यूपी पुलिस भर्ती परीक्षा में शामिल सॉल्वर गिरोह का भंडाफोड़, 2 कांस्टेबल समेत 20 अन्य गिरफ्तार
By आकाश चौरसिया | Published: February 19, 2024 03:10 PM2024-02-19T15:10:50+5:302024-02-19T15:14:59+5:30
पकड़े गए दोनों यूपी पुलिस के सिपाही शिकोहाबाद में रहने वाले हैं, सिपाही निरंजन ने 3-4 कैंडिडेट के एग्जाम दिए थे और सिपाही ने सभी से 3 लाख रुपए लिए। सिपाही अनुज सुमित नाम के व्यक्ति के लिए परीक्षा देने जा रहा था, उसे पुलिस ने पकड़ लिया।
लखनऊ: उत्तर प्रदेश पुलिस ने सिपाही भर्ती के अंतर्गत दो सिपाही और 20 सदस्यीय सॉल्वर गैंग को पकड़ा है। यूपी पुलिस से जुड़ी सिपाही भर्ती परीक्षा को लेकर पुलिस की ओर से ये बड़ी कामयाबी हाथ लगी है। यह सिपाही भर्ती परीक्षा 17 और 18 फरवरी, 2024 को राज्य के सभी जिलों के 2,385 परीक्षा केंद्रों पर आयोजित हुई थी।
दूसरी तरफ अपर पुलिस अधीक्षक कुमार रणविजय सिंह ने इस धरपकड़ पर कहा कि अभी तक 19-20 लोगों को पकड़ा जा चुका है। इसमें से कुछ लोग बिहार के हैं, जो पेपर सॉल्व करने वाले सॉल्वर को सामने लेकर आए। पकड़े गए आरोपियों में से एक दीपू यादव है, जो बिहार के पटना का रहना वाला है। वह कंडक्टर का काम करता था और यूपी के शिकोहाबाद गैंग से भी उसके गठजोड़ की बात सामने आई है। इसके अलावा अपर पुलिस अधीक्षक (ग्रामीण) कुमार रण विजय सिंह ने कहा कि शिकोहाबाद से 5 लोग और इनमें से 2 लोग यूपी पुलिस से जुड़े हैं।
पकड़े गए दोनों यूपी पुलिस के सिपाही शिकोहाबाद में रहने वाले हैं, सिपाही निरंजन ने 3-4 कैंडिडेट के एग्जाम दिए थे और सिपाही ने सभी से 3 लाख रुपए लिए। सिपाही अनुज सुमित नाम के व्यक्ति के लिए परीक्षा देने जा रहा था, उसे पुलिस ने पकड़ लिया। इसके साथ ही उन्होंने बताया कि हमारे पास सभी साक्ष्य है और आरोपियों के खिलाफ कानूनी रूप से कार्रवाई की जाएगी। पकड़े गए सभी आरोपियों को जेल भेजा जाएगा। इस बात की जानकारी अपर पुलिस अधीक्षक (ग्रामीण) कुमार रण विजय सिंह ने दी है।
इससे पहले 23 दिसंबर को योगी आदित्यनाथ सरकार ने 'मिशन रोजगार' के तहत राज्य के इतिहास की सबसे बड़ी पुलिस भर्ती के लिए अधिसूचना जारी की थी। उत्तर प्रदेश पुलिस में कांस्टेबल के 60,000 से अधिक रिक्त पदों पर भर्ती का राज्य के युवा लंबे समय से इंतजार कर रहे हैं। इस एग्जाम के लिए सभी जिलों में करीब 2,385 परीक्षा केंद्र बनाए गए थे, जहां कुल 48 लाख बच्चों ने परीक्षा दी।
उत्तर प्रदेश सरकार ने यूपी कांस्टेबल सिविल पुलिस सीधी भर्ती परीक्षा आयोजित करने के लिए कड़े सुरक्षा उपाय लागू किए थे। प्रत्येक परीक्षा केंद्र पर मजिस्ट्रेट तैनात किए गए थे और प्रत्येक केंद्र पर अभ्यर्थियों की संख्या के आधार पर केंद्र पर्यवेक्षक के रूप में पुलिस उपाधीक्षक से लेकर सब इंस्पेक्टर तक के पुलिस अधिकारी थे।