1 / 6Pitru Paksha 2023: पितरों के प्रति श्रद्धा पर्व यानी श्राद्ध पर्व 29 सितंबर से शुरू हो रहे हैं। भाद्रपद पूर्णिमा को पहला श्राद्ध होता है। 15 दिनों तक चलने वाले इस पितृ पक्ष का समापन 14 अक्टूबर 2023 को सर्व पितृ अमावस्या के दिन होगा। 2 / 6हिन्दू मान्यता के अनुसार, श्राद्ध पक्ष में कुछ नियमों का पालन करना जरूरी होता है। इस अवधि में कुछ विशेष कार्यों को करने की मनाही होती है। 3 / 6नियमानुसार, श्राद्ध पक्ष के दौरान कुछ विशेष कार्यों को नहीं करना चाहिए। जैसे इस अवधि में नाखून, बाल कटवाने और सेविंग करना निषेध माना जाता है।4 / 6पितृ पक्ष के दौरान पितरों की आत्मा की शांति के लिए इस अवधि में मंदिरा पान एवं अन्य प्रकार के नशीले पदार्थों के अलावा मांस-मछली के सेवन से बचना चाहिए।5 / 6पितृ तर्पण के इस पर्व के दौरान आपको नई चीजों की खरीदारी जैसे वाहन, आभूषण या वस्त्र आदि की खरीदारी से बचना चाहिए।6 / 6यदि पितरों की मृत्यु की तिथि का पता है तो तिथि अनुसार ही पिंडदान करें। वरना सर्व पितृ अमावस्या या धर्म-शास्त्रों में बताई गई तिथियों के अनुसार पिंडदान करें।