मणिपुर पुलिस ने बिष्णुपुर के पास राहुल गांधी के काफिले को रोका, कांग्रेस ने लगाया आरोप
By रुस्तम राणा | Updated: June 29, 2023 14:21 IST2023-06-29T14:12:38+5:302023-06-29T14:21:50+5:30
महासचिव केसी वेणुगोपाल ने कहा, "पुलिस का कहना है कि वे हमें अनुमति देने की स्थिति में नहीं हैं। लोग राहुल गांधी का हाथ हिलाने के लिए सड़क के दोनों ओर खड़े हैं। हम समझ नहीं पा रहे हैं कि उन्होंने हमें क्यों रोका है?"

मणिपुर पुलिस ने बिष्णुपुर के पास राहुल गांधी के काफिले को रोका, कांग्रेस ने लगाया आरोप
इंफाल:कांग्रेस नेता राहुल गांधी गुरुवार को मणिपुर पहुंचे हैं। वह राज्य के दो दिवसीय दौरे पर हैं और अपनी यात्रा के दौरान राहत शिविरों का दौरा करेंगे और इंफाल और चुराचांदपुर में नागरिक समाज के प्रतिनिधियों के साथ बातचीत करेंगे। इस बीच कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि राहुल गांधी के काफिले को बिष्णुपुर के पास मणिपुर पुलिस ने रोक दिया है।
कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने कहा, "पुलिस का कहना है कि वे हमें अनुमति देने की स्थिति में नहीं हैं। लोग राहुल गांधी का हाथ हिलाने के लिए सड़क के दोनों ओर खड़े हैं। हम समझ नहीं पा रहे हैं कि उन्होंने हमें क्यों रोका है?"
वहीं पुलिस अधिकारियों ने बताया कि रास्ते में हिंसा की आशंका के चलते काफिले को रोका गया। उन्होंने बताया कि बिष्णुपुर जिले के उटलू गांव के पास राजमार्ग पर टायर जलाए गए और काफिले पर कुछ पत्थर फेंके गए।
पुलिस के एक अधिकारी ने कहा, ‘‘ हमें ऐसी घटनाओं के फिर होने की आशंका है और इसलिए एहतियाती तौर पर काफिले को बिष्णुपुर में रुकने का अनुरोध किया गया।’’ कांग्रेस पदाधिकारी आगे बढ़ने के वास्ते सुरक्षित रास्ता सुनिश्चित करने के लिए पुलिस और सेना के अधिकारियों से बात कर रहे हैं।
Congress leader Rahul Gandhi returns to Imphal, Manipur.
— ANI (@ANI) June 29, 2023
Rahul Gandhi's convoy was stopped by police near Bishnupur. https://t.co/kSllRCpRLKpic.twitter.com/0XvOQdE6z9
गौरतलब है कि मणिपुर में मेइती और कुकी समुदाय के बीच मई की शुरुआत में भड़की जातीय हिंसा में 100 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है। मणिपुर में अनुसूचित जनजाति (एसटी) का दर्जा देने की मेइती समुदाय की मांग के विरोध में तीन मई को पर्वतीय जिलों में ‘आदिवासी एकजुटता मार्च’ के आयोजन के बाद झड़पें शुरू हुई थीं।
मणिपुर की 53 प्रतिशत आबादी मेइती समुदाय की है और यह मुख्य रूप से इंफाल घाटी में रहती है। वहीं, नगा और कुकी जैसे आदिवासी समुदायों की आबादी 40 प्रतिशत है और यह मुख्यत: पर्वतीय जिलों में रहती है।
(भाषा इनपुट के साथ)