गुजरात: हिरासत में जिग्नेश मेवानी, दलित कार्यकर्ता की मौत पर कर रहे थे विरोध प्रदर्शन
By लोकमत समाचार हिंदी ब्यूरो | Updated: February 18, 2018 19:05 IST2018-02-18T18:30:54+5:302018-02-18T19:05:08+5:30
दलित कार्यकर्ता भानुभाई वणकर ने गुरुवार को पाटन कलेक्टर कार्यालय के बाहर खुद को आग लगा ली थी।

गुजरात: हिरासत में जिग्नेश मेवानी, दलित कार्यकर्ता की मौत पर कर रहे थे विरोध प्रदर्शन
अहमदाबाद, 18 फरवरी: गुजरात वडगाम से विधायक और दलित नेता जिग्नेश मेवानी को पुलिस ने हिरासत में ले लिया है। मेवीनी दलित कार्यकर्ता भानुभाई वणकर की मौत के बाद विरोध प्रदर्शन करते हुए रविवार 18 फरवरी अहमदाबाद बंद करने का आह्वान किया था। जिग्नेश के आह्वान पर भारी संख्या में दलित कार्यकर्ता सारंगपुर में बाबासाहेब भीमराव आंबेडकर की प्रतिमा के पास एकत्र हुए। इस विरोध प्रर्दशन को रोकने के लिए पुलिस मौके पर ही मेवानी और उनके साथियों को हिरासत में लिया गया है।
जिग्नेश मेवानी ने लगाया पुलिस पर आरोप
जिग्नेश ने ट्वीट करके बताया है, जिग्नेश मेवानी और उनके साथियों को कार से निकाल के, कार की चाबी तोड़के गलत तरीके से अज्ञात लोगों को कोई अज्ञात जगह पर ले गए है।
जिग्नेश मेवानी और उनके साथियों को कार से निकाल के, कार की चाबी तोड़ के गलत तरीके से अज्ञात लोगो द्वारा कोई अज्ञात जगह पर ले गए है -
— Jignesh Mevani (@jigneshmevani80) February 18, 2018
जिग्नेश मेवानी टीम pic.twitter.com/uZsG8rYcVK
शुक्रवार को उपचार के दौरान वणकर की मौत हो गई थी। उसके बाद दलित समाज में गुस्सा भरा हुआ है। वणकर के परिवार वालों का कहना था कि जब तक उनकी मांगो को नहीं माना जाएगा तब तक वह शव नहीं ले जाएंगे। इस मांग के समर्थन में बड़ी संख्या में परिवार के साथ दलित कार्यकर्ता भी मौजूद रहे। उसके बाद उप मुख्यमंत्री नितिन पटेल ने संवाददाताओं से बातचीत करते हुए कहा कि भूमि परिवार के सदस्य के नाम पर कर दी जाएगी।
Protesters torched a vehicle in #Gujarat's Ahmedabad agitating over death of a Dalit activist Bhanubhai Vankar on 16 Feb. Vankar had performed self-immolation on 15 Feb in Patan pic.twitter.com/NkUFa56S7Z
— ANI (@ANI) February 18, 2018
परिवार के किसी एक सदस्य को सरकार देगी नौकरी
उप मुख्यमंत्री नितिन पटेल ने कहा कि हम हाईकोर्ट में इस मामले की जांच कराने की अपिल करेंगे और हम दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेंगे।
उन्होंने वणकर के परिवार को (अत्याचारों की रोकथाम) कानून के तहत आठ लाख रुपए दिए जाने का ऐलान किया है। यह भी भरोसा दिलाया गया है कि परिवार के किसी एक सदस्य को सरकारी नौकरी भी दी जाएगी।
क्या है पुरा मामला
दलित कार्यकर्ता भानुभाई वणकर ने गुरुवार को पाटन कलेक्टर कार्यालय के बाहर खुद को आग लगा ली थी और अगले दिन अहमदाबाद के एक निजी अस्पताल में उसकी मौत हो गई। बताया जा रहा था कि भानुभाई वणकर वह एक भूमिहीन दलित खेतिहर मजदूर हेमाबेन वणकर के लिए आवाज उठा रहा था। हेमाबेन का कहना था कि कुछ अधिकारियों ने साल 2013 में उससे 22,236 रुपए तो लिए लेकिन उसे जमीन नहीं दिया।