मनी ट्रांसफर एक जुलाई से मुफ्त होगा, जानिए कैसे
By लोकमत समाचार ब्यूरो | Published: June 12, 2019 04:28 AM2019-06-12T04:28:49+5:302019-06-12T04:28:49+5:30
भारतीय रिजर्व बैंक ने धन स्थानांतरण के लोकप्रिय माध्यम आरटीजीएस और एनईएफटी के जरिये पैसा स्थानांतरित करने का शुल्क एक जुलाई से समाप्त करने की घोषणा की है
भारतीय रिजर्व बैंक ने धन स्थानांतरण के लोकप्रिय माध्यम आरटीजीएस और एनईएफटी के जरिये पैसा स्थानांतरित करने का शुल्क एक जुलाई से समाप्त करने की घोषणा की है. उसने बैंकों से कहा है कि वह लाभ उसी दिन से अपने ग्राहकों को दें. रीयल टाइम ग्रॉस सेटलमेंट सिस्टम (आरटीजीएस) बड़ी राशियों को एक खाते से दूसरे खाते में तत्काल स्थानांतरण करने की सुविधा है.
इसी तरह नेश्नल इलेक्ट्रानिक फंड ट्रांसफर (एनईएफटी) के जरिये दो लाख रुपये तक की राशि का त्वरित अंतरण किया जा सकता है. देश का सबसे बड़ा भारतीय स्टेट बैंक एनईएफटी के जरिये धन स्थानांतरण के लिए एक रुपये से पांच रुपये का शुल्क लेता है. वहीं आरटीजीएस के राशि स्थानांतरित करने के लिए वह पांच से 50 रुपये का शुल्क लेता है.
डिजिटल तरीके से धन स्थानांतरण को प्रोत्साहन के लिए रिजर्व बैंक ने एक जुलाई, 2019 से उसके द्वारा बैंकों पर लगाए जाने वाले प्रोसेसिंग शुल्क तथा अलग-अलग समय के लिए आरटीजीएस से धन स्थानांतरण शुल्क के साथ एनईएफटी के जरिये लेनदेन पर प्रोसेसिंग शुल्क समाप्त करने की घोषणा की थी. अब केंद्रीय बैंक ने कहा कि बैंकों को सलाह दी जाती है कि वे आरटीजीएस और एनईएफटी प्रणाली से लेनदेन पर शुल्क समाप्त किए जाने का लाभ अपने ग्राहकों को स्थानांतरित करें.