मालाबार विद्रोह विवाद: केंद्रीय मंत्री ने केरल के विधानसभा अध्यक्ष एवं माकपा पर साधा निशाना

By भाषा | Updated: August 25, 2021 18:48 IST2021-08-25T18:48:29+5:302021-08-25T18:48:29+5:30

Malabar Insurgency Controversy: Union Minister targets Kerala Assembly Speaker and CPI(M) | मालाबार विद्रोह विवाद: केंद्रीय मंत्री ने केरल के विधानसभा अध्यक्ष एवं माकपा पर साधा निशाना

मालाबार विद्रोह विवाद: केंद्रीय मंत्री ने केरल के विधानसभा अध्यक्ष एवं माकपा पर साधा निशाना

केंद्रीय मंत्री वी मुरलीधरन ने मालाबार विद्रोह के नेता वरीयमकुन्नाथ कुंजअहमद की कथित रूप से भगत सिंह से तुलना करने को लेकर बुधवार को केरल विधानसभा के अध्यक्ष एम बी राजेश एवं सत्तारूढ़ माकपा पर निशाना साधा एवं कहा कि यह इतिहास को विकृत करके ‘सांप्रदायिक ध्रुवीकरण’ करने की कोशिश है।फेसबुक पोस्ट में तीखा प्रहार करते हुए वरिष्ठ भाजपा नेता ने कहा कि अनजान होना कोई गुनाह नहीं है लेकिन राजनीतिक फायदे के लिए उसे सही ठहराना अपराध है। उन्होंने कहा, ‘‘ केरल विधानसभा के अध्यक्ष एवं उनकी पार्टी अब महज (चंद) वोटों की खातिर यही कर रही है। इतिहास को विकृत करके सांप्रदायिक ध्रुवीकरण करने के प्रयास को समय माफ नहीं करेगा।’’ मुरलीधरन ने आरोप लगाया कि एकजुट राष्ट्र के लिए अपनी जिदंगी कुर्बान कर देने वाले बहादुर देशभक्त और इरनाड (दक्षिण मालाबार) में ‘‘मोपला’’ (मुस्लिम) राष्ट्र के निर्माण का प्रयास करने वाले व्यक्ति के बीच समानांतर रेखा खींचने की मंशा बिल्कुल स्पष्ट है। उन्होंने सवाल किया , ‘‘ किन आधारों पर भगत सिंह और हाजी एक जैसे हो सकते हैं? क्या माकपा एवं राजेश बता सकते हैं कि क्या सिंह ने (पुलिस अधिकारियों समेत) किसी भारतीय की हत्या की थी।’’ मंत्री ने यह प्रश्न भी किया कि क्या सिंह ने इस्लामिक कानून या किसी धार्मिक कानून के अनुसार जीवन जीने पर जोर दिया, या धर्मांतरण करने के लिए किसी का उत्पीड़न किया। उन्होंने जानना चाहा कि क्या कम्युनिस्ट पार्टी यह मानती है कि जिन लोगों ने ब्रिटिश का विरोध किया, वे सभी भारतीय स्वतंत्रता सेनानी थे। उन्होंने कहा कि इस्लामिक राष्ट्र के लिए संघर्ष करने वालों को जो बहादुर देशभक्त मानते हैं, वे भाजपा को धर्मनिरपेक्षता का पाठ पढ़ाने का प्रयास कर रहे हैं। वैसे तो केरल में एक वर्ग हाजी को एक ऐसा नेता मानता है जिसने ब्रिटिश उपनिवेशवाद के खिलाफ लड़ते हुए देश के लिए अपनी जान कुर्बान कर दी लेकिन हिंदू दक्षिणपंथी संगठन दावा करते हैं वह ऐसे फासीवादियों के नेता थे जिन्होंने ‘‘मोपला दंगे’’ में दक्षिण मालाबार के एरनाडू और वल्लूवनाडू तालुकों में हिंदुओं को निशाना बनाया। मल्लपुर जिले में 20 अगस्त को मालाबार विद्रोह पर एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए विधानसभा अध्यक्ष ने दावा किया था कि हाजी धर्मनिरपेक्ष थे जिन्होंने ब्रिटिश से माफी मांगने से इनकार कर दिया एवं मक्का भेजने की जगह शहादत को चुना। उन्होंने भगत सिंह की शहादत का उल्लेख करते हुए कहा था, ‘‘ मैं समझता हूं कि (इतिहास में)उनका (हाजी का) काम भगत सिंह के बराबर है।’’ मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी और कांग्रेस ने ‘मालाबार विद्रोह’ में शामिल हुए लोगों के नाम देश के स्वतंत्रता संग्राम के शहीदों की पुस्तक से हटाने के केंद्र के कथित कदम की मंगलवार को आलोचना की थी और कहा था कि 1921 का यह आंदोलन भारत के स्वतंत्रता संग्राम का हिस्सा था।

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Web Title: Malabar Insurgency Controversy: Union Minister targets Kerala Assembly Speaker and CPI(M)

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