वेदप्रताप वैदिक का ब्लॉग: ब्रिटेन में कानून के शासन की मिसाल
By वेद प्रताप वैदिक | Published: January 23, 2023 07:37 AM2023-01-23T07:37:46+5:302023-01-23T07:38:40+5:30
पट्टा तो वे बांधे हुए थे, क्योंकि कार में बैठे लोगों को पट्टा बांधना अनिवार्य है लेकिन हुआ यह कि कोई टीवी चैनल वाला पत्रकार उनसे भेंटवार्ता करने कार में आ बैठा.
प्रधानमंत्री पद से हटने के बाद दुनिया के कई प्रधानमंत्रियों को हमने जेल जाते हुए देखा है लेकिन कोई प्रधानमंत्री या राष्ट्रपति के पद पर विराजमान हो, उस पर उसकी पुलिस जुर्माना ठोंक दे, क्या आपने ऐसा किस्सा कभी सुना है? ब्रिटेन में अभी-अभी यही हुआ है. आजकल ब्रिटेन के प्रधानमंत्री भारतीय मूल के ऋषि सुनक हैं. उन्हें लंदन की पुलिस ने जुर्माना देने के लिए मजबूर कर दिया है.
उनका अपराध बस यही था कि अपनी कार में यात्रा करते हुए उन्होंने पट्टा (बेल्ट) नहीं बांध रखा था. पट्टा तो वे बांधे हुए थे, क्योंकि कार में बैठे लोगों को पट्टा बांधना अनिवार्य है लेकिन हुआ यह कि कोई टीवी चैनल वाला पत्रकार उनसे भेंटवार्ता करने कार में आ बैठा. उन्होंने अपना बेल्ट हटा दिया, क्योंकि टीवी के पर्दे पर वह अच्छा नहीं दिखता. पुलिस या किसी ने उन्हें नहीं देखा. फिर भी लोगों को कैसे पता चला कि उन्होंने कानून का उल्लंघन किया है? उनकी भेंटवार्ता जब टीवी पर दिखाई गई तो सबने देखा कि प्रधानमंत्री बिना बेल्ट के ही कार से यात्रा कर रहे हैं.
बस फिर क्या था, विरोधी नेताओं ने बयानों के गोले दागने शुरु कर दिए. लंदन की पुलिस ने तुरंत कार्रवाई कर दी. सुनक के पहले प्रधानमंत्री बोरिस जाॅनसन को भी दंडित किया गया था, क्योंकि उन्होंने कोविड नियमों का उल्लंघन करके अपने घर पर सामूहिक प्रीति-भोज का आयोजन किया था. कानून का पालन हर आदमी करे, चाहे वह राष्ट्रपति हो या प्रधानमंत्री, इसे ही ‘कानून का राज’ कहते हैं. ऋषि सुनक ने अपनी इस भूल पर जनता से माफी मांगी है. यह कानून के शासन की मिसाल है कि कोई भी कानून के ऊपर नहीं है.