झारखंडः पूर्व CM मधु कोड़ा एक और मामले फंसे, बढ़ सकती हैं मुश्किलें

By एस पी सिन्हा | Published: January 10, 2019 08:52 PM2019-01-10T20:52:42+5:302019-01-10T20:52:42+5:30

सीबीआई कोर्ट में धारा 409, 420, 467, 468, 471, 120बी एवं भ्रष्टाचार निरोधक अधिनियम की धारा 11, 12, 13(2) व 13(1)(डी) के तहत आरोप गठन की कार्रवाई पूरी हुई. इस दौरान पूर्व मुख्यमंत्री कोर्ट में उपस्थित थे. 

Jharkhand Chief Minister Madhu Koda cbi Rajiv Gandhi Grameen Vidyutikaran scam | झारखंडः पूर्व CM मधु कोड़ा एक और मामले फंसे, बढ़ सकती हैं मुश्किलें

झारखंडः पूर्व CM मधु कोड़ा एक और मामले फंसे, बढ़ सकती हैं मुश्किलें

कोयला खदान आवंटन घोटाला और आय से अधिक संपत्ति के मामले में बुरी तरह घिर चुके झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री मधु कोड़ा एक और मामले में फंस गये हैं. सीबीआई की विशेष अदालत ने राजीव गांधी ग्रामीण विद्युतीकरण घोटाला मामले में कोड़ा एवं उनके सहयोगी बिनोद कुमार सिन्हा के खिलाफ आरोप गठित कर दिया है. 

सीबीआई कोर्ट में धारा 409, 420, 467, 468, 471, 120बी एवं भ्रष्टाचार निरोधक अधिनियम की धारा 11, 12, 13(2) व 13(1)(डी) के तहत आरोप गठन की कार्रवाई पूरी हुई. इस दौरान पूर्व मुख्यमंत्री कोर्ट में उपस्थित थे. 

दरअसल, राजीव गांधी ग्रामीण विद्युतीकरण योजना के तहत झारखंड के पलामू, लातेहार और गढवा जिलों में विद्युतीकरण होना था. लेकिन झारखंड राज्य विद्युत बोर्ड ने हैदराबाद की कम्पनी आईवीआरसीएल को गलत ढंग से इस काम का ठेका दिया. 

आरोप है कि इसमें तत्कालीन मुख्यमंत्री मधु कोड़ा को 11.40 करोड़ रुपए घूस दिये गये थे. इस घोटाले को लेकर सबसे पहले निगरानी ब्यूरो ने 30 अगस्त 2010 को प्राथमिकी दर्ज की थी. इसमें मधु कोड़ा, विनोद सिन्हा समेत 29 लोगों को आरोपी बनाया गया था. बाद में हाईकोर्ट के आदेश पर केस की सीबीआई जांच शुरू हुई. 

कोर्ट ने इस मामले में अभियोजन पक्ष को गवाह पेश करने के लिए एक फरवरी की तारीख तय की है. विशेष न्यायाधीश अनिल कुमार मिश्रा की अदालत ने दोनों आरोपियों कोड़ा एवं सिन्हा से विद्युतीकरण घोटाला से संबंधित सवाल किये तो उन्होंने इसमें अपनी संलिप्तता से इन्कार किया. 

कोड़ा ने कहा कि सीबीआई उनके खिलाफ कोई साक्ष्य नहीं पेश कर पाई. दोनों पक्षों को सुनने के बाद विशेष जज ने आरोप गठित कर दिये. इसके साथ ही कोर्ट ने इस मामले में अभियोजन को गवाह प्रस्तुत करने के लिए एक फरवरी तक का वक्त दिया.

उल्लेखनीय है कि करीब 468 करोड़ रुपये की राजीव गांधी ग्रामीण विद्युतीकरण योजना से पलामू, लातेहार, गढवा जैसे इलाके में विद्युतीकरण किया जाना था. इसका ठेका झारखंड राज्य विद्युत बोर्ड ने गलत ढंग से हैदराबाद की ब्लैक लिस्टेड कंपनी आइवीआरसीएल को दे दिया. 

तत्कालीन मुख्यमंत्री मधु कोड़ा पर विद्युतीकरण का ठेका देने के लिए आइवीआरसीएल से मुंबई में 11.40 करोड रुपये घूस लेने का आरोप लगा. निगरानी ब्यूरो ने इस मामले में 30 अगस्त, 2010 को कांड संख्या 38/10 के तहत सबसे पहले प्राथमिकी दर्ज की. इसमें मधु कोड़ा, बिनोद सिन्हा समेत 29 लोगों को नामजद किया गया. बाद में हाइकोर्ट के आदेश पर केस की सीबीआई जांच शुरू हुई. मधु कोड़ा इस मामले में ढाई साल तक जेल में बिता चुके हैं. उन्हें 30 जुलाई, 2013 को जमानत मिली थी.

Web Title: Jharkhand Chief Minister Madhu Koda cbi Rajiv Gandhi Grameen Vidyutikaran scam

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