अनुच्छेद 370 खत्म करना वैध, जम्मू-कश्मीर भारत का अभिन्न अंग : सुप्रीम कोर्ट

By अंजली चौहान | Published: December 11, 2023 12:08 PM2023-12-11T12:08:24+5:302023-12-11T12:11:09+5:30

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि जम्मू-कश्मीर भारत का अभिन्न हिस्सा है और यहां पर 370 हटाने का सरकार का फैसला वैध है।

Abolition of Article 370 in Jammu and Kashmir is legal elections should be held in the state by 2024 Supreme Court | अनुच्छेद 370 खत्म करना वैध, जम्मू-कश्मीर भारत का अभिन्न अंग : सुप्रीम कोर्ट

अनुच्छेद 370 खत्म करना वैध, जम्मू-कश्मीर भारत का अभिन्न अंग : सुप्रीम कोर्ट

नई दिल्ली: जम्मू-कश्मीर में लगाए गए अनुच्छेद 370 को लेकर सुप्रीम कोर्ट में आज सुनवाई के दौरान जजों ने अपनी-अपनी राय रखी। पांच जजों की पीठ ने अपना फैसला सुनाते हुए कहा कि जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा खत्म करने का राष्ट्रपति का 2019 का आदेश वैध था।

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के बाद जम्मू-कश्मीर को दो केंद्र शासित प्रदेशों जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में पुनर्गठित किए जाने के चार साल से अधिक समय बाद, सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि राष्ट्रपति की शक्ति का प्रयोग दुर्भावनापूर्ण नहीं था।

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पांच न्यायाधीशों की संविधान पीठ ने अनुच्छेद 370 को निरस्त करने को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सर्वसम्मति से फैसला सुनाया।

जम्मू-कश्मीर में हो चुनाव 

कोर्ट ने सोमवार को सुनवाई करते हुए अपना फैसला सुनाया और कहा, " सितंबर 2024 तक जम्मू-कश्मीर में चुनाव कराए जाएं और जल्द से जल्द राज्य का दर्जा बहाल किया जाए।"

जम्मू-कश्मीर भारत का अभिन्न अंग

भारत के मुख्य न्यायाधीश ने कहा कि केंद्र के हर कदम को चुनौती नहीं दी जा सकती। उन्होंने कहा कि अदालत सरकारी आदेश की वैधता पर फैसला नहीं दे सकती और जम्मू-कश्मीर भारत का अभिन्न अंग है।

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि अनुच्छेद 370 एक अस्थायी प्रावधान है और एक अंतरिम प्रक्रिया के रूप में काम करेगा। सुप्रीम कोर्ट ने माना कि राज्य में युद्ध की स्थिति के कारण अनुच्छेद 370 एक अंतरिम व्यवस्था थी। सीजेआई ने फैसला पढ़ते हुए कहा, ''पाठ्य पढ़ने से यह भी संकेत मिलता है कि अनुच्छेद 370 एक अस्थायी प्रावधान है।''

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि जम्मू-कश्मीर पर आंतरिक संप्रभुता नहीं है। महाराजा हरि सिंह के समझौते में कहा गया कि भारतीय संविधान अंतिम है। जब जम्मू-कश्मीर भारत में शामिल हुआ तो उसके पास कोई संप्रभुता नहीं थी। 

सुप्रीम कोर्ट ने जम्मू-कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले अनुच्छेद 370 को हटाने की संवैधानिक वैधता पर अपना फैसला सुनाया।

मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति संजय किशन कौल, न्यायमूर्ति संजीव खन्ना, बीआर गवई और न्यायमूर्ति सूर्यकांत की पांच सदस्यीय संविधान पीठ ने फैसला सुनाया। इस पीठ को धारा 370 को रद्द करने के केंद्र के फैसले को चुनौती देने वाली याचिकाओं की एक श्रृंखला पर निर्णय लेने का काम सौंपा गया था।

सुप्रीम कोर्ट ने 2 अगस्त, 2023 से अनुच्छेद 370 को निरस्त करने को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई शुरू की और अदालत ने 5 सितंबर को मामले में अपना फैसला सुरक्षित रख लिया।

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