नीतीश कुमार जी मुख्यमंत्री पद की कुर्सी बचाए रखें, आपको मेरी शुभकामनाएं, भगवान भला करेः प्रशांत किशोर

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: January 29, 2020 04:43 PM2020-01-29T16:43:36+5:302020-01-29T18:24:40+5:30

बता दें कि पवन वर्मा और प्रशांत किशोर लगातार नागरिकता संशोधित कानून (सीएए) और एनआरसी के खिलाफ बोल रहे थे, जिसको लेकर नीतीश कुमार ने उन्हें चेतावनी भी दी थी। 

Keep the chair of the Chief Minister of Bihar, my best wishes to you, God bless you: Prashant | नीतीश कुमार जी मुख्यमंत्री पद की कुर्सी बचाए रखें, आपको मेरी शुभकामनाएं, भगवान भला करेः प्रशांत किशोर

पार्टी ने नेता प्रशांत किशोर और पवन वर्मा को 'विरोधी गतिविधियों' में लिप्त होने के कारण पार्टी से निष्कासित कर दिया गया है। 

Highlightsप्रशांत किशोर को लेकर नीतीश कुमार ने कहा था कि बीजेपी नेता अमित शाह के कहने पर उन्हें पार्टी में शामिल किया था।प्रशांत किशोर ने नीतीश कुमार पर हमला बोल दिया था। उन्होंने ट्वीट कर कहा था कि आप झूठ बोलकर कहां तक गिरेंगे।

जनता दल यूनाइटेड (जेडीयू) ने प्रशांत किशोर और पवन वर्मा को पार्टी से बाहर का रास्ता दिखा दिया है। पार्टी ने नेता प्रशांत किशोर और पवन वर्मा को 'विरोधी गतिविधियों' में लिप्त होने के कारण पार्टी से निष्कासित कर दिया गया है। 

जदयू से अपने निष्कासन के तुरंत बाद प्रशांत किशोर ने बुधवार को पार्टी अध्यक्ष नीतीश कुमार पर निशाना साधते हुए उन्हें बिहार के मुख्यमंत्री पद पर ‘‘बरकरार’’ रहने को लेकर अपनी शुभकामनाएं दीं। जदयू से निष्कासन के तुरंत बाद किशोर ने कहा, ‘‘शुक्रिया नीतीश कुमार। मेरी शुभकामना है कि आप बिहार के मुख्यमंत्री पद पर बरकरार रहें। भगवान आपका भला करे।’’ किशोर जदयू के उपाध्यक्ष थे। संशोधित नागरिकता कानून और राष्ट्रीय जनसंख्या रजिस्टर के समर्थन को लेकर कुमार के रुख की आलोचना पर पार्टी ने उन्हें निष्कासित कर दिया।

इस बीच, प्रशांत किशोर ने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर तंज कसते हुए कहा, आप बिहार के मुख्यमंत्री पद की कुर्सी बचाए रखें। आपको मेरी शुभकामनाएं। भगवान आपका भला करे। बता दें कि पवन वर्मा और प्रशांत किशोर लगातार नागरिकता संशोधित कानून (सीएए) और एनआरसी के खिलाफ बोल रहे थे, जिसको लेकर नीतीश कुमार ने उन्हें चेतावनी भी दी थी। 

पार्टी से नाखुश नेता पवन वर्मा के लिए और असहज स्थिति पैदा करते हुए बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा था कि राजनयिक से नेता बने वर्मा के पत्र का कोई ‘महत्व और मतलब नहीं’ है। इसलिए वह जवाब के लायक नहीं है। वर्मा जदयू महासचिव के महासचिव थे। उन्होंने कहा था कि मुख्यमंत्री से जवाब मिलने के बाद ही वह पार्टी में बने रहने के बारे में कोई निर्णय लेंगे। इस पर जदयू प्रमुख कुमार ने उन्हें झिड़की लगायी थी।

इधर, जेडीयू में उपाध्यक्ष पद पर रहे प्रशांत किशोर को लेकर नीतीश कुमार ने कहा था कि बीजेपी नेता अमित शाह के कहने पर उन्हें पार्टी में शामिल किया था। इस पर प्रशांत किशोर ने नीतीश कुमार पर हमला बोल दिया था। उन्होंने ट्वीट कर कहा था कि आप झूठ बोलकर कहां तक गिरेंगे।

उन्होंने कहा था कि मेरे जेडीयू जॉइन करने के बारे में झूठ बोलकर आप कहां तक गिरेंगे। आपने मुझे अपने रंग में रंगने की बहुत ही तुच्छ हरकत की है। और अगर आप सच कह रहे हैं तो अब कौन विश्वास करेगा कि आप अमित शाह की बात न मानने का भी साहस कर सकते हैं?'

बता दें प्रशांत किशोर के दिल्ली विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी के लिए बतौर रणनीतिकार काम करने को लेकर मंगलवार को मुख्यमंत्री उन्होंने तल्खी दिखाई। उन्होंने कहा, 'प्रशांत किशोर हमारी पार्टी में कैसे आए... अमित शाह जी बोले ज्वॉइन कराओ, तो हमने ज्वॉइन कराया।

हमारी पार्टी में हैं, लेकिन चुनाव रणनीतिकार के रूप में किसी का काम करते हैं, खबरों में है कि आम आदमी पार्टी के लिए काम करते हैं। अब उनका मन कहीं जाने का होगा, तो जाएंगे। पार्टी में रहेंगे तो भी ठीक, नहीं रहेंगे तो भी ठीक। रहेंगे तो पार्टी के बुनियादी ढांचे का काम उन्हें देखना चाहिए।

Web Title: Keep the chair of the Chief Minister of Bihar, my best wishes to you, God bless you: Prashant

भारत से जुड़ीहिंदी खबरोंऔर देश दुनिया खबरोंके लिए यहाँ क्लिक करे.यूट्यूब चैनल यहाँ इब करें और देखें हमारा एक्सक्लूसिव वीडियो कंटेंट. सोशल से जुड़ने के लिए हमारा Facebook Pageलाइक करे