झारखंडः विवाद के बाद जामताड़ा के 40 से ज्यादा स्कूलों ने रविवार की छुट्टी बहाल की, शुक्रवार को होता था साप्ताहिक अवकाश
By अनिल शर्मा | Published: July 14, 2022 07:04 AM2022-07-14T07:04:40+5:302022-07-14T07:11:52+5:30
जिला शिक्षा अधिकारी अभय शंकर ने बताया कि लॉकडाउन के दौरान इन स्कूलों को साप्ताहिक छुट्टी रविवार से बदलकर शुक्रवार को रखने के लिए मजबूर किया गया था। उन्होंने कहा कि जिला स्कूल प्रबंधन समिति को भंग कर दिया गया है और जल्द ही नयी समिति गठित की जाएगी।
जमशेदपुरः झारखंड के जामताड़ा जिले के करीब 40 स्कूलों ने बुधवार को कहा कि वे रविवार की साप्ताहिक छुट्टी को बहाल करेंगे। गौरतलब है कि इन स्कूलों ने साप्ताहिक छुट्टी शुक्रवार को रखने की शुरुआत की थी। मामला सामने आने के बाद बढ़े विवाद के बीच राज्य के शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो ने जामताड़ा जिले के कुछ सरकारी स्कूलों में शुक्रवार को छुट्टी घोषित किए जाने पर नाराजगी जताई थी। उन्होंने मामले की जांच कर एक सप्ताह में रिपोर्ट मांगी।
लॉकडाउन के दौरान बदली गई थी साप्ताहिक छुट्टी!
जिला शिक्षा अधिकारी अभय शंकर ने बताया कि लॉकडाउन के दौरान इन स्कूलों को साप्ताहिक छुट्टी रविवार से बदलकर शुक्रवार को रखने के लिए मजबूर किया गया था। उन्होंने कहा कि जिला स्कूल प्रबंधन समिति को भंग कर दिया गया है और जल्द ही नयी समिति गठित की जाएगी।
कांग्रेस ने छुट्टी बदलने वालों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की
इस बीच, कांग्रेस ने स्कूलों की साप्ताहिक छुट्टी बदलने के लिए मजबूर करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है। कांग्रेस नेता अजय कुमार ने इस संबंध में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को एक पत्र लिखा और इस फैसले के लिए जिम्मेदार समाज-विरोधी तत्वों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की।
शिक्षा मंत्री ने अधिकारियों से रिपोर्ट मांगा थी
बीते दिनों शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो ने जिला शिक्षा अधिकारियों (डीईओ), जिला शिक्षक अधीक्षकों (डीएसई) और सभी प्रखंड शिक्षा अधिकारियों (बीईओ) के साथ ब्लॉक संस्थान केंद्र (बीआरएसी) और क्लस्टर संसाधन केंद्र (सीआरसी) से जुड़े अधिकारियों से रिपोर्ट तलब किया।
इन स्कूलों में करीब 70 फीसदी छात्र मुस्लिम समुदाय के हैं
बता दें झारखंड के जामताड़ा जिले के करमाटांड, नारायणपुर और जामताड़ा प्रखंड के 100 प्राथमिक विद्यालयों के छात्रों को ऐसे स्कूलों में मुस्लिम आबादी का हवाला देते हुए रविवार के बजाय शुक्रवार को अवकाश दिया जा रहा है। इन स्कूलों में करीब 70 फीसदी छात्र मुस्लिम समुदाय के हैं। सूत्रों ने बताया कि जामताड़ा के विभिन्न स्कूलों में दोपहर का भोजन उपलब्ध कराने के लिए जो डायट चार्ट बोर्ड लगाया गया है, उसमें भी अलग-अलग दिनों के भोजन की सूची दी गई है। इस बोर्ड में यह भी लिखा गया था कि जुम्मा के दिन स्कूल में छुट्टी रहेगी।
हाल ही में, गढ़वा में पारंपरिक स्कूल प्रार्थना पैटर्न को बदलकर और बच्चों को प्रार्थना के दौरान हाथ न मिलाने के लिए मजबूर कर नाबालिग स्कूली बच्चों पर शरीयत और इस्लामी प्रथाओं को लागू करने के प्रयास किए गए थे, लेकिन जिला प्रशासन के हस्तक्षेप के बाद, इसे चार महीने बाद बहाल कर दिया गया था।
भाषा इनपुट के साथ