लोकसभा चुनाव 2019: उन्नाव में BJP सांसद साक्षी महाराज के खिलाफ केस दर्ज, आचार संहिता के उल्लंघन का आरोप
By रामदीप मिश्रा | Published: April 9, 2019 09:38 AM2019-04-09T09:38:20+5:302019-04-09T09:50:33+5:30
उन्नाव लोकसभा सीटः साक्षी महाराज के खिलाफ आदर्श आचार संहिता के उल्लघंन का केस दर्ज किया गया है। उन्होंने सोमवार को अपना नामांकन पत्र दाखिल किया है।
उत्तर प्रदेश के उन्नाव लोकसभा से भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के प्रत्याशी व पार्टी से मौजूदा सांसद साक्षी महाराज एक बार फिर सुर्खियों में हैं। दरअसल, इस बार वह किसी बयान को लेकर नहीं बल्कि सोमवार को अपना नामांकन पत्र भरने के दौरान 100 से अधिक गाड़ियों का काफिला ले जाने को लेकर सुर्खियों में हैं और इस संबंध में उनके ऊपर आदर्श आचार संहिता उल्लंघन के मामले में केस दर्ज किया गया है।
खबरों के अनुसार, साक्षी महाराज सोमवार को अपना नामांकन दाखिल करने गए थे। इस दौरान उनके साथ 100 से अधिक गाड़ियों का काफिला था। इस दौरान साक्षी महाराज से गाड़ियों के पास के बारे में पूछा गया तो उनके पास केवल 13 गाड़ियों के ही पास उपलब्ध थे। इसके बाद उनके खिलाफ आदर्श आचार संहिता के उल्लघंन का केस दर्ज किया गया।
Non Cognizable Offence Information Report registered against sitting BJP MP from Unnao, Sakshi Maharaj for allegedly violating Model Code of Conduct (MCC). (file pic) pic.twitter.com/bIGOXIf5QY
— ANI UP (@ANINewsUP) April 9, 2019
साक्षी महाराज अक्सर अपने बयानों को लेकर सुर्खियों में रहते हैं। वह अभी हाल ही में उन्नाव सीट पर प्रत्याशी के रूप में खुद के नाम का ऐलान करवाने के लिए पार्टी से धमकी भरे अंदाज में अपील की थी, जिसके बाद वह खूब चर्चा में रहे।
उन्होंने पार्टी नेतृत्व को अप्रत्यक्ष रूप से धमकी देते हुए कहा था कि अगर उन्नाव लोकसभा सीट से उन्हें दोबारा टिकट नहीं दिया गया तो इसका परिणाम पार्टी के पक्ष में सुखद नहीं होगा। उन्होंने उत्तर प्रदेश के बीजेपी प्रदेशाध्यक्ष महेंद्र नाथ पांडेय को एक पत्र लिखकर यह बात कही थी।
उन्होंने कहा था कि उन्नाव से मुझे टिकट नहीं देने के संबंध में अगर पार्टी कोई निर्णय लेती है तो इससे प्रदेश और देश के मेरे करोड़ों कार्यकर्ताओं के आहत होने की पूरी संभावना है, जिसका परिणाम भी सुखद नहीं होगा। 15 साल बाद इस सीट पर मैंने जीत दर्ज की थी। इस लोकसभा सीट पर मैंने 2014 में 3,15,000 मतों से जीत दर्ज की थी, जबकि समाजवादी पार्टी दूसरे नंबर पर रही थी और कांग्रेस और बसपा के प्रत्याशियों की जमानत जब्त हो गयी थी।
उन्होंने दावा किया था कि अगर पार्टी उन्हें दोबारा चुनाव मैदान में उतारती है तो वह चार से पांच लाख मतों के अंतर से इस सीट पर फिर जीत दर्ज करेंगे।