सोनू सूद को कोरोना लॉकडाउन के समय प्रवासी मजदूरों और जरूरतमंदों की मदद करने वाले मसीहा का नाम दिया गया है। सोनू शुरू से ही इस पर ऐतराज कर रहे हैं और अब उन्होंने एक किताब लिखकर मानो इस बात को दोहराया है कि वह मसीहा नहीं हैं। सोनू ने अपने और प्रवासी मजदूरों के लॉकडाउन संघर्ष पर एक किताब लिखी है, जिसका टाइटल है- 'आई एम नो मसीहा।'
हाल ही में इसका विमोचन हुआ है। इस बीच अभिनेता अमित साध ने खुलासा किया कि वह आज जिस मुकाम पर हैं, वह सोनू की ही बदौलत हैं। सोनू ने ही उन्हें इंडस्ट्री में ब्रेक दिया था। अमित साध ने सोनू के एक वीडियो को री-ट्वीट करते हुए लिखा, ''लोग यह बात नहीं जानते कि मुझे पहला ब्रेक सोनू भाई ने दिया था। आज मैं जहां हूं, उनकी वजह से ही हूं। आज उनके भलाई के कामों की लोग चर्चा कर रहे हैं, लेकिन यह ऐसी चीज नहीं है, जिसकी अभी शुरुआत हुई है।
वह ऐसे नेक काम सालों से कर रहे हैं।'' अमित के इस ट्वीट पर सोनू सूद ने फिर अपने अंदाज में जवाब दिया। सोनू ने लिखा, ''भाई आप राज करने के लिए पैदा हुए हैं। आपने अपनी किस्मत खुद लिखी है। मैं भाग्यशाली हूं कि इस यात्रा में आपके साथ रहने का मौका मिला। आप पर गर्व है। जिंदगी में सफलताएं जारी रखिए।'' अमित ने फिर ट्वीट किया और प्रेरणा देने के लिए सोनू का शुक्रिया अदा किया।