टॉपर की धार्मिक पहचान उजागर कर विवादों में घिरीं पश्चिम बंगाल शिक्षा बोर्ड की प्रमुख

By भाषा | Updated: July 23, 2021 19:52 IST2021-07-23T19:52:23+5:302021-07-23T19:52:23+5:30

West Bengal Education Board chief embroiled in controversy by revealing topper's religious identity | टॉपर की धार्मिक पहचान उजागर कर विवादों में घिरीं पश्चिम बंगाल शिक्षा बोर्ड की प्रमुख

टॉपर की धार्मिक पहचान उजागर कर विवादों में घिरीं पश्चिम बंगाल शिक्षा बोर्ड की प्रमुख

कोलकाता, 23 जुलाई पश्चिम बंगाल उच्च माध्यमिक शिक्षा परिषद (डब्ल्यूबीसीएचएसई) की अध्यक्ष महुआ दास 12वीं कक्षा के नतीजों की घोषणा के दौरान टॉपर की धार्मिक पहचान को उजागर करने को लेकर विवादों में घिर गई हैं। राजनीतिक नेताओं ने दावा किया कि टीएमसी की तुष्टिकरण की नीति को ध्यान में रखते हुए ऐसा किया गया।

हालांकि, परिषद के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि दास सिर्फ इस तथ्य को रेखांकित करना चाहतीं थीं कि अल्पसंख्यक समुदाय की एक लड़की ने ''सामाजिक और आर्थिक बाधाओं से संघर्ष'' कर टॉप किया है।

दास ने लड़की का नाम लिए बिना गुरुवार को कहा था कि मुर्शिदाबाद जिले की एक मुस्लिम लड़की ने 500 में से 499 अंक हासिल किए और 12वीं कक्षा के परिणाम में टॉपर रही। उन्होंने कहा कि इस साल मेरिट सूची तैयार नहीं की गई है।

बीजेपी आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने उनके बयान पर निशाना साधते हुए ट्वीट किया, ''ममता बनर्जी के बंगाल में, तुष्टिकरण की राजनीति उस समय एक नए निचले स्तर पर पहुंच गई, जब बोर्ड की एक अधिकारी ने कक्षा 12वीं की छात्रा की शैक्षणिक उपलब्धि को उसकी धार्मिक पहचान से कम कर दिया ...उन्होंने बार-बार बताया कि लड़की मुस्लिम है।''

इसी तरह, लोकसभा में कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि जब परिषद ने अपनी प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा कि एक मुस्लिम लड़की टॉपर रही है, तो उन्हें उचित नहीं लगा।

उन्होंने कहा, ''अगर किसी छात्रा की धार्मिक पहचान को उजागर करने का कोई प्रयास नहीं किया गया होता तो हमें खुशी होती। यह प्रशंसनीय है कि एक छात्रा ने लड़कों को पीछे छोड़ते हुए पहला स्थान हासिल किया।''

कांग्रेस की छात्र शाखा की राज्य इकाई के अध्यक्ष सौरभ प्रसाद ने कहा कि अपनी टिप्पणी के लिये माफी नहीं मांगने पर दास को जिम्मेदारियों से मुक्त कर देना चाहिये।

उन्होंने कहा कि ''अफसोस की बात है कि'' ''माननीय परिषद अध्यक्ष टॉपर की धार्मिक पहचान पर जोर देती रहीं लेकिन उसका नाम नहीं बताया।''

प्रसाद ने कहा, ''हम मांग करते हैं कि वह या तो अपनी टिप्पणी के लिए सार्वजनिक रूप से माफी मांगें या उन्हें उनकी जिम्मेदारियों से मुक्त किया जाए।''

प्रख्यात शिक्षाविदों ने भी ''योग्यता के साथ धर्म को जोड़ने'' के लिए दास की आलोचना की।

तत्कालीन प्रेसीडेंसी कॉलेज के पूर्व प्राचार्य अमल मुखोपाध्याय ने कहा, ''दास ने लड़की की कामयाबी से भावुक होकर टिप्पणी की लेकिन अनजाने में योग्यता के साथ धर्म को जोड़कर उन्होंने बड़ी गलती कर दी।''

पश्चिम बंगाल इमाम एसोसिएशन के अध्यक्ष मोहम्मद याहिया से संपर्क किया गया तो उन्होंने कहा कि परिषद प्रमुख ने ''छात्रा को अपमानित किया और उसकी उपलब्धियों को कम किया।''

याहिया ने कहा, ''हम मांग करते हैं कि उन्हें उनकी छोटी मानसिकता के लिए तुरंत पद से हटा दिया जाए। अन्यथा, हमें यह मान लेना होगा कि मुख्यमंत्री ऐसी टिप्पणियों का समर्थन करती हैं, जैसा कि परिषद अध्यक्ष ने कहा है कि वह ममता बनर्जी से प्रेरणा लेती हैं।''

परिषद प्रमुख से प्रतिक्रिया लेने के लिये कई बार संपर्क कोशिश की गई, लेकिन उनसे संपर्क नहीं हो पाया।

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Web Title: West Bengal Education Board chief embroiled in controversy by revealing topper's religious identity

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