Lok Sabha Elections 2024: "भाजपा गांधी के हत्यारे 'गोडसे' की पैरवी करने वाले पूर्व जज अभिजीत गंगोपाध्याय की उम्मीदवारी वापस ले", जयराम रमेश ने कहा

By आशीष कुमार पाण्डेय | Published: March 26, 2024 07:12 AM2024-03-26T07:12:36+5:302024-03-26T07:23:41+5:30

जयराम रमेश ने भाजपा से मांग की है कि वो कलकत्ता उच्च न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश और पार्टी के लोकसभा प्रत्याशी अभिजीत गंगोपाध्याय का टिकट वापस ले।

Lok Sabha Elections 2024: "BJP should withdraw the candidature of former judge Abhijit Gangopadhyay, who defended Gandhi's killer Godse", said Jairam Ramesh | Lok Sabha Elections 2024: "भाजपा गांधी के हत्यारे 'गोडसे' की पैरवी करने वाले पूर्व जज अभिजीत गंगोपाध्याय की उम्मीदवारी वापस ले", जयराम रमेश ने कहा

फाइल फोटो

Highlightsजयराम रमेश ने कलकत्ता हाकोर्ट के पूर्व जज अभिजीत गंगोपाध्याय को लेकर भाजपा पर साधा निशानारमेश ने गंगोपाध्याय द्वारा महात्मा गांधी के हत्यारे नाथूराम गोडसे पर की गई टिप्पणी को लेकर बोला हमलाउन्होंने कहा कि भाजपा ऐसे लोगों को उम्मीदवारी तुरंत वापस ले, जो गोडसे की पैरवी करते हों

नई दिल्ली: कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने बीते सोमवार को कलकत्ता उच्च न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश और मौजूदा समय में भारतीय जनता पार्टी के टिकट पर लोकसभा चुनाव लड़ने वाले अभिजीत गंगोपाध्याय पर महात्मा गांधी के हत्यारे नाथूराम गोडसे पर की गई उनकी हालिया टिप्पणियों को लेकर निशाना साधा है।

समाचार एजेंसी एएनआई के अनुसार कांग्रेस नेता रमेश ने कहा, "यह दयनीय से भी बदतर है कि कलकत्ता उच्च न्यायालय के एक न्यायाधीश, जिन्होंने प्रधानमंत्री का आशीर्वाद लेकर भाजपा उम्मीदवार के रूप में लोकसभा चुनाव लड़ने के लिए न्यायिक सेवा से इस्तीफा दिया था, वो कह रहे हैं कि वो गांधी और गोडसे के बीच चयन नहीं कर सकते।"

उन्होंने कहा, "यह पूरी तरह से अस्वीकार्य है और भाजाप ऐसे लोगों को उम्मीदवारी तुरंत वापस ले, जिन्होंने महात्मा गांधी की विरासत को हथियाने में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ा।"

मालूम हो कि अभिजीत गंगोपाध्याय, जिन्हें हाल ही में कलकत्ता उच्च न्यायालय के न्यायाधीश के पद से इस्तीफा दिया था, भाजपा द्वारा उन्हें लोकसभा चुनाव में उन्हें अपना उम्मीदवार नामित किया गया है। गंगोपाध्याय ने हाल ही में एक बंगाली चैनल से कहा कि वह 'गांधी और गोडसे के बीच चयन नहीं कर सकते'।

न्यायविद से नेता बने गंगोपाध्याय ने कहा कि लोगों को गांधी के हत्यारे नाथूराम गोडसे द्वारा लिखी गई किताब जरूर पढ़नी चाहिए, जिसमें उन कारणों के बारे में विस्तार से बताया गया है, जिन्होंने गोडसे को राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की हत्या करने के लिए उकसाया।

तामलुक में तृणमूल कांग्रेस के उम्मीदवार देबांग्शु भट्टाचार्य के खिलाफ चुनाव लड़ रहे गंगोपाध्याय ने कहा, "कानूनी पेशे से जुड़े रहे व्यक्ति के रूप में मुझे कहानी के दूसरे पक्ष को समझने की कोशिश करनी चाहिए। मुझे नाथूराम गोडसे का लेखन पढ़ना चाहिए और समझना चाहिए कि किस वजह से उन्हें महात्मा गांधी की हत्या करनी पड़ी।"

इस बीच सोमवार को पश्चिम बंगाल के मंत्री फिरहाद हकीम ने कहा कि उन जजों द्वारा दिए गए फैसलों पर सवाल उठाए जा सकते हैं, जो न्यायपालिका छोड़कर राजनीति में आने का फैसला करते हैं।

हकीम ने कहा, "हमारे लिए न्यायपालिका एक भगवान की तरह है और यदि उनमें से कोई राजनीति में प्रवेश करता है, तो यह उनके द्वारा दिए गए पिछले निर्णयों पर सवाल उठाता है। हम चाहते हैं कि एक न्यायाधीश निष्पक्ष हो। एक न्यायाधीश जो समाज के लिए सोचता है और बिना किसी पूर्वाग्रह, भेदभाव के निर्णय देता है।“

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