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Commonwealth Games 2022: बॉक्सिंग में सुपर संडे के साथ गोल्डन हैट्रिक, विश्व चैम्पियन मुक्केबाज जरीन ने स्वर्ण जीता, कार्ले मैकनॉल को 5-0 से हराया

By सतीश कुमार सिंह | Updated: August 7, 2022 20:09 IST

Commonwealth Games 2022: मुक्केबाज नीतू गंघास, अमित पंघाल के बाद निकहत जरीन ने राष्ट्रमंडल खेलों में धमाल कर दिया।

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ठळक मुद्दे इंग्लैंड के कियारन मैकडोनाल्ड को 5-0 से हराकर स्वर्ण पदक जीत लिया है।इंग्लैंड की रेश्जटान डेमी जेड को 5-0 से हराकर स्वर्ण पदक जीत लिया है।उत्तरी आयरलैंड की कार्ले मैकनॉल को 5-0 से हराकर (48-50 किग्रा) फ्लाईवेट वर्ग में स्वर्ण पदक जीत लिया है।

Commonwealth Games 2022: मौजूदा विश्व चैंपियन मुक्केबाज निकहत जरीन ने रविवार को उत्तरी आयरलैंड की कार्ले मैकनॉल को 5-0 से हराकर (48-50 किग्रा) फ्लाईवेट वर्ग में स्वर्ण पदक जीत लिया है। निकहत ने सेमीफाइनल में इंग्लैंड स्टबले अलफिया सवानाह को 5-0 के सर्वसम्मत फैसले से पराजित किया था। सुपर संडे में धमाल कर दिया।

जरीन सहित भारतीय स्टार मुक्केबाज अमित पंघाल और नीतू गंघास ने रविवार को यहां राष्ट्रमंडल खेलों में स्वर्ण पदक अपने नाम किये। शानदार फॉर्म में चल रही 26 साल की निकहत ने लाइट फ्लाईवेट (48-50 किग्रा) स्पर्धा में उत्तरी आयरलैंड की कार्ले मैकनॉल पर एकतरफा फाइनल में 5-0 से जीत दर्ज की।

पंघाल ने पिछले राष्ट्रमंडल खेलों के फाइनल में मिली हार का बदला चुकता करते हुए पुरुष फ्लाईवेट वर्ग में, जबकि नीतू गंघास ने पदार्पण में ही दबदबा बनाते हुए स्वर्ण पदक अपनी झोली में डाले। पंघाल (48-51 किग्रा) को चार साल पहले गोल्ड कोस्ट में इंग्लैंड के ही एक प्रतिद्वंद्वी से इसी चरण में हार मिली थी लेकिन इस बार 26 साल के मुक्केबाज ने अपनी आक्रामकता के बूते घरेलू प्रबल दावेदार मैकडोनल्ड कियारान को 5-0 से हराकर स्वर्ण पदक जीता।

रिंग में उतरी नीतू ने महिलाओं के मिनिममवेट (45-48 किग्रा) वर्ग के फाइनल में विश्व चैम्पियनशिप 2019 की कांस्य पदक विजेता रेस्जटान डेमी जेड को सर्वसम्मत फैसले में 5-0 से पराजित किया। राष्ट्रमंडल खेलों में पदार्पण में ही नीतू ने गजब का आत्मविश्वास दिखाया और फाइनल में भी वह इसी अंदाज में खेली जैसे पिछले मुकाबलों में खेली थीं। 

जरीन ने रविवार को कहा कि उनका काम रिंग के अंदर अपने विरोधियों पर मुक्के बरसाना और देश को गौरवान्वित करना है। निकहत ने कहा कि तीन महीने में दूसरी बार अंतरराष्ट्रीय स्तर पर स्वर्ण पदक जीता। मेरा काम है बस रिंग में जाके मुक्के फेंकना (प्रतिद्वंद्वी खिलाड़ी पर मुक्के बरसाना) और देश का नाम रोशन करना।

मुझे एकाग्र होकर फिर से शुरुआत (फाइनल में) करनी होगी। स्वर्ण पदक के लिए निकहत के सामने उत्तरी आयरलैंड के कार्ली मैकनैल की चुनौती थी। सेमीफाइनल में मुझ पर दबाव था, मुझे पता था कि दर्शकों से उसे काफी समर्थन मिलेगा। उसके घर में आकर जीतना मेरे लिए बड़ी बात है।

टॅग्स :मुक्केबाजीBoxer Amit Panghalकॉमनवेल्थ गेम्स
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