गैर-स्थानीय लोगों को निवास प्रमाण पत्र जारी करने के आदेश को जम्मू प्रशासन ने लिया वापस, जमकर हो रहा था विरोध
By मनाली रस्तोगी | Updated: October 13, 2022 07:39 IST2022-10-13T07:38:16+5:302022-10-13T07:39:35+5:30
पीडीपी, नेशनल कांफ्रेंस और कांग्रेस समेत राजनीतिक दलों ने इस आदेश का विरोध किया था। पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) की प्रमुख महबूबा मुफ्ती ने कहा कि जम्मू-कश्मीर के एक मतदाता के वोट की कीमत खत्म हो जाएगी।

(फोटो क्रेडिट- ANI)
श्रीनगर: जम्मू के उपायुक्त ने उस अधिसूचना को वापस ले लिया है जिसमें सभी तहसीलदारों को जम्मू में रहने वाले लोगों को एक वर्ष से अधिक समय से निवास का प्रमाण पत्र जारी करने के लिए अधिकृत किया गया था। जम्मू प्रशासन द्वारा मंगलवार को सभी तहसीलदारों (राजस्व अधिकारियों) को एक वर्ष से अधिक समय से जिले में रहने वाले लोगों को निवास का प्रमाण पत्र जारी करने के लिए अधिकृत करने का आदेश जारी किया गया था।
निवास प्रमाण पत्र का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना था कि मतदाता सूची के चल रहे विशेष सारांश पुनरीक्षण में कोई भी पात्र मतदाता पंजीकरण के लिए न छूटे। पीडीपी, नेशनल कांफ्रेंस और कांग्रेस समेत राजनीतिक दलों ने इस आदेश का विरोध किया था। पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) की प्रमुख महबूबा मुफ्ती ने कहा कि जम्मू-कश्मीर के एक मतदाता के वोट की कीमत खत्म हो जाएगी।
उन्होंने कहा कि यह कानून जम्मू-कश्मीर को छोड़कर देश में कहीं भी लागू नहीं होता है और भाजपा जम्मू-कश्मीर के मूल नागरिकों को मिटाकर बाहरी लोगों को बसाना चाहती है। मुफ्ती ने ये भी कहा कि परिसीमन की मदद से उन्होंने रणनीतिक रूप से निर्वाचन क्षेत्र को इस तरह से विभाजित करने की योजना बनाई कि यह भाजपा के वोट के पक्ष में हो, लेकिन जम्मू-कश्मीर के लोगों ने पाया कि भाजपा इसका इस्तेमाल वोट हासिल करने के लिए कर रही है।
कुलगाम में मीडियाकर्मियों से बात करते हुए पीडीपी प्रमुख ने कहा, "इसका मतलब है कि जम्मू-कश्मीर के मतदाता के वोट का मूल्य समाप्त हो जाएगा।" उन्होंने आगे कहा कि मैं 23 साल से कह रही हूं कि भाजपा की धारा 370 को खत्म करने की इच्छा नाजायज है। वे जम्मू-कश्मीर के नागरिकों को खत्म करना चाहते हैं।
मुफ्ती ने कहा कि अगर केंद्र शासित प्रदेश के लोग बाहर से आकर वहां बस जाते हैं तो जम्मू-कश्मीर के लोगों की संस्कृति, समाज और रोजगार खत्म हो जाएगा। जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने ये भी कहा कि अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के बाद से जम्मू और कश्मीर में पहले से ही उच्च अपराध दर है। भाजपा यूटी के समुदायों के बीच टकराव पैदा करना चाहती है। जम्मू-कश्मीर के लोगों को यह समझने की जरूरत है कि हमारा भाग्य अद्वितीय है।