टीकमगढ़/भोपाल, सात जुलाई केंद्रीय मंत्रिपरिषद में बुधवार को कैबिनेट मंत्री के रूप में शामिल किए गए डॉ. वीरेंद्र कुमार खटीक ने मध्य प्रदेश के सागर जिले में साइकिल पंक्चर रिपयेरिंग की दुकान में अपने पिता के साथ बचपन से काम करना शुरू किया था और बाद में बाल श्रम विषय में पीएचडी की। वह सितंबर 2017 में पहली बार केन्द्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री बने थे।
वह सादगी के लिए जाने जाते हैं और अपनी जड़ों को कभी नहीं भूलते हैं।
खटीक मध्य प्रदेश से सात बार सांसद रहे हैं। वह सागर लोकसभा सीट से चार बार और टीकमगढ़ लोकसभा सीट से तीन बार जीते हैं।
वर्तमान में वह टीकमगढ़ सीट से लोकसभा के सदस्य हैं। सागर और टीकमगढ़ दोनों ही प्रदेश के पिछड़े बुंदेलखंड क्षेत्र में आते हैं।
भाजपा के एक नेता ने कहा कि भाजपा सांसद अपनी ‘‘विनम्र जड़ों’’ को कभी नहीं भूलते हैं और आज भी अपने बजाज सुपर स्कूटर की सवारी करना पसंद करते हैं। वह इस क्षेत्र में साइकिल पंक्चर की मरम्मत करने वालों के साथ बैठने में कभी शर्म महसूस नहीं करते और उनकी तथा गरीबों की मदद भी करते हैं।
वहीं, भाजपा विधायक शैलेंद्र जैन ने कहा, "उनके (वीरेन्द्र कुमार खटीक) पिता की सागर शहर के तीन बत्ती चौराहे पर साइकिल पंक्चर रिपेयरिंग की दुकान थी और वह भी उसे चलाने में उनकी सहायता के लिए वहां बैठते थे।’’
भाजपा के टीकमगढ़ जिले के महासचिव बृजकिशोर तिवारी ने ‘भाषा’ से कहा, ‘‘खटीक अपनी सादगी के लिए जाने जाते हैं और आज भी अपने वर्तमान निर्वाचन क्षेत्र में स्कूटर की सवारी करते हैं। ऐसा कर जनता उन्हें अपने जैसा साधारण व्यक्ति समझती है और इसलिए वे खुले दिल से अपनी समस्याएं उन्हें बताते हैं, जिससे उनका निवारण जल्द हो जाता है।’’
तिवारी ने कहा, ‘‘केंद्रीय मंत्रिपरिषद में शामिल होने के लिए जब उन्हें दिल्ली से फोन आया तो उन्होंने अपने टीकमगढ़ स्थित घर पर टैक्सी बुलाई और आम आदमी की तरह रेलवे स्टेशन गए।’’
पार्टी सूत्रों के अनुसार 27 फरवरी 1954 को जन्मे खटीक 1996 में सागर लोकसभा सीट से पहली बार सांसद चुने गए और बाद में 1998, 1999 और 2004 में भी वहां से चुनाव जीते। इसके बाद उन्हें टीकमगढ़ लोकसभा सीट से मैदान में उतारा गया और 2009, 2014 तथा 2019 में उन्हें वहां से जीत मिली।
खटीक 2017 में केंद्रीय महिला एवं बाल विकास राज्य मंत्री रहे और 17 जून 2019 को उन्होंने प्रोटेम स्पीकर (अस्थाई अध्यक्ष) के रूप में भी काम किया।
उन्होंने कहा कि मंत्री होने के बावजूद वह प्राय: ऑटोरिक्शा पर रेलवे स्टेशन से अपने घर जाया करते हैं।
वह बचपन से ही आरएसएस में स्वयंसेवक के रूप में जुड़े रहे।
खटीक ने डॉ हरि सिंह गौर विश्वविद्यालय, सागर (अब एक केंद्रीय विश्वविद्यालय) से पढ़ाई की है। उन्होंने अर्थशास्त्र में स्नातकोत्तर और बाल श्रम में पीएचडी की है।
आपातकाल के दौरान वह 16 महीने जेल में रहे और लोक नायक जयप्रकाश नारायण के "संपूर्ण क्रांति आंदोलन" में भी हिस्सा लिया।
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