पाकिस्तान: सुप्रीम कोर्ट से इमरान खान को बड़ा झटका, डिप्टी स्पीकर के फैसले को चीफ जस्टिस ने बताया गलत
By मनाली रस्तोगी | Published: April 7, 2022 05:28 PM2022-04-07T17:28:47+5:302022-04-07T17:30:57+5:30
इमरान खान के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव खारिज होने के बाद राष्ट्रपति आरिफ अल्वी द्वारा नेशनल असेंबली को भंग करने के बाद पाकिस्तान में उथल-पुथल मची हुई है। विपक्ष ने आदेश को चुनौती देते हुए शीर्ष अदालत का रुख किया और इसे असंवैधानिक बताया। इस बीच पाकिस्तान के सुप्रीम कोर्ट ने इमरान खान सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव के दौरान डिप्टी स्पीकर द्वारा दिए गए फैसले को गलत बताया है।
इस्लामाबाद: पाकिस्तान के सुप्रीम कोर्ट की ओर से प्रधानमंत्री इमरान खान को तगड़ा झटका लगा है। दरअसल, पाकिस्तान के सुप्रीम कोर्ट ने खान सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव के दौरान डिप्टी स्पीकर द्वारा दिए गए फैसले को गलत बताया है। प्रधान न्यायाधीश उमर अता बंदियाल ने गुरुवार को कहा कि पाकिस्तान की नेशनल असेंबली के डिप्टी स्पीकर कासिम सूरी का फैसला, जिसने पीएम खान के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव को खारिज कर दिया था, गलत था।
पाकिस्तानी अखबार डॉन ने सुनवाई के दौरान मुख्य न्यायाधीश की टिप्पणी का हवाला देते हुए कहा, "असली सवाल यह है कि आगे क्या होता है।" यह कहते हुए कि शीर्ष अदालत आज फैसला जारी करेगी, सीजेपी ने कहा, "हमें राष्ट्रीय हित को देखना होगा।" शीर्ष अदालत की पांच सदस्यीय बड़ी पीठ मामले की सुनवाई कर रही है। न्यायमूर्ति बंदियाल की अध्यक्षता वाली पीठ में न्यायमूर्ति मुनीब अख्तर, न्यायमूर्ति एजाजुल अहसन, न्यायमूर्ति मजहर आलम और न्यायमूर्ति जमाल खान मंडोखेल शामिल हैं।
बता दें कि सुप्रीम कोर्ट के फैसले की घोषणा से पहले परिसर के अंदर सुरक्षा कमांडो को तैनात किया गया। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, इससे पहले अटॉर्नी जनरल खालिद जावेद खान ने तर्क दिया कि प्रधानमंत्री सबसे बड़े हितधारक थे और उनके पास राष्ट्रीय विधानसभा को भंग करने की शक्ति थी। सुनवाई के दौरान जस्टिस जमाल खान मंडोखेल ने कहा कि भले ही डिप्टी स्पीकर कासिम सूरी ने अविश्वास प्रस्ताव को खारिज करने की घोषणा की, लेकिन स्पीकर असद कैसर ने इस फैसले पर हस्ताक्षर किए।
न्यायाधीश ने यह भी कहा कि संसदीय समिति की बैठक के रिकॉर्ड जो अदालत को सौंपे गए थे, यह साबित नहीं करते कि डिप्टी स्पीकर मौजूद थे या नहीं। इमरान खान के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव खारिज होने के बाद राष्ट्रपति आरिफ अल्वी द्वारा नेशनल असेंबली को भंग करने के बाद पाकिस्तान में उथल-पुथल मची हुई है। विपक्ष ने आदेश को चुनौती देते हुए शीर्ष अदालत का रुख किया और इसे असंवैधानिक बताया। इमरान खान और उनके समर्थकों ने उनकी सरकार को सत्ता से हटाने के लिए विदेशी साजिश का आरोप लगाया है।