कौन हैं मोहन भागवत?, 16 साल से आरएसएस संगठन के मुखिया

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: September 10, 2025 22:31 IST2025-09-10T22:30:32+5:302025-09-10T22:31:17+5:30

RSS chief Mohan Bhagwat: आरएसएस के तीसरे प्रमुख रहे बालासाहेब 20 से अधिक वर्षों तक शीर्ष पद पर रहे, जबकि दूसरे सरसंघचालक गोलवलकर ने 32 वर्षों से अधिक समय तक संगठन का नेतृत्व किया।

RSS chief Mohan Bhagwat 11 september RSS chief Mohan Bhagwat's 75th birthday Thursday head organization for 16 years | कौन हैं मोहन भागवत?, 16 साल से आरएसएस संगठन के मुखिया

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Highlightsलगभग 50 साल पहले आरएसएस के 'प्रचारक' के रूप में काम करना शुरू किया।75 वर्ष की आयु में सार्वजनिक जीवन से संन्यास ले लेना चाहिए।भागवत भी एक 'प्रचारक' यानी एक पूर्णकालिक आरएसएस कार्यकर्ता थे।

नई दिल्लीः आरएसएस के सरसंघचालक मोहन भागवत गुरुवार को 75 वर्ष के हो जाएंगे। वह 16 वर्ष से अधिक समय से संघ के प्रमुख हैं। महाराष्ट्र के चंद्रपुर जिले में 11 सितंबर, 1950 को जन्मे भागवत आरएसएस प्रमुख के कार्यकाल की अवधि के मामले में एम एस गोलवलकर और मधुकर दत्तात्रेय देवरस (बालासाहेब) के बाद तीसरे स्थान पर हैं। आरएसएस के तीसरे प्रमुख रहे बालासाहेब 20 से अधिक वर्षों तक शीर्ष पद पर रहे, जबकि दूसरे सरसंघचालक गोलवलकर ने 32 वर्षों से अधिक समय तक संगठन का नेतृत्व किया।

भागवत ने लगभग 50 साल पहले आरएसएस के 'प्रचारक' के रूप में काम करना शुरू किया और मार्च 2009 में इसके सरसंघचालक (प्रमुख) बने। उनके पिता मधुकरराव भागवत भी एक 'प्रचारक' यानी एक पूर्णकालिक आरएसएस कार्यकर्ता थे। भागवत ने कुछ मौकों पर कहा था कि 75 वर्ष की आयु में सार्वजनिक जीवन से संन्यास ले लेना चाहिए।

इसके बाद ये अटकलें लगाई जाने लगीं कि उनका सुझाव प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के लिए था, जो 17 सितंबर को 75 वर्ष के हो जाएंगे। ये अटकलें भी लगीं कि भागवत खुद 75 वर्ष के होने पर संन्यास ले लेंगे। हालांकि, उन्होंने हाल ही में यह स्पष्ट करके इन अटकलों पर विराम लगा दिया कि वह हल्के-फुल्के अंदाज में दिए गए दिवंगत आरएसएस नेता मोरोपंत पिंगले के बयानों का उल्लेख कर रहे थे।

आरएसएस प्रमुख ने पिछले महीने विज्ञान भवन में संगठन के शताब्दी वर्ष के उपलक्ष्य में आयोजित तीन दिवसीय सम्मेलन के दौरान इस बारे में पूछे गए सवालों के जवाब में कहा था, "हम जीवन में कभी भी सेवानिवृत्त होने के लिए तैयार हैं और जब तक संघ चाहेगा, तब तक काम करने के लिए तैयार हैं।"

उन्होंने कहा, "मैंने कभी नहीं कहा कि मैं रिटायर हो जाऊंगा या किसी और को रिटायर हो जाना चाहिए।" भागवत ने कहा, "संघ में स्वयंसेवकों को काम दिया जाता है, चाहें या न चाहें... हम वही करते हैं जो संघ हमें करने को कहता है।" भागवत ने कहा कि उन्होंने हाल ही में नागपुर में एक कार्यक्रम में दिवंगत आरएसएस नेता पिंगले की वाकपटुता जाहिर करने के लिए ही उनका हवाला दिया था।

उन्होंने कहा, "वह इतने वाकपटु थे कि उनकी वाकपटुता सुनकर आप अपनी कुर्सी से उछल पड़ते... एक बार हमारे कार्यक्रम में, हम सभी अखिल भारतीय कार्यकर्ता थे और वह (पिंगले) 70 वर्ष के हो चुके थे। इसलिए, उन्हें एक शॉल दिया गया और कुछ कहने के लिए कहा गया...

उन्होंने खड़े होकर कहा, “आप सोच रहे होंगे कि आपने मुझे सम्मानित किया है, लेकिन मैं जानता हूं कि जब यह शॉल दिया जाता है, तो इसका मतलब है कि आप शांति से कुर्सी पर बैठें और मार्गदर्शन करें।'" आरएसएस प्रमुख बनने से पहले भागवत संघ के सरकार्यवाह (महासचिव) थे, जो संगठन में दूसरे नंबर का पद होता है। 

Web Title: RSS chief Mohan Bhagwat 11 september RSS chief Mohan Bhagwat's 75th birthday Thursday head organization for 16 years

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