पारसनाथ में स्थित सम्मेद शिखर को लेकर फैसला वापस, झुकी झारखंड सरकार, जानिए किस बात को लेकर हो रहा था विरोध
By एस पी सिन्हा | Updated: December 21, 2022 20:44 IST2022-12-21T20:42:31+5:302022-12-21T20:44:08+5:30
झारखंड स्थित गिरिडीह में तीर्थ स्थल सम्मेद शिखर जी को पर्यटन स्थल घोषित करने के बाद जैन समाज में आक्रोश पनप रहा था।

झारखंड के पर्यटन मंत्री हफीजुल हसन अंसारी ने कहा कि जैन समाज के विरोध के बाद सरकार ने इसे बदलने का फैसला किया है।
रांचीः झारखंड के पारसनाथ में स्थित सम्मेद शिखर को लेकर राज्य सरकार ने पर्यटन क्षेत्र घोषित करने के फैसले को वापस ले लिया है। सरकार ने यह निर्णय लिया है कि इसकी पहचान तीर्थ क्षेत्र के रूप में ही बनी रहेगी। झारखंड के पर्यटन मंत्री हफीजुल हसन अंसारी ने कहा कि जैन समाज के विरोध के बाद सरकार ने इसे बदलने का फैसला किया है। उसे पर्यटन स्थल घोषित नहीं किया जाएगा।
बता दें कि झारखंड स्थित गिरिडीह में तीर्थ स्थल सम्मेद शिखर जी को पर्यटन स्थल घोषित करने के बाद जैन समाज में आक्रोश पनप रहा था। जैन समाज के लोगों ने बुधवार को कई इलाकों में विरोध प्रदर्शन किया। इस विरोध प्रदर्शन में जैन समाज सड़कों पर उतर गया था। इसमें महिला, पुरुष, बच्चे युवा सभी सरकार के इस फैसले से नाराज थे।
जिसके चलते झारखंड सरकार को यह फैसला को वापस लेने के लिए आवाज बुलंद की गई। ऐसे में जैन समाज के सामने झारखंड सरकार को झुकना पड़ा। सरकार के इस फैसले से जैन समाज में खुशी की लहर दौड़ गई है। सुबह से लेकर दोपहर तक जहां जैन समाज सरकार के फैसले से नाराज थे।
वहीं दोपहर में जैसे ही झारखंड सरकार ने अपने इस फैसले को वापस ले लिया, जैन समाज में खुशी की लहर नजर आने लगी। उल्लेखनीय है कि जिस दिन से झारखंड के गिरिडीह स्थित जैन तीर्थ सम्मेद शिखर जी को पर्यटन स्थल बनाने का नोटिफिकेशन जारी हुआ था, तभी से जैन समाज का विरोध प्रदर्शन शुरू हो गया था। बुधवार को तो जैन समाजजनों ने अपने काम धंधे बंद करके धरना प्रदर्शन शुरू कर दिया था। इसी के साथ विशाल रैली निकालकर सरकार के खिलाफ नारेबाजी भी की।