हमारी एक इंच जमीन पर भी कोई कब्जा नहीं कर सकता, शाह ने आईटीबीपी को ‘‘हिमवीर’’ करार दिया
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: December 31, 2022 03:56 PM2022-12-31T15:56:45+5:302022-12-31T15:57:32+5:30
आईटीबीपी जवानों की प्रशंसा करते हुए उन्होंने कहा कि वे कठिन परिस्थितियों में सीमाओं की रक्षा करते हैं और उनके लिए ‘हिमवीर’ की उपाधि पद्म श्री और पद्म विभूषण से बड़ी है।
बेंगलुरुः केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने शनिवार को भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) की सराहना करते हुए उन्हें ‘‘हिमवीर’’ करार दिया और कहा कि जब वे सीमा पर गश्त कर रहे हैं, तो कोई देश की एक इंच जमीन पर भी अतिक्रमण नहीं कर सकता।
आईटीबीपी जवानों की प्रशंसा करते हुए उन्होंने कहा कि वे कठिन परिस्थितियों में सीमाओं की रक्षा करते हैं और उनके लिए ‘हिमवीर’ की उपाधि पद्म श्री और पद्म विभूषण से बड़ी है। शाह ने यहां आईटीबीपी के केंद्रीय गुप्तचर प्रशिक्षण संस्थान का उद्घाटन करने के बाद कहा, ‘‘हम सोच भी नहीं सकते कि शून्य से 42 डिग्री सेल्सियस से नीचे तापमान में वे कैसे हमारी सीमाओं की रक्षा करते हैं।
यह दृढ़ इच्छाशक्ति और देशभक्ति की सर्वोच्च सेवा की भावना के साथ ही हो सकता है। आईटीबीपी अरुणाचल प्रदेश, लद्दाख या जम्मू-कश्मीर में विषम भौगोलिक परिस्थितियों में काम करती है।’’ शाह ने कहा, ‘‘भारत के लोग आईटीबीपी के जवानों को ‘हिमवीर’ कहकर बुलाते हैं। यह उपाधि पद्म श्री और पद्म विभूषण जैसे नागरिक पुरस्कारों से भी बड़ी है।
Never worry about India-China border as ITBP guards them and none can take an inch: Amit Shah
— ANI Digital (@ani_digital) December 31, 2022
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जबकि, नागरिक पुरस्कार सरकारी उपाधि हैं, ‘हिमवीर’ भारत के लोगों द्वारा दी गई उपाधि है।’’ उन्होंने कहा कि सभी केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों में से आईटीपीबी मौसम की सबसे विषम परिस्थितियों में काम करता है। गृह मंत्री ने कहा, ‘‘मैं भारत-चीन सीमा को लेकर पूरी तरह आश्वस्त हूं।
कभी चिंता नहीं करता, जब हमारे आईटीबीपी के जवान गश्त या डेरा डाले हुए हैं, तो वहां कोई भी हमारी एक इंच जमीन पर भी अतिक्रमण नहीं कर सकता है।’’ उन्होंने कहा कि भारत सरकार केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (सीएपीएफ) के कर्मियों को अपने मुख्यालय में अपने परिवार के साथ समय बिताने के लिए 100 दिन प्रदान करने की योजना बना रही है। शाह ने कहा, ‘‘मानवीय दृष्टिकोण से यह आवश्यक है।’’