लखनऊ, 6 अगस्त:उत्तर प्रदेश के देवरिया शेल्टर होम केस मामले में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने फौरन एक्शन लेते हुए डीएम सुजीत कुमार को हटाने का आदेश दिया है साथ ही दो अन्य अफसर को भी सस्पेंड किया गया है। रविवार 6 अगस्त को यूपी पुलिस संरक्षण गृह पर छापा मारकर 24 लड़कियों को वहां से मुक्त करवाया था। छापा मारा गया तो 42 में से 18 लड़कियां गायब मिलीं थी। मिली जानकारी के अनुसार बताया जा रहा है कि इस शेल्टर होम में देह व्यापार का धंधा पिछले एक सालों से चल रहा था।
यूपी महिला एवं बाल कल्याण मंत्री रीता बहुगुणा जोशी ने प्रेस कॉन्फेंस कर बताया कि मुख्यमंत्री ने देवरिया के डीएम सुजीत कुमार को हटाने का आदेश दिया है। रिपोर्ट आने के बाद उनके खिलाफ आगे की कार्रवाई की जाएगी।
रीता बहुगुणा जोशी ने कहा, मुख्यमंत्री योगी ने जांच के लिए देवरिया में दो सदस्यीय उच्चस्तरीय समिति भेजी है। वे आज वहां रहेंगे और एक रिपोर्ट जमा करेंगे, जिसके बाद कौन सी कार्रवाई की जाएगी। इसका फैसला किया जाएगा। उन्होंने बोला कि योगी सरकार इस घटना को लेकर काफी गंभीर है।
बता दें कि रविवार 6 अगस्त को यूपी पुलिस को जब इस संरक्षण गृह से भाग कर आई एक लड़की ने जो बताया, उसे सुन पुलिस भी हैरान थे। पुलिस ने रात में ही संरक्षण गृह पर छापा मारा तो 42 में से 18 लड़कियां गायब मिलीं। पुलिस ने 24 लड़कियों को वहां से आजाद करवा दिया है। मामले में कार्रवाई करते हुए संरक्षण गृह की संचालिका गिरिजा त्रिपाठी और उनके पति मोहन को गिरफ्तार कर लिया गया है।
पुलिस अधीक्षक रोहन पी कनय के मुताबिक, मां विंध्यवासिनी महिला एवं बालिका संरक्षण गृह नाम के एनजीओ की सूची में 42 लड़कियों के नाम दर्ज हैं। लेकिन पुलिस ने जब रविवार रात को छापा मारा तो 18 लड़कियां वहां से गायब मिली थी। उस वक्त संरक्षण गृह में सिर्फ 26 लड़कियां ही थी।
पुलिस के मुताबिक संरक्षण गृह के खिलाफ काफी दिनों से शिकायत आ रही थी। जिसको ध्यान में रखते हुए इसकी मान्यता जून-2017 में समाप्त कर दी गई थी। सीबीआई ने भी संरक्षण गृह को अनियमितताओं में चिह्नित कर रखा है। संचालिका हाईकोर्ट से स्थगनादेश लेकर इसे चला रही है।
देवरिया एसपी के मुताबिक बिहार के बेतिया जिले की दस साल की बच्ची वहां से भागकर किसी तरह थाने आई। वहां बच्ची ने संरक्षण गृह की अनियमितताओं के बारे में बताया। बच्ची के मुताबिक, वहां शाम चार बजे के बाद रोजाना कई लोग काले और सफेद रंग की कारों से आते थे और मैडम के साथ लड़कियों को लेकर जाते थे, वे देर रात रोते हुए लौटती थीं। संरक्षण गृह की संचालिका गिरिजा त्रिपाठी और उनके पति मोहन से पुलिस लगातार पूछताछ कर रही है। मामले में मानव तस्करी, देह व्यापार व बाल श्रम से जुड़ी धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है।
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