चंडीगढ़: अगले साल की शुरुआत में होने वाले पंजाबविधानसभा चुनावों के लिए जहां विपक्षी अकाली दल और आम आदमी पार्टी ने अपने कई उम्मीदवारों के नामों की घोषणा कर दी है तो वहीं सत्ताधारी कांग्रेस जिताऊ उम्मीदवारों को टिकट बांटने के लिए कम से कम छह अलग-अलग सर्वेक्षण की रिपोर्ट में निर्भर है।
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, ये छह सर्वेक्षण कांग्रेस पार्टी, कांग्रेस नेता राहुल गांधी, कांग्रेस सचिव हरिश चौधरी, मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी, पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू और खुफिया विभाग ने किए हैं। सबसे उपयुक्त उम्मीदवार की तलाश के लिए सभी रिपोर्टों का मिलान किया जा रहा है।
एक सूत्र ने बताया कि पार्टी क्रिसमस से पहले अपनी पहली सूची जारी करने की योजना बना रही है। सूत्रों ने बताया कि कई विधायक अपने निर्वाचन क्षेत्रों की अदला-बदली करना चाहते हैं लेकिन ऐसा संभव नहीं लग रहा है।
सूत्र ने कहा कि हमने कई विधायकों पर चन्नी, सिद्धू और प्रचार समिति के अध्यक्ष सुनील जाखड़ से फीडबैक लिया है। वे 50 प्रतिशत से अधिक नामों पर सहमत हैं। अगर सब कुछ ठीक रहा तो हम जल्द ही अपनी पहली सूची घोषित करेंगे।
उन्होंने कहा कि पार्टी को कुछ विधायकों को बदलना पड़ सकता है। कुछ मंत्रियों को इस बार भी टिकट नहीं मिल सकता है क्योंकि 117 सदस्यीय सदन में कांग्रेस के पास फिलहाल 80 विधायक हैं। हमें सत्ताविरोधी फैक्टर को बहुत मजबूती से लेना होगा। नहीं तो हमारे लिए मुश्किल होगी।
पार्टी पूर्व मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह द्वारा अपनी खुद की पार्टी पंजाब लोक कांग्रेस (पीएलसी) बनाने से सावधान है। ऐसी आशंका है कि असंतुष्ट लोग पीएलसी की ओर रुख कर सकते हैं।
हालांकि नेता ने कहा कि हम चाहते हैं कि अमरिंदर हमारे असंतुष्टों को ले लें। इससे वे केवल हमारे विरोधियों की संभावनाओं को खराब करेंगे। हम सुरक्षित महसूस करेंगे।
अजय माकन के नेतृत्व वाली स्क्रीनिंग कमेटी ने सोमवार को दिल्ली में पंजाब के पार्टी सांसदों से भी मुलाकात की और राज्य के राजनीतिक परिदृश्य पर चर्चा की।
अभियान समिति के प्रमुख सुनील जाखड़ ने भी बुधवार को इसकी पहली बैठक बुलाई है. उन्होंने चन्नी और सिद्धू को आमंत्रित किया है। अब देखना यह होगा कि दोनों इस मुलाकात में शिरकत करते हैं या नहीं। घोषणापत्र समिति के अध्यक्ष प्रताप बाजवा भी मंगलवार को एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करेंगे।