Mohammed Shami: इंजेक्शन के जरिए घुटने से फ्लूइड निकाला जाता था, मोहम्मद शामी का करियर लगभग खत्म हो गया था, फिर भी अमरोहा एक्सप्रेस ने की वापसी, जानिए पूरी कहानी

शामी आज बुलंदियों पर हैं लेकिन एक समय ऐसा भी आया जब उनका करियर लगभग खत्म हो गया था। साल 2025 की बात है। 2015 विश्व कप के हर मैच से पहले, इंजेक्शन के जरिए उनके घुटने से फ़्लूइड निकाला जाता था।

By शिवेन्द्र कुमार राय | Updated: November 18, 2023 14:47 IST

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ठळक मुद्दे मैच के बाद शामी साथी खिलाडियों की मदद से होटल रूम तक जाते थेचोट ऐसी कि लगभग 18 महीने तक उन्हें क्रिकेट से दूर रहना पड़ाचोट से वापस आकर फिर से अपना लोहा मनवाया

World Cup 2023 final: 5 अक्टूबर 2023 को शुरू हुए क्रिकेट के महाकुंभ कहे जाने वाले वनडे विश्वकप का सफर 19 नवंबर को थम जाएगा। अहमदाबाद के नरेंद्र मोदी स्टेडियम में विश्वकप 2023 का खिताबी मुकाबला खेला जाना है। भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच होने वाले इस महामुकाबले से तय होगा कि अगले 4 साल तक दुनिया किसे चैंपियन के रूप में याद रखेगी। 

इस विश्वकप में भारतीय टीम ने गजब का प्रदर्शन किया है। टीम इंडिया एक भी मैच नहीं हारी। भारतीय टीम की जीत में सबका योगदान रहा है। एक भी खिलाड़ी ऐसा नहीं है जिसके बारे में कहा जाए कि उसका प्रदर्शन उन्नीस रहा है। लेकिन एक खिलाड़ी है जिसका नाम सबकी जबान है। ये नाम है अमरोहा एक्सप्रेस मोहम्मद शामी का। शामी शुरुआती मुकाबलों में नहीं खेले, कारण बताया गया टीम संयोजन की मजबूरी। लेकिन एक दुर्घटना ने शमी को टीम में जगह दिलाई। हार्दिक चोटिल हुए, शामी टीम में आए, शामी आए और छा गए। शामी को धर्मशाला में न्यूजीलैंड के खिलाफ पहला मैच खेलने को मिला। शामी ने इस मैच में 5 विकेट निकाले। इसके बाद तो अमरोहा एक्सप्रेस रूकी ही नहीं। 

शामी आज बुलंदियों पर हैं लेकिन एक समय ऐसा भी आया जब उनका करियर लगभग खत्म हो गया था। साल 2025 की बात है। 2015 विश्व कप के हर मैच से पहले, इंजेक्शन के जरिए उनके घुटने से फ़्लूइड निकाला जाता था। मैच के बाद शामी साथी खिलाडियों की मदद से होटल रूम तक जाते थे। चोट ऐसी कि लगभग 18 महीने तक उन्हें क्रिकेट से दूर रहना पड़ा। भारत जैसे देश में जहां एक से बढ़कर एक प्रतिभाएं हों वहां चोट से वापस आकर फिर से अपना लोहा मनवाना आसान काम नहीं है। लेकिन शामी ने कर दिखाया। साल 2016 में कोलकाता टेस्ट में शामी ने इंग्लैंड के खिलाफ 6 विकेट लिए और भारत को मुकाबला जिताया। 

लेकिन इस मैच के दौरान उनकी 14 महीने की बेटी आईसीयू में जिंदगी और मौत का मैच खेल रही थी। शमी इस दौरान निजी जीवन की चुनौतियों से भी जूझे। शामी पर उनकी पत्नी ने कई आरोप लगाए। रिश्ता टूट गया। शामी लगभग बिखर गए थे लेकिन अमरोहा के तौसीफ अली के बेटे ने खुद को समेटा। वापसी की और आज उसका नाम राष्ट्रीय फलक पर गूंज रहा है। वह इस विश्वकप में अभी तक 6 पारियों में 23 विकेट ले चुके है। फाइनल के दिन शामी एक रिकॉर्ड भी अपने नाम कर सकते हैं। मिशेल स्टार्क के नाम  विश्वकप के एकल संस्करण में सर्वाधिक विकेट लेने का रिकॉर्ड है। स्टार्क ने 2019 के विश्व कप में 27 विकेट लिए थे। शामी जिस फार्म में हैं उनके लिए 4 विकेट लेना मुश्किल नहीं होगा। 

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