पुरखों के कार्यों पर गर्व नहीं कर सकते तो उन्हें अपमानित करने का भी अधिकार नहीं: बघेल

By भाषा | Updated: November 21, 2021 01:04 IST2021-11-21T01:04:29+5:302021-11-21T01:04:29+5:30

If you can't take pride in the works of your ancestors, you don't have the right to humiliate them: Baghel | पुरखों के कार्यों पर गर्व नहीं कर सकते तो उन्हें अपमानित करने का भी अधिकार नहीं: बघेल

पुरखों के कार्यों पर गर्व नहीं कर सकते तो उन्हें अपमानित करने का भी अधिकार नहीं: बघेल

रायपुर, 20 नवंबर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने शनिवार को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर परोक्ष रूप से निशाना साधते हुए कहा कि यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि कुछ लोग पिछले 70 वर्षों में देश की उपलब्धियों पर सवाल उठा रहे हैं।

बघेल ने कहा है कि यदि हम अपने पुरखों और बुर्जुगों के कार्यों पर गर्व नहीं कर सकते तो उन्हें अपमानित करने का अधिकार भी इस पीढ़ी को नहीं है।

रायपुर के एक होटल में शनिवार को प्रसिद्ध पत्रकार और लेखक रशीद किदवई की किताब ‘भारत के प्रधानमंत्री- देश, दशा और दिशा’ के विमोचन कार्यक्रम में बघेल ने कहा, ‘‘जिस समय देश आजाद हुआ तब सुई भी देश में नहीं बनती थी। आज कहते हैं कि 70 साल में इन सरकारों ने क्या किया।’’

मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘जब देश आजाद हुआ तब उस समय कुछ नहीं था। आज की पीढ़ी, पिछली पीढ़ी से सवाल करती है कि उन्होंने क्या किया? उनकी सेवाओं का, उनकी मेहनत का, उनकी त्याग और तपस्या का जो आज सिला दे रहे हैं, वह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है।’’

बघेल ने कहा, ‘‘यदि हम अपने पुरखों, बुर्जुगों के कार्यों पर गर्व नहीं कर सकते हैं तो उन्हें अपमानित करने का अधिकार भी इस पीढ़ी को नहीं है। जो केवल इतिहास में जी रहे हैं वह इतिहास की गलतियों से सीखें कि गलती कहां हुई। इससे सबक लें और आगे बढ़ें। इतिहास को कुरेदने से कुछ लाभ नहीं होना है।’’ मुख्यमंत्री ने कहा कि अतीत से सबक लेकर मजबूत कदम के साथ मजबूत इरादे के साथ आगे बढ़ेंगे तब निश्चित रूप से देश का भला होगा।

मुख्यमंत्री ने किताब के बारे में कहा कि भारत के जितने भी प्रधानमंत्री हुए उनके बारे में आम लोग उतना ही जानते हैं, जितना मीडिया या अन्य माध्यमों से जानकारी मिलती है। लेकिन, पत्रकार इन प्रधानमंत्रियों के नजदीक होते हैं, ऐसे में वह जानकारी भी उनके पास होती है, जो आमतौर पर सामने नहीं आ पाती। ऐसे में किसी पत्रकार द्वारा प्रधानमंत्रियों के संदर्भ में लिखी गई किताब से कुछ नया जानने को मिलेगा।

मुख्यमंत्री बघेल ने अपने संबोधन में देश के प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू, गुलजारी लाल नंदा, लाल बहादुर शास्त्री, चंद्रशेखर तथा चौधरी चरण सिंह के व्यक्तित्व और कृतित्व का विशेष रूप से उल्लेख किया।

पत्रकार और राजनीतिक विश्लेषक किदवई की हिंदी भाषा में लिखी यह पहली किताब है। इससे पहले अंग्रेजी भाषा में उनकी कई किताबें प्रकाशित हो चुकी हैं। किदवई ने अपनी किताब ‘भारत के प्रधानमंत्री-देश, दशा, दिशा’ में प्रथम प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू से लेकर वर्तमान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तक के विचारों और उनके कार्यों का मूल्यांकन किया है।

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