नड्डा ने पुलिस की अनुमति के बगैर भाजपा की ‘रथ यात्रा’ को दिखाई झंडी, ममता पर साधा निशाना

By भाषा | Updated: February 6, 2021 22:44 IST2021-02-06T22:44:33+5:302021-02-06T22:44:33+5:30

Nadda flags off BJP's 'Rath Yatra' without the permission of the police, a direct target on Mamta | नड्डा ने पुलिस की अनुमति के बगैर भाजपा की ‘रथ यात्रा’ को दिखाई झंडी, ममता पर साधा निशाना

नड्डा ने पुलिस की अनुमति के बगैर भाजपा की ‘रथ यात्रा’ को दिखाई झंडी, ममता पर साधा निशाना

(सुप्रतीक सेनगुप्ता)

नवद्वीप/मालदा (पश्चिम बंगाल), छह फरवरी पश्चिम बंगाल सरकार से एक बार फिर टकराव मोल लेते हुए भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष जे पी नड्डा ने शनिवार को प्रदेश में अपनी पार्टी की ‘परिवर्तन यात्रा’ को पुलिस की अनुमति के बगैर झंडी दिखाकर रवाना किया और कहा कि लोगों ने विधानसभा चुनावों में ममता बनर्जी की सरकार को “टा-टा” कहने का मन बना लिया है।

उन्होंने तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) सरकार पर प्रशासन के राजनीतिकरण और पुलिस के अपराधीकरण का भी आरोप लगाया।

अपने एक दिन के दौरे पर इस चुनावी राज्य में आए भाजपा अध्यक्ष का हर जगह “जय श्रीराम” के नारे के साथ स्वागत हुआ और नड्डा ने इसे भारत की सांस्कृतिक पहचान से जोड़ते हुए मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर निशाना साधा।

कृषि कानून विरोधी प्रदर्शनों को लेकर भाजपा और मोदी सरकार जहां विपक्ष के तीखे हमलों का सामना कर रही है वहीं पार्टी अध्यक्ष ने किसानों के साथ जमीन पर बैठकर खिचड़ी खाई और ममता बनर्जी पर “अपने अहम की तुष्टि” के लिये दो सालों तक किसानों को प्रधानमंत्री किसान योजना के फायदों से वंचित रखने का आरोप लगाया।

नड्डा ने दावा किया कि टीएमसी का नारा “मां, माटी, मानुष” से बदलकर वास्तविकता में “तानाशाही, तोलाबाजी (रंगदारी) और (मुस्लिम) तुष्टिकरण” हो गया है। उन्होंने कहा कि टीएमसी सरकार ने उन लोगों के साथ विश्वासघात किया है जिन्होंने उस पर भरोसा जताया था।

पंद्रहवीं शताब्दी के संत चैतन्य महाप्रभु की जन्मस्थली नवद्वीप से पश्चिम बंगाल में बदलाव लाने के उद्देश्य से भाजपा की ‘परिवर्तन यात्रा’ के तहत एक परिष्कृत ‘रथ’ को भी झंडी दिखाकर रवाना करने से पहले उन्होंने आरोप लगाया कि ममता बनर्जी के शासन में सिर्फ टीएमसी नेताओं का फायदा हुआ और यहां तक कि अंफान तूफान के बाद राहत के लिये भेजी गई रकम में भी उनके द्वारा हेरफेर की गई।

नवद्वीप नादिया दिले में स्थित है और जिला पुलिस ने कहा कि सिर्फ नड्डा की जनसभा के लिये इजाजत दी गई थी, रथ यात्रा के लिये नहीं क्योंकि उसके खिलाफ कलकत्ता उच्च न्यायालय में एक जनहित याचिका लंबित है।

पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, “हमने जे पी नड्डा की रैली के लिये अनापत्ति दी थी। लेकिन तथाकथित रथ यात्रा के लिये कोई मंजूरी नहीं दी गई थी क्योंकि मामला न्यायालय के विचाराधीन है।”

बुधवार को दायर की गई जनहित याचिका में रथ यात्रा रोकने की मांग करते हुए दावा किया गया कि इससे कोविड-19 की स्थिति और कानून-व्यवस्था पर विपरीत असर पड़ेगा।

नड्डा ने ‘जय श्रीराम’ के नारे को लेकर ममता की नाराजगी का मुद्दा भी उठाया और इस नारे को देश की संस्कृति से जुड़ा बताया।

उन्होंने कहा, “वह ‘जय श्रीराम’ के नारे से इतनी नफरत क्यों करती हैं? अपने ही देश की संस्कृति से जुड़ना गलत है क्या? वे (टीएमसी) वोट-बैंक की राजनीति के लिए देश की संस्कृति को नकारना चाहते हैं।”

बनर्जी ने नेताजी सुभाषचंद्र बोस की जयंती पर 23 जनवरी को कोलकाता के विक्टोरिया मेमोरियल में आयोजित एक कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मौजूदगी में ‘जय श्रीराम’ का नारा लगने के बाद संबोधन से इनकार कर दिया था।

नड्डा ने दावा किया कि सत्ताधारी टीएमसी को बंगाल से स्वतंत्रता सेनानी की याद तब आई जब मोदी ने उनके योगदान का गुणगान किया।

