वाहनों में विनिर्माण की गड़बडी की शिकायत ज्यादा मिलीं तो विनिर्माता पर एक करोड़ रुपये तक जुर्माना
By भाषा | Updated: March 17, 2021 23:44 IST2021-03-17T23:44:39+5:302021-03-17T23:44:39+5:30

वाहनों में विनिर्माण की गड़बडी की शिकायत ज्यादा मिलीं तो विनिर्माता पर एक करोड़ रुपये तक जुर्माना
नयी दिल्ली, 17 मार्च सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने बुधवार को कहा कि विनिर्माण में खामी को लेकर अगर सरकार की तरफ से अनिर्वाय रूप से वाहनों को वापस मंगाये जाने का आदेश दिया जाता है तो कंपनियों को एक करोड़ रुपये तक का जुर्माना देना होगा। यह व्यवस्था एक अप्रैल, 2021 से लागू होगी।
मंत्रालय ने विनिर्माताओं द्वारा वाहनों में गड़बडी को लेकर अनिवार्य रूप से उसे वापस मंगाये जाने के लिये नियम जारी किया है।
मंत्रालय ने कहा, ‘‘यह अधिसूचित किया गया है कि जहां किसी विशेष श्रेणी के वाहन के मामले में वाहन वापस मंगाये जाने के पोर्टल पर कुल बिक्री के समक्ष एक न्यूनतम संख्या से ज्यादा शिकायतें आती हैं तो विनिर्माता पर उन वाहनों को ठीक करने के लिए अनिवार्य रूप से वापस मंगवाने का नियम लागू होगा।’’
अधिसूचना के अनुसार वाहनों की संख्या और उनके प्रकार के आधार पर जुर्माना 10 लाख रुपये से लेकर एक करोड़ रुपये होगा।
केंद्रीय मोटर वाहन कानून के तहत वाहनों के परीक्षण और अनिवार्य रूप से वापस मंगाये जाने के नियम में जुर्माने का प्रावधान है। यह जुर्माना तब लगता है जब विनिर्माता या आयातक स्वेच्छा से वाहन मंगाने में विफल रहते हैं।
फिलहाल इसको लेकर कोई जुर्माना नहीं लग रहा था।
नया नियम उन वाहनों पर लागू होगा जो सात साल से कम पुराने है। इसमें वाहन या कल-पुर्जे अथवा सॉफ्टवेयर में उस गड़बड़ी को खामी मानी जाएगी, जिससे सड़क सुरक्षा को लेकर जोखिम है।
अनिवार्य रूप से छह लाख दो पहिया वाहन या एक लाख चार-पहिया वाहनों को वापस मंगाने पर अधिकतम एक करोड़ रुपये का जुर्माना लगेगा।
अगर वाहन में नौ लोगों के बैठने की व्यवस्था है और भारी सामान की ढुलाई का वाहन है, तो ऐसे मामलों में 50,000 से अधिक वाहनों को अनिवार्य रूप से वापस मंगाने के आदेश की स्थिति में एक करोड़ रुपये का जुर्माना लगेगा।
अधिसूचना के अनुसार कार और एसयूवी (स्पोट्र्स यूटिलिटी व्हीकल) के मामले में एक लाख से अधिक खामी वाले वाहनों की बिक्री की जाती है तो एक करोड़ रुपये का जुर्माना लगेगा। तिपहिया वाहनों के मामलों में ऐसे तीन लाख वाहनों की बिक्री पर एक करोड़ रुपये का जुर्माना लगेगा।
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