गीता फोगाट के निजी फिजियो परमजीत मलिक ने कहा- तीन जूनियर पहलवानों ने बताया...
By अंजली चौहान | Published: April 28, 2023 03:47 PM2023-04-28T15:47:39+5:302023-04-28T15:47:39+5:30
जंतर-मंतर पर बृज भूषण शरण सिंह के खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर रही महिला पहलवानों के समर्थन में फिजियोथेरेपिस्ट ने दावा किया है कि साल 2014 के कैंप में कुछ पहलवानों के साथ शोषण हुआ था
नई दिल्ली: भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष और भारतीय जनता पार्टी के सांसद बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ यौन शोषण के आरोपों को लेकर विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है।
इस बीच, बृजभूषण सिंह की मुश्किलें और बढ़ सकती है क्योंकि पहलवानों के साथ-साथ अब डब्ल्यूएफआई के पूर्व फिजियोथेरेपिस्ट और गीता फोगाट के पर्सनल ट्रेनर रहे परमजीत मलिक द्वारा भी कई गंभीर आरोप लगाए गए हैं।
महिला पहलवानों का समर्थन करते हुए जंतर-मंतर पर धरने पर बैठे परमजीत मलिक ने द इंडियन एक्सप्रेस से बात करते हुए कहा कि साल 2014 के लखनऊ कैंप के दौरान तीन महिला पहलवानों ने उन्हें बताया था कि उन्हें रात के समय जबरन कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष से मिलने के लिए बुलाया गया है।
महिला पहलवानों पर बनाया गया दवाब- परमजीत मलिक
दरअसल, साल 2014 में पहलवानों के लिए राष्ट्रीय शिविर आयोजित किया गया था। जिसमें परमजीत मलिक वर्ल्ड चैंपियनशिप की विजेता गीता फोगाट के पर्सनल फिजियो के रूप में नियुक्त किए गए थे।
इस कैंप के दौरान हुई घटनाओं को लेकर खुलासा करते हुए परमजीत मलिक ने कहा कि तीन जूनियर महिला पहलवानों ने उन्हें बताया था कि उन पर 'दवाब' बनाया जा रहा है कि वह रात के समय बृजभूषण सिंह के पास जाए और उनसे मिले।
लखनऊ कैंप 2014 का जिक्र करते हुए परमजीत मलिक ने बताया कि भारतीय खेल प्राधिकरण (एसएआई) में से तीन से चार महिला पहलवानों को निकलते देखा। उन्होंने कहा, "ये पहलवान रात के करीब 10 बजे शिविर से निकली थीं। मैंने देखा कि कार लेकर कुछ लोग खड़े हो जिसमें बृज भूषण सिंह का ड्राइवर भी शामिल है।"
उन महिला पहलवानों ने मलिक से कहा कि उन पर दवाब बनाया गया कि वह रात के समय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष से मिलने जाए। रोते-रोते महिला पहलवानों ने अपनी सीनियर पहलवानों को अपनी आपबीती बताई।
परमजीत ने महिला खिलाड़ियों के आरोपों को उस वक्त की चीफ कोच कुलदीप मलिक के सामने रखा था बावजूद इसके आरोपियों पर कोई कार्रवाई नहीं हुई।
परमजीत मलिक ने बताया कि वह खेल मंत्रालय द्वारा गठित जांच समिति के सामने फरवरी में दो बार पेश हो चुके हैं। इस दौरान उन्होंने 2014 में कैंप में जो कुछ हुआ उसके बारे में समिति को बताया था।
हालांकि, इस बीच सवाल उठ रहे हैं कि साल 2014 की घटना को लेकर ये महिला पहलवान उस समय क्यों आगे नहीं आई और अब क्यों इस मुद्दे को उठाया जा रहा है।
इस सवाल पर मलिक ने पहलवानों का पक्ष रखते हुए कहा कि पहलवानों को डर था कि उनका नाम राष्ट्रीय कैंप की सूची से हटा दिया जाएगा और उन्हें खेल में भाग लेने नहीं दिया जाएगा।
मलिक का कहना है कि इस बारे में उन्होंने खेल मंत्रालय की बनाई जांच समिति टीम को पूरी घटना बताई थी जिस पर समिति के सदस्य योगेश दत्त ने आरोपों के खिलाफ सबूत मांगे थे।
हालांकि, बॉक्सर मैरी कॉम के समिति में शामिल होने के बाद उन्होंने इस घटनाक्रम को लेकर सभी सबूत पेश किए और इसके साथ ही इस समय प्रदर्शन कर रहे पहलवानों में से एक पहलवान ने परमजीत के इन आरोपों की पुष्टि की है जो कि साल 2014 के कैंप में शामिल भी थी।
बता दें कि सात महिला पहलवानों ने जिसमें एक नाबालिग भी शामिल हैं, 21 अप्रैल को बृजभूषण सिंह के खिलाफ पुलिस से शिकायत दर्ज कराई थी।
अपनी शिकायत में पहलवानों ने अलग-अलग घटनाक्रम का जिक्र करते हुए साल 2012 से लेकर 2022 तक यौन शोषण के सभी मामलों को उजागर किया है। इनमें से कुछ घटनाएं ऐसी है जो कि बीजेपी सांसद बृज भूषण सिंह के दिल्ली स्थित आवास पर हुई हैं।
मालूम हो कि बृजभूषण सिंह के खिलाफ आरोप लगाने वालों में भारत के शीर्ष पहलवान शामिल हैं जिनमें ओलंपिक विजेता बजरंग पुनिया, साक्षी मलिक, विश्व चैंपियनशिप विजेता विनेश फोगाट आदि कई पहलवान शामिल हैं।