उन्होंने कहा, “आप (ममता) इतने सालों तक सुभाष चंद्र बोस को भूली रहीं। आप कांग्रेस में थीं लेकिन कभी उनकी विरासत का जश्न मनाने के लिये कुछ नहीं किया।”

नड्डा ने आरोप लगा कि टीएमसी पदाधिकारियों ने चक्रवार और कोविड-19 महामारी के दौरान केंद्र द्वारा उपलब्ध कराए गए फंड की “चोरी की और उसे हजम कर गए”।

भाजपा नेता ने आरोप लगाया, “टीएमसी नेताओं ने केंद्रीय फंड हड़प लिया। अनाज और यहां तक की बरसाती भी चुरा ली गईं जो टीएमसी पदाधिकारियों के घरों से बरामद हुईं।”

उन्होंने आरोप लगाया, “उच्च न्यायालय ने जब आपसे राहत कोष खाते की जांच सीएजी से कराने को कही तो आप आदेश के खिलाफ उच्चतम न्यायालय चले गए। ईमानदारी और पारदर्शिता के लिये खड़े होने के बजाए आपने भ्रष्टाचार की ओट में छिपने की कोशिश की।”

विधानसभा चुनावों से पहले बनर्जी द्वारा शुरू किये गई घरेलू-बाहरी की बहस का उल्लेख करते हुए भाजपा अध्यक्ष ने कहा कि उनकी पार्टी का प्रदेश नेतृत्व पश्चिम बंगाल की संस्कृति की रक्षा करेगा और उसे प्रगति के पथ पर लेकर जाएगा।

उन्होंने आरोप लगाया, “ममता बनर्जी सरकार ने प्रशासन का राजनीतिकरण, पुलिस का अपराधीकरण और भ्रष्टाचार को संस्थागत कर दिया है।”

रथ यात्रा को झंडी दिखाने के बाद नड्डा ने कहा कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ऐसी चार ‘रथ यात्रा’ में से दो का उद्घाटन इस महीने बाद में करेंगे।

भाजपा सूत्रों के मुताबिक ये यात्राएं प्रदेश के सभी 294 विधानसभा क्षेत्रों से होकर गुजरेंगी।

तीन कृषि कानूनों के खिलाफ शनिवार को किसान यूनियनों के राष्ट्रव्यापी चक्का जाम के दिन नड्डा ने पश्चिम बंगाल के मालदा में दोहराया कि नरेन्द्र मोदी सरकार किसान समुदाय के कल्याण को लेकर प्रतिबद्ध है।

उन्होंने कृषक समुदाय के साथ दोपहर में सामूहिक भोज भी किया।

उन्होंने मुख्यमंत्री पर निशाना साधते हुए कहा, ''आज जब बंगाल के करीब 25 लाख किसानों ने पीएम किसान सम्मान निधि योजना का लाभ उठाने के लिये केन्द्र सरकार को आवेदन भेजे तब जाकर ममता जी ने कहा कि वह इसे लागू करेंगी। ममता जी चुनाव आने वाले हैं, अब बहुत देर हो चुकी है।''

नड्डा ने आरोप लगाया, ''ममता दी ने बंगाल के किसानों को पीएम किसान योजना के लाभों से वंचित करके अन्याय किया। उन्होंने अपने अहं को संतुष्ट करने के लिये यह कल्याणकारी योजना लागू नहीं होने दी। अब जब बंगाल के किसानों को खुद यह महसूस हुआ कि योजना लागू होनी चाहिये, तब जाकर उन्होंने कहा कि इसे लागू करेंगी। 70 लाख किसान दो साल से सालाना छह हजार रुपये की मदद से वंचित हैं।''

नड्डा ने एक माह तक चलने वाले पार्टी के ''कृषक सुरक्षा अभियान'' और ''एक मुट्ठी चावल'' के अंतिम चरण में शिरकत करते हुए कहा कि राज्य की जनता ने बनर्जी और उनकी पार्टी को विधानसभा चुनाव में ''नमस्ते और टाटा'' कहने का मन बना लिया है।

भाजपा अध्यक्ष ने शनिवार को ‘जय श्रीराम’ के नारों के बीच ‘रोड शो’ किया।

फव्वारा मोड़ और गुरुदेव रवींद्रनाथ टैगोर की प्रतिमा के बीच एक किलोमीटर तक के मार्ग पर विशेष रूप से सजाए गए एक वाहन के ऊपर प्रदेश भाजपा अध्यक्ष दिलीप घोष एवं अन्य के साथ खड़े नड्डा ने उत्साही समर्थकों पर गेंदा के फूलों की पंखुड़ियां बिखेरीं और हाथ हिलाकर भीड़ का अभिवादन किया।

लोगों ने अपनी छतों एवं बालकनी से ‘रोड शो’ देखा। वे अपने मोबाइल फोन पर ‘रोड शो’ का वीडियो बनाते नजर आए।

सड़कों पर जगह-जगह भाजपा के झंडे और बैनर लगे नजर आए। यह काफिला तंग और भीड़भाड़ वाली सड़कों से निकला।

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