लोकसभा चुनाव से पहले मोदी सरकार का एक और तोहफा, ग्रेच्युटी पर इनकम टैक्स छूट की सीमा की दोगुनी
By लोकमत समाचार ब्यूरो | Published: March 6, 2019 03:37 PM2019-03-06T15:37:50+5:302019-03-06T15:40:02+5:30
सरकार ने 2019-20 के अंतरिम बजट में पांच साल से अधिक सेवा वाले उन कर्मचारियों के लिये भी कर मुक्त ग्रेच्युटी की सीमा बढ़ाकर 20 लाख रुपये करने की घोषणा की गई है जो कि ग्रेच्युटी कानून के दायरे में नहीं आते हैं।
वित्त मंत्री अरुण जेटली ने मंगलवार को कहा कि कर-मुक्त ग्रेच्युटी सीमा को दोगुना कर 20 लाख रुपये किए जाने के निर्णय का लोक उपक्रमों और निजी क्षेत्र के कर्मचारियों को फायदा होगा।
सरकार ने 2019-20 के अंतरिम बजट में पांच साल से अधिक सेवा वाले उन कर्मचारियों के लिये भी कर मुक्त ग्रेच्युटी की सीमा बढ़ाकर 20 लाख रुपये करने की घोषणा की गई है जो कि ग्रेच्युटी कानून के दायरे में नहीं आते हैं।
जेटली ने ट्वीट कर कहा, ‘‘आयकर कानून की धारा 10 (10)(3) के तहत ग्रेच्युटी पर आयकर छूट सीमा को 20 लाख रुपये तक बढ़ा दिया गया है। इसका लाभ उन सभी लोक उपक्रम एवं अन्य कर्मचारियों को भी होगा जो ग्रेच्युटी भुगतान अधिनियम के दायरे में नहीं आते हैं।’’
Income Tax Exemption for Gratuity under Section 10(10)(iii) of the Income Tax Act has been enhanced to Rs. 20 lakh. Would benefit all PSU employees and other employees not covered by Payment of Gratuity Act.
— Arun Jaitley (@arunjaitley) March 5, 2019
संसद ने पिछले साल ही ग्रेच्युटी भुगतान (संशोधन) अधिनियम-2018 को पारित किया था। इस संशोधन के जरिये सरकार को एक कार्यकारी आदेश जारी कर 20 लाख रुपये तक की ग्रेच्युटी को कर-मुक्त करने और नियमित सेवा अवधि के तहत मातृत्व अवकाश तय करने का अधिकार दिया गया है।