तीर कमान से हुआ हमला आतंकवादी कार्रवाई प्रतीत होता है : नार्वे के अधिकारी
By भाषा | Published: October 14, 2021 09:02 PM2021-10-14T21:02:02+5:302021-10-14T21:02:02+5:30
कोंग्सबर्ग (नार्वे), 14 अक्टूबर नार्वे के अधिकारियों ने बृहस्पतिवार को बताया कि तीर कमान और संभवत: अन्य हथियारों से देश के छोटे से कस्बे में डेनमार्क के संदिग्ध व्यक्ति द्वारा पांच लोगों की हत्या का मामला आतंकवादी कार्रवाई प्रतीत होती है।
उल्लेखनीय है कि नार्वे की राजधानी ओस्लो से करीब कोंग्सबर्ग कस्बे में बुधवार रात को सुपरमार्केट और अन्य स्थानों पर हमला हुआ था। इस कस्बे की आबादी करीब 26 हजार है। इस घटना से देश स्तब्ध है। पुलिस ने घटना की जानकारी देते हुए बताया कि 37 वर्षीय आरोपी शुरू में फरार हो गया था।
क्षेत्रीय पुलिस प्रमुख ओले बी सावेरुड ने संवाददाता सम्मेलन में कहा, अब हम जानते हैं और तार्किक रूप से स्पष्ट है कि कुछ या संभवत: सभी पुलिस द्वारा हमलावर के संपर्क में आने के बाद मारे गए।’’उन्होंने बताया हमले में मारी गई चार महिलाओं और एक पुरुष की आयु 50 से 70 वर्ष के बीच थी।
नार्वे में कम अपराध दर है और सामूहिक हत्या दुर्लभ घटना है।इस घटना के बाद तत्काल इसकी तुलना एक दशक पहले हुए नरसंहार से शुरू हो गई है जिसमें एक दक्षिणपंथी स्थानीय चरमपंथी ने बम, राइफल और पिस्तौल से 77 लोगों की हत्या कर दी थी।
नार्वे के राजा हेराल्ड पंचम ने बृहस्पतिवार को कहा, ‘‘लोग महसूस कर रहे हैं कि उनके आसपास का सुरक्षित माहौल अचानक खतरनाक हो गया है। यह हमें हिला देता है, अगर हमारे पास ऐसी भयावह घटना होती है, खासतौर पर तब जब आप इसकी सबसे कम उम्मीद करते हैं और अचानक दिन में सड़क पर ऐसा होता है।’’
पुलिस के मुताबिक संदिग्ध ने बुधवार को कोंग्सबर्ग में तीर से हमला किया। पुलिस को इसकी सूचना स्थानीय समयानुसार शाम छह बजकर 15 मिनट पर मिली और उसके करीब 30 मिनट बाद संदिग्ध की गिरफ्तारी हुई।
क्षेत्रीय अभियोजक एन इरेन स्वाने मैथिएसन ने बताया कि गिरफ्तारी के बाद संदिग्ध शांत था और स्पष्ट जवाब दे रहा था। उसने कहा, ‘‘मैने यह किया।’’
उन्होंने एसोसिएटेड प्रेस को बताया, ‘‘वह शांति से बात कर रहा था और उसने घटना की पूरी जानकारी दी। उसने पांच लोगों की हत्या करने की बात स्वीकार की।’’
नार्वे की आंतरिक सुरक्षा एजेंसी जिसे पीएसटी के नाम से भी जाना जाता है, ने विभिन्न पहुलओं पर हमले का आकलन किया और उसका मानना है कि यह संदिग्ध कार्रवाई आतंकवादी घटना है।
एजेंसी ने कहा, ‘अचानक सार्वजनिक स्थानों पर लोगों पर हमला पश्चिम में इस्लामी चरमपंथियों के हमले का तरीका है। नार्वे में हुए हमले में बहुत संभव है कि इसे एक व्यक्ति ने या कुछ लोगों ने साधारण हथियारों से अंजाम दिया और उन्हें निशाना बनाया जिनके पास बहुत कम या बिल्कुल सुरक्षा नहीं थी।’’
बयान में कहा, ‘‘विस्तृत जांच से स्पष्ट होगा कि हमले के पीछे उद्देश्य क्या था।’’ बुधवार को गिरफ्तार संदिग्ध सुरक्षा एजेंसियों की नजर में था लेकिन एजेंसी ने यह नहीं बताया कि क्यों। पुलिस ने बताया कि संदिग्ध ने धर्म परिवर्तित कर इस्लाम स्वीकार किया है और पहले ही उसकी पहचान कट्टरपंथी के तौर पर की गई थी।
सावेरुड ने बताया, ‘‘ पहले इस व्यक्ति के कट्टरपंथी बनने को लेकर चिंता जताई गई थी।’’ हालांकि, उन्होंने नहीं बताया कि व्यक्ति के संदिग्ध कट्टरपंथी के तौर पर उल्लेख करने का क्या उद्देश्य है और क्यों पहले उसे संदिग्ध के तौर पर चिह्नित किया गया था और अधिकारियों ने क्या कार्रवाई की थी।
मैथिएसन ने कहा कि तीर कमान हत्यारे के हथियारों का महज एक हिस्सा था। हालांकि, पुलिस ने यह नहीं बताया कि अन्य कौन से हथियारों का इस्तेमाल हमले में किया गया। जांच में हथियार विशेषज्ञ और अन्य तकनीकी अधिकारी सहयोग कर रहे हैं।
अधिकारियों ने बताया कि हमले में घायल दो पीड़ितों को गहन चिकित्सा इकाई में भर्ती कराया गया है जिनमें से एक स्टोर में तैनात पुलिस अधिकारी है। उनकी स्थिति की तत्काल जानकारी नहीं मिल सकी।
गौरतलब है कि संदिग्ध पर प्राथमिक तौर पर आरोप लगाए जाएंगे और आधिकारिक रूप से हिरासत के लिए वह शुक्रवार को अदालत में सुनवाई का सामना करेगा। पुलिस का मानना है कि इस हमले को उसने अकेले अंजाम दिया।
नार्वे की मीडिया ने खबर दी है कि संदिग्ध पहले चोरी और मादक पदार्थ रखने का दोषी ठहराया जा चुका है और पिछले साल स्थानीय अदालत ने निरोधक आदेश पारित करते हुए छह महीने तक अपने माता-पिता से दूर रहने को कहा था क्योंकि उसने उनमें से एक की हत्या करने की धमकी दी थी।
मैथिएसन ने नार्वे के प्रसारक एनआके को बताया कि संदिग्ध की मनोस्थिति की जांच बृहस्पतिवार को विशेषज्ञों द्वारा की जाएगी।
आंतरिक सुरक्षा एजेंसी ने बताया कि नार्वे में आतंकवाद के खतरे को लेकर जारी चेतावनी के स्तर में कोई बदलाव नहीं किया गया है और यह ‘मध्यम’ श्रेणी की है।
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