वकीलों को टीका लगने तक न्यायिक परीक्षा टालने की मांग करने वाली याचिका दूसरी पीठ के पास भेजी गई
By भाषा | Published: March 9, 2021 04:00 PM2021-03-09T16:00:05+5:302021-03-09T16:00:05+5:30
नयी दिल्ली, नौ मार्च दिल्ली उच्च न्यायालय ने 13-14 मार्च को प्रस्तावित दिल्ली उच्चतर न्यायिक सेवा मुख्य परीक्षा-2019 टालने के अनुरोध वाली याचिका मंगलवार को मुख्य न्यायाधीश की अध्यक्षता वाली पीठ के पास भेज दी।
वकीलों का कोविड-19 टीकाकरण पूरा होने तक यह परीक्षा टालने का अनुरोध इस याचिका के जरिए की गई है।
न्यायमूर्ति मनमोहन और न्यायमूर्ति आशा मेनन ने कहा कि याचिका को मुख्य न्यायाधीश की अध्यक्षता वाली पीठ के समक्ष सूचीबद्ध करने दीजिए क्योंकि यह जनहित याचिका का विषय है।
अदालत ने कहा, ‘‘रोस्टर के मुताबिक पीआईएल को मुख्य न्यायाधीश की अध्यक्षता वाली पीठ के समक्ष सूचीबद्ध किया जाता है। इसे 12 मार्च को खंडपीठ-I के समक्ष सूचीबद्ध करने दीजिए।’’
इस परीक्षा में शामिल होने जा रहे एक उम्मीदवार की याचिका पर अदालत सुनवाई कर रही थी।
याचिकाकर्ता का प्रतिनिधित्व कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता पी पी मल्होत्रा ने कहा कि सभी उम्मीदवार 32 से 47 वर्ष आयु समूह के हैं और रक्तचाप (बीपी) तथा मधुमेह (डायबिटिज) की समस्याओं से ग्रस्त हैं। इसलिए वकीलों का टीकाकरण हो जाने दीजिए और फिर एक महीने बाद परीक्षा आयोजित की जा सकती है।
याचिका में कहा गया है कि दिल्ली सहित कई राज्यों में कोविड-19 के मामले फिर से तेजी से सामने आने के मद्दनेजर मार्च महीने में मुख्य परीक्षा का आयोजन उम्मीदवारों को खतरे में डाल सकता है।
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