Krishna Janmashtami 2022 Date: 18 या 19 अगस्त कब है जन्माष्टमी? जानें सही तारीख, पूजा विधि और मुहूर्त

By रुस्तम राणा | Published: August 14, 2022 02:18 PM2022-08-14T14:18:11+5:302022-08-14T14:20:38+5:30

श्रीकृष्ण जन्माष्टमी का पावन पर्व हर साल भाद्रपद मास कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को मनाया जाता है। शास्त्रों के अनुसार, भगवान श्रीकृष्ण का जन्म इसी तिथि पर रोहिणी नक्षत्र में हुआ था।

Krishna Janmashtami 2022 Date shubh muhurat puja vidhi and significance | Krishna Janmashtami 2022 Date: 18 या 19 अगस्त कब है जन्माष्टमी? जानें सही तारीख, पूजा विधि और मुहूर्त

Krishna Janmashtami 2022 Date: 18 या 19 अगस्त कब है जन्माष्टमी? जानें सही तारीख, पूजा विधि और मुहूर्त

Krishna Janmashtami 2022: भगवान श्रीकृष्ण का जन्मोत्सव कृष्ण जन्माष्टमी के रूप में मनाई जाती है। हिंदू पंचांग के अनुसार, प्रतिवर्ष श्रीकृष्ण जन्माष्टमी का पावन पर्व भाद्रपद मास कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को मनाया जाता है। शास्त्रों के अनुसार, भगवान श्रीकृष्ण का जन्म इसी तिथि पर रोहिणी नक्षत्र में हुआ था। श्रीकृष्ण जयंती पर बाल गोपाल के आगमन के लिए मंदिरों और घरों में विशेष साज-सजावट की जाती है, छप्पन भोग बनाए जाते हैं, कीर्तन किए जाते हैं। 

18 या 19 अगस्त कब है जन्माष्टमी 2022 ?

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार कृष्ण का जन्म मध्य रात्रि में हुआ था इस लिहाज से कई लोग जन्माष्टमी 18 अगस्त को मनाएंगे। वहीं सूर्योदय के अनुसार 19 अगस्त को जन्माष्टमी मनाना भी उत्तम है। मान्यताओं के अनुसार गृहस्थ जीवन जीने वाले 18 अगस्त को जन्मोत्सव मनाएंगे। वहीं बांके बिहारी मंदिर और द्वारिकाधीश में श्रीकृष्ण जन्माष्टमी का उत्सव 19 अगस्त को मनाया जाएगा।

जन्माष्टमी 2022 कृष्ण पूजा मुहूर्त

अष्टमी तिथि प्रारंभ - 18 अगस्त 2022 गुरुवार की रात 09:21 से
अष्टमी तिथि का समापन 19 अगस्त 2022 शुक्रवार की रात 10.50 पर होगा।
शुभ मुहूर्त -18 अगस्त रात्रि 12:20 से 01:05 तक रहेगा
पूजा अवधि- 45 मिनट
व्रत पारण समय- 19 अगस्त, रात्रि 10 बजकर 59 मिनट के बाद

इस साल जन्माष्टमी पर बन रहा है शुभ संयोग

जन्माष्टमी पर इस साल वृद्धि और ध्रुव योग का संयोग बन रहा है, जो इस दिन के महत्व में वृद्धि करेगा। वृद्धि योग 17 अगस्त 2022 रात 08.56 से शुरु होगा और 18 अगस्त रात 08.41 पर समाप्त हो जाएगाष वृद्घि योग में कान्हा की पूजा से घर में समृद्धि में बढ़ोत्तरी होती है। वहीं ध्रुव योग की शुरुआत 18 अगस्त 2022 रात 08.41 से होगी और इसका समापन 19 अगस्त राज 08.59 पर होगा।

कृष्ण जन्माष्टमी की पूजा विधि 

जन्माष्टमी को पूरे दिन व्रत करने का विधान है। प्रात: काल स्नान कर व्रत का नियम का संकल्प करना चाहिए।
आम एवं अशोक वृक्ष के पत्तों से घर को सजाकर श्रीकृष्ण या शालीगा्रम की मुर्ती को पंचामृत आभिषेक करवाकर पूजन करना चाहिए।
पूरे दिन ऊं नमो भगवते वासुदेवाय मंत्र का जाप करना चाहिए। 
भगवान के प्रसाद में अन्नरहित नैवेद्य अर्पण करना चाहिए। 
दिन मे पूजन, किर्तन के पश्चात रात्री में ठीक बारह बजे भगवान की आरती कर जन्मोत्सव मनाना चाहिए।
भजन करते हुए रात्रि जागरण करना चाहिए। 

Web Title: Krishna Janmashtami 2022 Date shubh muhurat puja vidhi and significance

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