शबाना आजमी ने 1989 में अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव के मंच से किया था कांग्रेस को शर्मसार, लोगों ने कहा- उन्हें नहीं कहा गया देशद्रोही
By रामदीप मिश्रा | Updated: January 2, 2020 21:01 IST2020-01-02T21:01:45+5:302020-01-02T21:01:45+5:30
सफदर हाशमी पर एक जनवरी, 1989 को नुक्कड़ नाटक 'हल्ला बोल' के दौरान हमला किया गया था। उन पर स्थानीय कांग्रेसी नेता मुकेश शर्मा ने अपने गुंडों के साथ गाजियाबाद के साहिबाबाद में हमला किया था। ये घटना दिन दहाड़े हुई थी।

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अभिनेत्री शबाना आजमी का बेबाक अंदाज चर्चा में रहता है। इस बीच प्रसिद्ध रंगकर्मी सफदर हाशमी के 31वें शहादत दिवस पर सीटू की ओर से आयोजित कार्यक्रम में शबाना ने नरेंद्र मोदी सरकार पर हमला बोला। इसके बाद सोशल मीडिया पर उनका वह वीडियो वायरल हो गया, जिसमें उन्होंने तीस साल पहले सफदर हाशमी की हत्या को लेकर सरकार की कड़ी आलोचला की थी।
फेसबुक पर अपर्णा भट्टाचार्य नाम के पेज से एक वीडियो शेयर किया गया। यह वीडियो जनवरी 1989 का बताया गया है। वीडियो दिल्ली में हुए अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव का है, जिसमें शबाना आज़मी तात्कालीन सरकार की आलोचना करती नजर आ रही हैं।
भट्टाचार्य ने अपने फेसबुक पेज पर लिखा कि तीस साल पहले शबाना आज़मी ने दिल्ली में अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव के मंच का इस्तेमाल किया ताकि कांग्रेस को सफदर हाशमी की हत्या के लिए शर्मिंदा किया जा सके। सरकार को शर्मसार करने के लिए उन्हें देशद्रोही नहीं कहा गया। वह बॉलीवुड की स्तंभ थीं।
इधर, सफदर हाशमी के 31वें शहादत दिवस पर शबाना ने नरेंद्र सरकार को महंगाई और बेरोजगारी के मुद्दे घेरा। उन्होंने कि सरकार नागरिकता संशोधन कानून के जरिए मूलभूत मुद्दों से भटकाने की कोशिश कर रही है। उन्होंने कहा, 'कमाने वाला खाएगा, लूटने वाला जाएगा और नया जमाना आएगा'।
आपको बता दें कि सफदर हाशमी पर एक जनवरी, 1989 को नुक्कड़ नाटक 'हल्ला बोल' के दौरान हमला किया गया था। उन पर स्थानीय कांग्रेसी नेता मुकेश शर्मा ने अपने गुंडों के साथ गाजियाबाद के साहिबाबाद में हमला किया था। ये घटना दिन दहाड़े हुई थी। घटना में घायल हुए सफदरल हाशमी की 2 जनवरी, 1989 को मौत हो गई थी। इसके बाद उनके अंतिम संस्कार में 15 हजार से ज्यादा लोग सड़कों पर उतरे थे और कांग्रेस की जमकर किरकिरी हुई थी।