नई दिल्लीः कांग्रेस अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी से आज की पूछताछ खत्म हो गई है। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने 25 जुलाई को दोबारा पूछताछ के लिए बुलाया है। इस बीच कांग्रेस नेता और कार्यकर्ताओं ने देशभर में प्रदर्शन किया। इस दौरान पुलिस ने प्रदर्शनकारियों पर वाटर कैनन का इस्तेमाल किया।
गांधी (75) 'जेड प्लस' सुरक्षा घेरे के बीच दोपहर के समय मध्य दिल्ली में ए.पी.जे. अब्दुल कलाम रोड पर विद्युत लेन में स्थित संघीय जांच एजेंसी के मुख्यालय पहुंची थीं। सूत्रों ने कहा कि समन के सत्यापन और उपस्थिति रजिस्टर पर हस्ताक्षर जैसी कुछ औपचारिकताएं पूरी होने के बाद दोपहर करीब साढ़े 12 बजे पूछताछ शुरू हुई।
सूत्रों ने कहा कि उन्होंने स्वास्थ्य कारणों का हवाला देते हुए जाने देने का अनुरोध किया, जिसे मान लिया गया। यह जांच कांग्रेस से जुड़ी 'यंग इंडियन प्राइवेट लिमिटेड' कंपनी में कथित वित्तीय अनियमितताओं से संबंधित है। 'यंग इंडियन प्राइवेट लिमिटेड' कंपनी के पास नेशनल हेराल्ड समाचार पत्र का मालिकाना हक है।
कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद ने मोदी सरकार पर हमला किया। आजाद ने कहा कि एक ही केस के लिए परिवार के दो लोगों को बुलाना ये कहां का न्याय है। अभी राहुल गांधी को 4-5 बार बुलाया, उसी केस में उनकी मां (सोनिया गांधी) को बुलाने की कोई जरूरत नहीं थी। इसके अलावा हमें आंदोलन करने का अधिकार है।
छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि सोनिया गांधी को ईडी दफ्तर तलब किया गया है। सोनिया गांधी की तबीयत पिछले कुछ समय से ठीक नहीं है और फिर भी भाजपा उनके पीछे है। भाजपा बदला लेने की इच्छा में इतनी अंधी है।
बघेल ने कहा कि एक पूर्व प्रधानमंत्री की पत्नी और कांग्रेस पार्टी की अंतरिम अध्यक्ष जिसने एक बार नहीं बल्कि दो बार प्रधानमंत्री पद से इनकार किया, उस पर 90 करोड़ रुपये के घोटाले में शामिल होने का आरोप लगाकर ईडी के कार्यालय में बुला रही है।
NSUI कार्यकर्ताओं ने ईडी द्वारा कांग्रेस अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी समन को समन किए जाने के खिलाफ आरएमएल अस्पताल के पास विरोध प्रदर्शन किया। कांग्रेस ने ‘नेशनल हेरल्ड’ अखबार से जुड़े धनशोधन के एक मामले में केंद्र सरकार पर निशाना साधा और उस पर एजेंसियों के दुरुपयोग का आरोप लगाया।
कांग्रेस ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) का नेतृत्व ‘विपक्ष मुक्त भारत’ चाहता है। सोनिया गांधी के प्रति एकजुटता प्रकट करते हुए पार्टी के सांसदों एवं कांग्रेस कार्य समिति (सीडब्ल्यूसी) सदस्यों ने सामूहिक गिरफ्तारी भी दी। मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस के नेताओं और कार्यकर्ताओं ने दिल्ली के साथ ही देश के अलग-अलग हिस्सों में ‘सत्याग्रह’ किया।
कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने ट्वीट किया, ‘‘विषगुरु के राजनीतिक प्रतिशोध का सामना कर रहीं कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के प्रति एकजुटता व्यक्त करते हुए सभी कांग्रेस सांसदों एवं सीडब्ल्यूसी सदस्यों ने पार्टी मुख्यालय के बाहर सामूहिक गिरफ़्तारी दी। हमें किंग्सवे कैंप पुलिस थाने में लाया गया।’’ उन्होंने कहा, ‘‘सच की लड़ाई लड़ेंगे और जीतेंगे!’’
पार्टी के वरिष्ठ नेता एवं राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि केंद्र सरकार के इस कदम से कांग्रेस के नेता और कार्यकर्ता झुकने वाले नहीं हैं। गहलोत ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘हम डरने और घबराने वाले नहीं हैं। सोनिया जी जब से देश में आईं हैं, उन पर हमले हो रहे हैं।
सोनिया जी ने जिस तरह से भारत की संस्कृति और संस्कार को अपनाया है, वह अपने आप में एक मिसाल है। उन्होंने जो जीवन जिया है और पार्टी के लिए जो किया है, उसे कांग्रेस के नेता और कार्यकर्ता कभी भूल नहीं सकते।’’