Independence Day 75th anniversary: रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने भारत के स्वतंत्रता दिवस की 75वीं वर्षगांठ पर शुक्रवार को कई कार्यक्रमों की ऑनलाइन शुरुआत की। उन्होंने एक भाषण में कहा, ‘‘ऐसे कार्यक्रमों से न केवल राष्ट्रीय चेतना जागृत होती है बल्कि देश का स्वाभिमान भी बढ़ता है।’’
एक कार्यक्रम सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) के लिए शुरू किया गया है जिसकी 75 टीमें शुक्रवार को देश के 75 सुदूर सीमावर्ती क्षेत्रों के लिए रवाना होंगी जहां वे 15 अगस्त को झंडा फहराएंगे। भारतीय तटरक्षक बल ‘आजादी का अमृत महोत्सव’ के तहत पूरे देश में सौ द्वीपों पर राष्ट्रीय झंडा फहराएगा।
सिंह ने कहा कि देश की एकता, अखंडता और संप्रभुता बनाए रखने के लिए यह महत्वपूर्ण है कि नागरिकों में स्वाभिमान की भावना जागृत हो और शुक्रवार को शुरू होने वाले कार्यक्रम का यही उद्देश्य है। उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय स्वाभिमान की यह भावना अगर चंद्रशेखर आजाद, सरदार भगत सिंह, खुदीराम बोस, अशफाकउल्ला खान में नहीं होती तो क्या देश ‘आजादी का अमृत महोत्सव’ मनाने में सक्षम होता?
भारत स्वतंत्रता दिवस की 75वें वर्षगांठ पर ‘आजादी का अमृत महोत्सव’ मना रहा है। सिंह ने शुक्रवार को सेना की 75 टीमों को हरी झंडी दिखाई जो इस अवसर पर 75 पहाड़ी दर्रों से गुजरेंगे। ये दर्रे हैं लद्दाख क्षेत्र में सासेरला दर्रा, कारगिल क्षेत्र में स्टाकपोचान दर्रा, उत्तराखंड में सतोपंथ, हर्षिल, सिक्किम में फीम कर्नला और अरुणाचल प्रदेश में प्वाइंट 4493 तथा तवांग क्षेत्र। सिंह ने राष्ट्रीय कैडेट कोर (एनसीसी) का एक कार्यक्रम भी शुरू किया जहां इसके कैडेट स्वतंत्रता सेनानियों की 825 प्रतिमाओं की सफाई करेंगे। इसके अलावा उन्होंने कई अन्य कार्यक्रमों की भी शुरुआत की।
थल सेना ने जम्मू कश्मीर में 100 फुट ऊंचा तिरंगा राष्ट्र को समर्पित किया
भारतीय थल सेना ने 75 वें स्वतंत्रता दिवस समारोहों के तहत जम्मू कश्मीर के मशहूर स्की रिजॉर्ट गुलमर्ग में मंगलवार को 100 फुट ऊंचा तिरंगा राष्ट्र को समर्पित किया। श्रीनगर में रक्षा प्रवक्ता कर्नल एमरॉन मुसावी ने कहा, ‘‘स्वतंत्रता के 75 वर्ष पूरा होने पर मनाये जा रहे समारोहों के तहत एक सादे समारोह में गुलमर्ग में राष्ट्र को 100 फुट ऊंचा राष्ट्रध्वज समर्पित किया गया।
समारोह की अध्यक्षता सेना कमांडर, उत्तरी कमान, लेफ्टिनेंट जनरल वाई. के. जोशी ने की।’’ उन्होंने कहा कि बारामुला जिले के गुलमर्ग में यह ध्वज सैलानियों के आकर्षण का एक और केंद्र बनेगा। समारोह के दौरान सेना कमांडर ने कहा कि यह ध्वज उन अनगिनत कश्मीरियों को श्रद्धांजलि है जिन्होंने राष्ट्र की एकता एवं अखंडता की रक्षा करते हुए बलिदान दिया है।
प्रवक्ता ने कहा कि गुलमर्ग नियंत्रण रेखा पर स्थित उन स्थानों में एक था, जहां पाकिस्तानी सैनिकों ने 1965 में घुसपैठ की थी और एक युवा गड़रिया, मोहम्मद दीन, की सूझबूझ और उसके द्वारा तुरंत सुरक्षा बलों को इस बारे में सतर्क किये जाने पर भारतीय थल सेना को पाकिस्तान के नापाक मंसूबों को परास्त करने में काफी मदद मिली थी। कर्नल मुसावी ने कहा कि जोशी ने राष्ट्र की सेवा में बलिदान देने वाले सैनिकों के परिजनों को भी सम्मानित किया।
थलसेना एवं वायुसेना ने आगरा के बीओसी मैदान पर मनाया आजादी का अमृत महोत्सव
भारतीय थलसेना एवं वायुसेना ने शुक्रवार को संयुक्त रूप से आगरा के बीओसी मैदान पर आजादी का अमृत महोत्सव मनाया। इसमें सेना की मध्य कमान के प्रमुख अतिविशिष्ट सेवा मेडल प्राप्त लेफ्टिनेंट जनरल योगेंद्र डिमरी तथा मध्य वायु कमान के प्रमुख एयर मार्शल आरके डकवर्थ तथा अनेक वरिष्ठ सैन्य अधिकारियों, उनके परिजनों एवं पूर्व अधिकारियों ने भाग लिया। समारोह की शुरुआत शत्रुजीत ब्रिगेड के पैराकमांडो की उड़ान से हुई, जिसमें चार जवान पैराशूट पर तिरंगा एवं ब्रिगेड का झण्डा लगाए हुए ऊपर से गुजरे।
इसके बाद 75 जवानों ने वायुसेना के तीन अलग-अलग परिवहन विमानों से नौ हजार फुट की ऊंचाई से कूद कर अपने साहस और कौशल का प्रदर्शन किया। तत्पश्चात सैन्य विद्यालय के बच्चों ने सांस्कृतिक प्रस्तुतियां दीं। लेफ्टिनेंट जनरल योगेंद्र डिमरी ने देश के लिए अपना सर्वस्व बलिदान करने वाले शत्रुजीत ब्रिगेड के 724 शहीदों के बलिदान को याद करते हुए उन्हें शत्रुजीत युद्ध स्मारक पर श्रद्धांजलि अर्पित की और समारोह का समापन किया।
इस मौके पर बीएमपी मैदान पर शत्रुजीत ब्रिगेड द्वारा प्रयोग किए जाने अत्याधुनिक हथियारों एवं तकनीकि उपकरणों की प्रदर्शनी लगाई गई थी। आगरा के मण्डल आयुक्त अमित गुप्ता, अपर पुलिस महानिदेशक राजीव कृष्ण आदि अनेक विशिष्टजन भी इस कार्यक्रम में मौजूद थे।