एनआईए ने आईपीएस अधिकारी को किया गिरफ्तार, दे रहा था लश्कर-ए-तयैबा को खुफिया जानकारी, जानिए पूरा मामला
By आशीष कुमार पाण्डेय | Published: February 18, 2022 10:14 PM2022-02-18T22:14:11+5:302022-02-18T22:21:41+5:30
भारतीय पुलिस सेवा के अधिकारी अरविंद दिग्विजय नेगी हिमाचल प्रदेश कैडर के अधिकारी हैं। अरविंद दिग्विजय नेगी डेपुटेशन पर एनआईए में भी तैनात रहे हैं और कई आतंकी जांच में बतौर इन्वेस्टिगेटर शामिल रहे हैं।
शिमला: राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने भारतीय पुलिस सेवा के अधिकारी अरविंद दिग्विजय नेगी को पाकिस्तानी आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा को गोपनीय सूचनाएं मुहैया कराने के आरोप में गिरफ्तार किया है।
हिमाचल प्रदेश कैडर के आईपीएस अधिकारी अरविंद दिग्विजय नेगी इस समय एसडीआरएफ में पुलिस अधीक्षक के पद पर तैनात थे। एनआईए ने नेगी के अलावा 5 अन्य लोगों को भी इस मामले में गिरफ्तार किया है।
जानकारी के मुताबिक आईपीएस अधिकारी अरविंद नेगी को हिमाचल प्रदेश सरकार ने एसडीआरएफ जुन्गा में बतौर कमांडेंट नियुक्ती दी थी।
एनआईए ने इस गिरफ्तारी से पहले नवंबर 2021 में अरविंद नेगी के किन्नौर और सिरमौर स्थित ठिकानों पर छापेमारी भी की थी। जिसमें एजेंसी को पता चला कि वो लश्कर-ए-तयैबा को गोपनीय जानकारी दे रहे थे। इस संबंध में एनआईए ने आईपीएस अरविंद के ठिकानों से महत्वपूर्ण गोपनीय दस्तावेज भी बरामद किये।
इस मामले में एनआईए की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक नेगी कथित तौर पर लश्कर को देश की सुरक्षा के संबंध में अनेक सूचनाएं पहुंचाते थे। अरविंद नेगी के बारे में अब तक जो जानकारी मिल पा रही है उसके मुताबिक हिमाचल प्रदेश कैडर के आईपीएस अधिकारी अरविंद दिग्विजय नेगी डेपुटेशन पर एनआईए में भी तैनात रहे हैं और कई आतंकी जांच में बतौर इन्वेस्टिगेटर शामिल रहे हैं।
इस मामले में एनआईए के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि आईपीएस अरविंद दिग्विजय नेगी पर एनआईए ने 6 नवंबर 2021 को लश्कर-ए-तैयबा को मदद करने के आरोप में केस दर्ज किया था।
आईपीएस अरविंद नेगी ओवर ग्राउंड वर्कर के तौर पर लश्कर को कई खुफिया सूचना मुहैया कराते थे। जिसके आधार पर आतंकवादी कई बार अपने नापाक इरादों में कामयाब भी हो जाते थे।