरत अगले 3 से 6 महीने तक बनी रहेगी. इसकी वजह यह है कि बड़े स्तर पर विदेशों में फंसे भारतीय वापस स्वदेश आएंगे. इसके अलावा कुछ एनआरआई और प्रवासी भारतीय भी भारत आ सकते हैं. क्योंकि दुनिया के मुकाबले भारत में कोरोना का प्रकोप कम है.
विदेश से आने वाले विमानों में सोशल डिस्टेंसिंग का सख्ती से होगा पालन
वहीं, कई विदेशी कंपनियों के प्रतिनिधियों ने भी भारत में आने की इच्छा जाहिर की है. ऐसे में ऐहतियाती कदम उठाना जरूरी है. एक अधिकारी ने कहा कि एयरपोर्ट के नजदीक क्वारंटाइन सेंटर बनाए गए थे. हम अगले 3 से 6 महीने तक उनकी संचालन अविध बढ़ाने को लेकर कार्य कर रहे हैं. सभी संबंधित विभागों से इसको लेकर चर्चा की जा रही है. इसके साथ ही सभी हवाईअड्डों पर सघन जांच की व्यवस्था भी रहेगी.
विदेश से आने वाले विमानों में सोशल डिस्टेंसिंग को लेकर भी कड़े मानक अपनाए जाएंगे. इस अधिकारी ने कहा कि हमारी जानकारी में यह आया है कि कुछ कंपनियां चार्टर्ड विमान सेवा 26 अप्रैल से उपलब्ध कराने का वादा कर रही हैं. यहां यह स्पष्टता जरूरी है कि फिलहाल तक भारत सरकार ने किसी भी कंपनी को इसकी अनुमति नहीं दी है.