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'मजदूर निजी संपत्ति नहीं', राहुल गांधी का CM योगी आदित्यनाथ पर पलटवार

By स्वाति सिंह | Updated: May 26, 2020 17:41 IST

इसके साथ कांग्रेस सांसद राहुल गांधी के प्रवासी मजदूरों के साथ वाली तस्वीर पर तंज करते हुए निर्मला सीतारमण ने कहा था- वे ड्रामेबाजी करते हैं,अगर सीरियस होते तो उनका कुछ बोझ उठा लेते।' राहुल गांधी ने जब आज वीडियो कांफ्रेंस में इसपर सवाल किया गया तो उन्होंने कहा, अगर इजाजत मिले तो वह 10-15 मजदूरों का बैग उठाकर पैदल उत्तर प्रदेश निकल जाऐंगे। 

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ठळक मुद्देराहुल गांधी ने मंगलवार को यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के बयान ''बेतुका" बताया हैCM योगी ने कहा था कि यूपी के मज़दूरों को काम देने से पहले यूपी सरकार से अनुमति लेनी होगी।

नई दिल्ली:कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने मंगलवार को यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के बयान ''बेतुका" बताया है जिसमें यूपी के मज़दूरों को काम देने से पहले यूपी सरकार से अनुमति लेनी होगी। उन्होने कहा कि भारत के किसी भी नागरिक को देश के किसी भी हिस्से में अपने भविष्य को संवारने के लिए जाने का अधिकार है। राहुल गांधी ने कहा कि कोरना वायरस को क़ाबू करने में सरकार को बहुत कामयाबी नहीं मिली है। लेकिन सरकार को अब कम से कम मज़दूरों की सुध लेनी चाहिए। 

इसके साथ कांग्रेस सांसद राहुल गांधी के  प्रवासी मजदूरों के साथ वाली तस्वीर पर तंज करते हुए निर्मला सीतारमण ने कहा था- वे ड्रामेबाजी करते हैं, अगर सीरियस होते तो उनका कुछ बोझ उठा लेते।' राहुल गांधी ने जब आज वीडियो कांफ्रेंस में इसपर सवाल किया गया तो उन्होंने कहा, अगर इजाजत मिले तो वह 10-15 मजदूरों का बैग उठाकर पैदल उत्तर प्रदेश निकल जाऐंगे। 

राहुल गांधी ने कहा, अगर वे मुझे परमिशन दें तो मैं जरूर बैग उठाकर ले जाऊं।' कांग्रेस ने अपने अधिकारिक ट्विटर हैंडल पर भी राहुल गांधी के इस बयान को साझा किया है। राहुल गांधी ने कहा, ''मजदूरों से बातचीत करने का मेरा लक्ष्य है, उनके दिल के भाव समझना। उनकी जानकारी से मुझे फायदा मिलता है। बाकी मैं मदद करता रहता हूं। रही बात बैग उठाने की, तो वो अनुमति दे तो मैं एक नहीं 10-15 के बैग उठाकर ले जाऊंगा।

राहुल गांधी ने आज के वीडियो कांफ्रेंस में जानें और क्या-क्या कहा? 

- कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने देश में चार चरणों में लगाए गए लॉकडाउन का लक्ष्य पूरा नहीं होने का दावा करते हुए मंगलवार (26 मई) को कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को बताना चाहिए कि ‘विफल लॉकडाउन’ के बाद अब कोरोना संकट से निपटने और जरूरतमंदों को मदद देने के लिए उनकी रणनीति क्या है?

- राहुल गांधी ने कहा, अगर गरीबों, मजदूरों और छोटे एवं मझोले कारोबारों की तत्काल मदद नहीं की गई तो यह घातक साबित होगा और ऐसे में केंद्र सरकार को देश के आर्थिक रूप से कमजोर 50 प्रतिशत लोगों (13 करोड़ परिवार) को तत्काल 7500 रुपये मासिक की नकद सहायता तथा राज्यों को उचित मदद करनी चाहिए। 

- राहुल गांधी ने कहा- मोदी जी ने 21 दिन में कोरोना की लड़ाई जीतने की बात कही थी। लगभग 60 दिन हो चुके हैं। हिंदुस्तान पहला देश है, जो बीमारी के बढ़ने के बाद लॉकडाउन हटा रहा है। दुनिया के बाकी देशों ने लॉकडाउन तब हटाया, जब बीमारी कम होनी शुरू हुई।

राहुल गांधी ने कहा, ऐसे में ये स्पष्ट है कि हमारे यहां लॉकडाउन विफल हो गया है। जो लक्ष्य मोदी जी का था, वो पूरा नहीं हुआ। अगर लॉकडाउन के बारे में प्रधानमंत्री जी से भी पूछा जाएगा, तो वो भी मानेंगे कि ये विफल हो गया।

डी के शिवकुमार ने योगी आदित्यनाथ से कही ये बात 

कर्नाटक कांग्रेस ने उत्तर प्रदेश सरकार के इस फैसले को मंगलवार को "असंवैधानिक" बताया कि अन्य राज्यों को उसके मूल निवासियों को रोजगार देने के लिए अनुमति लेनी चाहिए। इसके साथ ही पार्टी ने कहा कि इस तरह की कार्रवाई में व्यावहारिक बुद्धि की कमी है तथा इससे राज्य के लोगों की परेशानी बढ़ेगी।  

कर्नाटक कांग्रेस अध्यक्ष डी के शिवकुमार ने कई ट्वीट कर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर निशाना साधा और कहा, ‘‘उत्तर प्रदेश उनकी सरकार की निजी संपत्ति नहीं है।’’ उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश के लोगों को काम पर रखे जाने से रोकने का योगी आदित्यनाथ का कदम असंवैधानिक है और यह आवाजाही की स्वतंत्रता के अधिकार के खिलाफ है।

उन्होंने कहा, ‘‘श्री योगी, कृपया ध्यान दें कि उप्र आपकी सरकार की निजी संपत्ति नहीं है।’’ शिवकुमार ने ट्वीट किया कि उत्तर प्रदेश के लोगों को भारत में कहीं भी काम करने के लिए आपकी अनुमति की आवश्यकता नहीं है। उन्होंने कहा, ‘‘श्री योगी लोकतंत्र में शासन के बुनियादी नियमों को नहीं समझते हैं।’’ कांग्रेस नेता ने एक अन्य ट्वीट में कहा, ‘‘ इस तरह की कार्रवाइयों में व्यावहारिक बुद्धि की कमी है और इससे प्रदेश के लोगों को अधिक नुकसान होगा... जब यह भाजपा के लिए सुविधाजनक है, तो यह एक राष्ट्र है। जब ऐसा नहीं है, तो यह अलग-अलग राज्य और अलग-अलग लोग हैं। पाखंड की पराकाष्ठा है!"

टॅग्स :कोरोना वायरसराहुल गांधीकांग्रेस
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