नयी दिल्ली, 17 दिसंबर अगले वित्त वर्ष के बजट को लेकर जारी तैयारियों के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को प्रमुख निजी इक्विटी एवं उद्यम पूंजी कंपनियों के शीर्ष प्रतिनिधियों के साथ बैठक की।
आधिकारिक विज्ञप्ति के मुताबिक, इस बैठक में भारत को एक आकर्षक निवेश स्थल बनाने के बारे में सुझाव मांगे गए। अधिक पूंजी आकर्षित करने से जुड़े कदमों के अलावा भारत में कारोबार को अधिक सुगम बनाने से जुड़े उपायों पर भी चर्चा की गई।
इसके अलावा सुधारों की प्रक्रिया तेज करने के बारे में भी इस बैठक में विचार-विमर्श हुआ।
विज्ञप्ति के मुताबिक, प्रधानमंत्री ने इस बैठक में निवेशकों से मिले व्यावहारिक सुझावों की प्रशंसा करते हुए कहा कि सरकार इन मुद्दों और चुनौतियों के समाधान के लिए काम करने को प्रतिबद्ध है।
इस बैठक में मोदी ने सुधारों की दिशा में अपनी सरकार के प्रयासों का भी जिक्र किया। पीएम गतिशक्ति जैसी योजनाओं की शुरुआत और गैरजरूरी अनुपालन बोझ को कम करने के लिए उठाए गए कदमों की भी चर्चा की गई।
प्रधानमंत्री ने इसके पहले नवंबर में भी 20 बड़ी परिसंपत्ति प्रबंधन फर्मों के प्रतिनिधियों से मुलाकात की थी।
निवेशकों के साथ हुई बैठक में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण भी मौजूद थीं। वह एक फरवरी 2022 को वित्त वर्ष 2022-23 का बजट पेश करेंगी। इसके लिए सरकार ने संबंधित उद्योगों एवं क्षेत्रों के प्रतिनिधियों के साथ विचार-विमर्श का सिलसिला शुरू कर दिया है।
मोदी सरकार ने वर्ष 2014 में सत्ता में आने के बाद से ही कई सुधारात्मक कदम उठाए हैं। सरकार भारत को विनिर्माण का केंद्र बनाने के लिए जरूरी कदम उठाने की कोशिश कर रही है जिससे देश की बड़ी आबादी को रोजगार मुहैया कराने में भी मदद मिलेगी।
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