नई दिल्ली: भारतीय जनता पार्टी के नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने चीन से निपटने के तरीके को लेकर केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार पर सवाल खड़ा किया है। स्वामी ने लद्दाख में भारतीय सेना के पीछे हटने को लेकर भी सरकार से सवाल पूछे हैं।
उन्होंने ट्वीट कर नरेंद्र मोदी सरकार के फैसले पर नराजगी प्रकट करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री ने 2020 में कहा कि 'कोई आया नहीं कोई गया नहीं।' चीन को यह बहुत पसंद आया, लेकिन यह सच नहीं था।
स्वामी ने आगे कहा कि जनरल नरवणे ने सैनिकों को आदेश दिया वे एलएसी पार कर पैंगोंग लेक को अपने नियंत्रण लें ताकि चीनी चौकियों पर नजर रखी जा सके। अब हम वहां से पीछे हट रहे हैं लेकिन डेपसांग से चीन के पीछे हटने का क्या हुआ? अभी तक नहीं हुआ है। चीन बहुत खुश है।
पेट्रोल की कीमत को लेकर सुब्रमण्यम स्वामी ने बीजेपी सरकार पर किया था तंज-
यह पहली बार नहीं है जब सुब्रमण्यम स्वामी ने नरेंद्र मोदी सरकार के किसी फैसले पर सवाल खड़ा किया हो। इससे पहले भी वह सरकार के रवैया पर सवाल खड़ा करते रहे हैं। इससे पहले भाजपा के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने अपने ही बीजेपी सरकार पर हमला बोलते हुए देश में पेट्रोल और डीजल के दाम बढ़ने पर सुब्रमण्यम स्वामी ने नराजगी जताई थी।
सुब्रमण्यम स्वामी ने ट्विट कर अपने ही सरकार पर तंज कसा था। स्वामी ने मंगलवार को अपने ट्विटर अकाउंट पर एक तस्वीर शेयर की, जिसमें पेट्रोल के दाम को लेकर तंज कसा था। स्वामी मे अपने ट्विट में लिखा था कि राम के भारत में पेट्रोल 93 रुपये, सीता के नेपाल में 53 रुपये और रावण की लंका में 51 रुपये के दाम पर बिक रहा है।
BJPआईटी सेल प्रमुख अमित मालवीय को लेकर भी सुब्रमण्यम स्वामी जता चुके हैं नाराजगी-
कुछ समय पहले बीजेपी नेता और राज्यसभा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने भाजपा आईटी सेल प्रमुख अमित मालवीय के बाद पीएमओ से जुड़े अधिकारी पर निशाना साधा था। उन्होंने आरोप लगाया है कि फर्जी अकाउंट्स से उनपर हो रहे निजी हमलों के पीछे अमित मालवीय के साथ पीएमओ के अधिकारी हरेन जोशी का भी हाथ है।
बता दें कि ऑफिसर ऑन स्पेशल ड्यूटी (ओएसडी) हरेन जोशी को पीएम नरेंद्र मोदी के खास सलाहकारों में गिना जाता है। जोशी अभी पीएमओ में ओएसडी (कम्यूनिकेशन ऐंड आईटी) हैं। स्वामी ने अपने अधिकारिक ट्विटर हैंडल पर लिखा था कि अब अमित मालवीय को फिर से नियुक्त कर लिया गया है, तो मुझे कहना पड़ रहा है: मेरे पहले के ट्वीट्स ये पता करने के लिए थे कि अमित मालवीय ने खुद फर्जी आईडी से ट्वीट करवाए या इसके पीछे कोई और था। अब साफ हो गया है। पीएमओ हरेन जोशी इसके पीछे थे। मैंने दो सप्ताह पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को इसके बारे में लिखा था।