नवाब मलिक ED द्वारा दर्ज मामले के खिलाफ बॉम्बे हाईकोर्ट पहुंचे, गिरफ्तारी को बताया अवैध, बेटे फराज को भी समन
By अनिल शर्मा | Updated: March 1, 2022 09:51 IST2022-03-01T09:29:48+5:302022-03-01T09:51:05+5:30
ईडी ने मलिक को पिछले बुधवार को दाऊद इब्राहिम से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गिरफ्तार किया था। विशेष PMLA अदालत ने मलिक को 3 मार्च तक ED की हिरासत में भेज दिया था।

नवाब मलिक ED द्वारा दर्ज मामले के खिलाफ बॉम्बे हाईकोर्ट पहुंचे, गिरफ्तारी को बताया अवैध, बेटे फराज को भी समन
मुंबई: नवाब मलिक ने प्रवर्तन निदेशालय द्वारा अपने खिलाफ दर्ज मनी लॉन्ड्रिंग मामले को रद्द करने के लिए बॉम्बे हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। मलिक ने अपनी याचिका में कहा है कि उनकी गिरफ्तारी अवैध है और उन्होंने तुरंत रिहा करने की मांग की है। वहीं मनी लॉन्ड्रिंग के एक मामले में प्रवर्तन निदेशालय ने मंत्री नवाब मलिक के बेटे फराज मलिक को पूछताछ के लिए तलब किया है।
इस बीच, तीन दिनों तक अस्पताल में भर्ती रहे नवाब मलिक को सोमवार को जे जे अस्पताल से छुट्टी दे दी गई और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के अधिकारी उनसे पूछताछ जारी रखने के लिए बलार्ड एस्टेट में अपने जोनल कार्यालय ले गए।
अधिकारियों ने कहा कि मलिक को कोई गंभीर स्वास्थ्य समस्या नहीं थी। गौरतलब है कि ईडी ने मलिक को पिछले बुधवार को दाऊद इब्राहिम से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गिरफ्तार किया था। विशेष PMLA अदालत ने मलिक को 3 मार्च तक ED की हिरासत में भेज दिया। शुक्रवार को जब ED मलिक को नियमित चिकित्सा जांच के लिए जेजे अस्पताल ले गई तो उन्होंने अचानक बेचैनी की शिकायत की जिसके बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया। मलिक तीन दिनों तक डॉक्टरों की निगरानी में रहे और उनके कई जांच भी हुए। इस दौरान सीआरपीएफ के साथ ईडी अधिकारियों की एक टीम तैनात रही और बाहरी लोगों को उनसे मिलने नहीं दिया जा रहा था।
स्वास्थ्य जांच रिपोर्ट के बाद डॉक्टरों ने सोमवार को मलिक को छुट्टी देने का फैसला किया। ईडी के सूत्रों ने कहा कि मलिक ने दाऊद इब्राहिम की बहन हसीना पारकर के साथ कुर्ला संपत्ति को अवैध रूप से खरीदने के लिए सौदा किया था। उनके बेटे फराज पर सौदे से संबंधित दस्तावेजों पर हस्ताक्षर करने और पारकर को भुगतान समाशोधन में शामिल होने का आरोप लगाया गया है।