मोदी सरकार ने मारुति सुजुकी पर ठोका 200 करोड़ रुपयों का जुर्माना, भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग ने 'धांधली के माामले' में पाया दोषी
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: August 23, 2021 20:19 IST2021-08-23T20:15:54+5:302021-08-23T20:19:28+5:30
देश की सबसे बड़ी कार निर्माता कंपनी मारुति सुजुकी (Maruti Suzuki India Limited) पर मोदी सरकार (Modi Government) ने बड़ा एक्शन लेते हुए 200 करोड़ रुपये का जुर्माना ठोका है. केंद्र सरकार के भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग (Competition Commission of India) ने बड़ी कार्रवाई करते हुए मारुति सुजुकी इंडिया लिमिटेड पर ये जुर्माना लगाया है.

मोदी सरकार ने मारुति सुजुकी पर ठोका 200 करोड़ रुपयों का जुर्माना, भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग ने 'धांधली के माामले' में पाया दोषी
देश की सबसे बड़ी कार निर्माता कंपनी मारुति सुजुकी (Maruti Suzuki India Limited) पर मोदी सरकार (Modi Government) ने बड़ा एक्शन लेते हुए 200 करोड़ रुपये का जुर्माना ठोका है. केंद्र सरकार के भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग (Competition Commission of India) ने बड़ी कार्रवाई करते हुए मारुति सुजुकी इंडिया लिमिटेड पर ये जुर्माना लगाया है. इस मामले भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग की ओर से कहा गया है कि कार निर्माता कंपनी मारुति सुजुकी पर कॉम्पटिशन के नियमों की अवहेलना करने का आरोप लगाया गया था, जांच में दोषी पाए जाने पर आयोग ने कार्रवाई करते हुए ये जुर्माना लगाया है.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, मारुति सुजुकी पर आरोप लगने के बाद वर्ष 2019 में कंपनी पर शिकंजा कसना शुरू किया था. भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग के मुताबिक, मारुति सुजुकी कंपनी पर डीलर्स पर दबाव बनाकर कारों पर डिस्काउंट तय करने को लेकर आरोप लगाए गए थे.
Competition Commission of India imposed a penalty of Rs 200 crores upon Maruti Suzuki India Limited for indulging in anti-competitive conduct of Resale Price Maintenance in passenger vehicle segment by implementing discount control policy: Ministry of Corporate Affairs pic.twitter.com/8jDkJWjvw8
— ANI (@ANI) August 23, 2021
वहीं ‘रॉयटर्स’ की एक रिपोर्ट के मुताबिक, 'कार निर्माता कंपनी मारुति सुजुकी के दबाव के चलते कार डीलरों में बिक्री के लिए होड़ देखी गई. इसका सीधा असर ग्राहकों की जेब पर हुआ और इससे ग्राहकों को जबरदस्त नुकसान उठाना पड़ा'.
वहीं जांच के दौरान भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग ने पाया कि डीलर बिना किसी दबाव के अपने हिसाब से दाम और डिस्काउंट तय करते तो कारों की कीमतें कम हो सकती थीं. आयोग ने अपनी जांच में मारुति सुजुकी इंडिया लिमिटे को दोषी पाया.
आयोग ने कंपनी पर 200 करोड़ रुपयों का जुर्माना लगाने के साथ ही निर्देश दिया है कि वो इस तरह के काम से वह खुद को दूर रखे. बता दें कि इसके साथ ही भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग मारुति सुजुकी को 60 दिन के अंदर 200 करोड़ रुपये की इस जुर्माने की राशि को अदा करने के निर्देश दिए हैं.