उत्तर प्रदेश के वाराणसी सीट से सपा-बसपा-रालोद महागठबंधन ने लोकसभा चुनाव 2019 के लिए अपना उम्मीदवार बदल दिया है। महागठबंधन ने बीएसएफ के पूर्व कांस्टेबल तेज बहादुर यादव को इस हाई प्रोफाइल सीट से पीएम मोदी के खिलाफ अपना उम्मीदवार बनाया है। इससे पहले शालिनी यादव महागठबंधन से उम्मीदवार थीं।
पुलवामा हमले के बाद लिया लड़ने का फैसला
तेज बहादुर यादव हरियाणा के रेवाड़ी जिले के रहने वाले हैं। लोकमत से विशेष बातचीत में तेज बहादुर यादव की पत्नी शर्मिला ने कहा, "पुलवामा में जवानों की शहादत के बाद उन्होंने चुनाव लड़ने का फैसला किया।
शर्मिला कहती हैं, उनके पति ने सेना में खाने को लेकर भ्रष्टाचार का मुद्दा उठाया था। जिसके बाद उन्हें बर्खास्त कर दिया है। इन सब के चलते हमारा 19 साल का बेटा भी चल बसा। हम पति-पत्नी घर में नहीं थे और वे लोग बेटे को मौत को दुर्घटना बता रहे हैं।"
11 अप्रैल को पहुंचे वाराणसी
18 दिन पहले तेज प्रताप यादव पीएम मोदी के खिलाफ लड़ने वाराणसी पहुंचे। शर्मिला बताती हैं, "मैं भी एक दिन प्रचार के लिए बनारस गई थीं लेकिन तबियत खराब होने के चलते अभी रेवाड़ी वापस आ गई हूं। मुझे खुशी है कि सपा ने उन्हें अपना उम्मीदवार बनाया है।"
तेज बहादुर ने भरा नामांकन
तेज बहादुर सोमवार को नामांकन दाखिल करने के आखिरी दिन एसपी के प्रदेश प्रवक्ता मनोज राय धूपचंडी के साथ पर्चा भरने पहुंचे। धूपचंडी ने दावा किया कि तेज बहादुर ही वाराणसी से समाजवादी पार्टी के उम्मीदवार होंगे। इससे पहले सपा ने हाल में ही पार्टी में शामिल हुईं शालिनी यादव को टिकट देने का ऐलान किया था।
कांग्रेस से चुनाव लड़ेंगे अजय राय
वाराणसी सीट से पीएम नरेंद्र मोदी लगातार दूसरी चुनाव लड़ रहे हैं। उन्होंने पिछले ही हफ्ते अपना नामांकन भरा। वहीं, कांग्रेस ने अजय राय को मैदान में उतारा है। वाराणसी में सातवें और आखिरी चरण में 19 मई को मतदान होगा।